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प्राथमिक शिक्षक संघ ने जारी की चुनाव ड्यूटी के दौरान मरने वाले शिक्षकों की सूची - लखनऊ की खबरें

प्राथमिक शिक्षक संघ ने पंचायत चुनाव ड्यूटी के दौरान जान गंवाने वाले 1600 शिक्षकों की सूची जारी की है. शिक्षक संघ ने आरोप लगाया है कि सरकार के आदेश के बाद भी शिक्षकों की अन्य कार्यों में ड्यूटी लगाई जा रही है. संघ ने मृतक शिक्षकों और कर्मचारियों के आश्रितों के लिए कुछ मांगें भी रखी हैं.

prathamik shikshak sangh
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Published : May 17, 2021, 10:41 PM IST

लखनऊ : प्राथमिक शिक्षक संघ ने 1600 शिक्षकों की एक सूची जारी की है. यह सूची 14 अप्रैल से 16 मई के बीच जान गंवाने वाले शिक्षकों की है. संगठन का दावा है कि इनमें से ज्यादातर शिक्षकों को पंचायत चुनाव ड्यूटी में लगाया गया था. इस दौरान वह संक्रमित हुए और बाद में उनकी मृत्यु हो गई. संगठन की ओर से इन सभी मृतक शिक्षकों और कर्मचारियों के आश्रितों को सहायता के रूप में एक करोड़ रुपये देने की मांग उठाई गई है.

संघ के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिनेश चन्द्र शर्मा ने कहा है कि इनके परिवार में जो आश्रित डीएलएड या बीएड की योग्यता रखता है उसे टीईटी से छूट देते हुए शिक्षक के पद पर तुरंत नियुक्ति दी जाए. वहीं बाकियों को लिपिक के पद पर नियुक्त दी जाए. संघ ने शासन और अधिकारियों पर शिक्षकों को प्रताड़ित करने के आरोप भी लगाए हैं.

संघ ने आरोप लगाया है कि सरकार ने शिक्षकों को वर्क फ्रॉम होम की सुविधा दी है लेकिन जिलों में अधिकारी कोरोना कंट्रोल रूम सहित अन्य कार्यों में ड्यूटी लगाकर शिक्षकों की जान जोखिम में डाल रहे हैं. दिनेश चंद्र शर्मा ने कहा कि सरकार लगातार शिक्षकों को प्रताड़ित कर रही है. मुख्य सचिव राजेंद्र तिवारी से वार्ता में आश्वासन मिला था कि चुनाव ड्यूटी से अनुपस्थित शिक्षकों पर कार्रवाई नहीं होगी. इसके बाद भी शिक्षकों के निलंबन और वेतन काटने की कार्रवाई की जा रही है.

प्राथमिक शिक्षक संघ ने जारी की सूची.
प्राथमिक शिक्षक संघ ने जारी की सूची.

प्राथमिक शिक्षक संघ ने ये मांगें उठाईं

  • कोरोना महामारी के दौरान मृत हुए सभी शिक्षकों और कर्मचारियों के परिवारों को 1 करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाए.
  • सभी मृतक शिक्षकों के ऐसे आश्रितों को जो बीटीसी, बीएड या डीएलएड की योग्यता रखते हैं उन्हें टीईटी से छूट देकर सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्ति दी जाए. जो आश्रित उपरोक्त योग्यता नहीं रखते हैं तथा इण्टरमीडिएट अथवा स्नातक हैं उन्हें लिपिक के अधिसंख्य पदों पर नियुक्ति दी जाए.
  • सभी मृतक शिक्षकों के परिवार को 01 अप्रैल 2005 से पूर्व लागू पुरानी पेंशन व्यवस्था के अन्तर्गत पारिवारिक पेंशन दी जाए तथा मृतक शिक्षक के एनपीएस खाते में जमा सम्पूर्ण धनराशि मृतक के आश्रित को दी जाए.
  • ऐसे सभी मृतक शिक्षक जो 60 वर्ष अथवा उससे कम आयु के थे उनके परिवार को शासनादेश के अनुसार ग्रेच्युटी की धनराशि प्रदान की जाए.
  • सभी मृतक तथा कार्यरत शिक्षकों को कोरोना योद्धा घोषित किया जाए. कोरोना संक्रमण के कारण इलाज कराकर स्वस्थ हो चुके शिक्षकों के इलाज पर व्यय हुई धनराशि का भुगतान किया जाए.
  • पंचायत चुनाव में मतदान या मतगणना से अनुपस्थित सभी बीमार शिक्षक और कर्मचारियों के विरुद्ध प्रशासनिक कार्यवाही निरस्त की जाए.
  • बेसिक शिक्षकों से शिक्षा के अधिकार अधिनियम के विपरीत गैर शैक्षणिक कार्य न लिया जाए तथा कोविड कंट्रोल रूम में लगे शिक्षकों को कार्य मुक्त किया जाए.

लखनऊ : प्राथमिक शिक्षक संघ ने 1600 शिक्षकों की एक सूची जारी की है. यह सूची 14 अप्रैल से 16 मई के बीच जान गंवाने वाले शिक्षकों की है. संगठन का दावा है कि इनमें से ज्यादातर शिक्षकों को पंचायत चुनाव ड्यूटी में लगाया गया था. इस दौरान वह संक्रमित हुए और बाद में उनकी मृत्यु हो गई. संगठन की ओर से इन सभी मृतक शिक्षकों और कर्मचारियों के आश्रितों को सहायता के रूप में एक करोड़ रुपये देने की मांग उठाई गई है.

संघ के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिनेश चन्द्र शर्मा ने कहा है कि इनके परिवार में जो आश्रित डीएलएड या बीएड की योग्यता रखता है उसे टीईटी से छूट देते हुए शिक्षक के पद पर तुरंत नियुक्ति दी जाए. वहीं बाकियों को लिपिक के पद पर नियुक्त दी जाए. संघ ने शासन और अधिकारियों पर शिक्षकों को प्रताड़ित करने के आरोप भी लगाए हैं.

संघ ने आरोप लगाया है कि सरकार ने शिक्षकों को वर्क फ्रॉम होम की सुविधा दी है लेकिन जिलों में अधिकारी कोरोना कंट्रोल रूम सहित अन्य कार्यों में ड्यूटी लगाकर शिक्षकों की जान जोखिम में डाल रहे हैं. दिनेश चंद्र शर्मा ने कहा कि सरकार लगातार शिक्षकों को प्रताड़ित कर रही है. मुख्य सचिव राजेंद्र तिवारी से वार्ता में आश्वासन मिला था कि चुनाव ड्यूटी से अनुपस्थित शिक्षकों पर कार्रवाई नहीं होगी. इसके बाद भी शिक्षकों के निलंबन और वेतन काटने की कार्रवाई की जा रही है.

प्राथमिक शिक्षक संघ ने जारी की सूची.
प्राथमिक शिक्षक संघ ने जारी की सूची.

प्राथमिक शिक्षक संघ ने ये मांगें उठाईं

  • कोरोना महामारी के दौरान मृत हुए सभी शिक्षकों और कर्मचारियों के परिवारों को 1 करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाए.
  • सभी मृतक शिक्षकों के ऐसे आश्रितों को जो बीटीसी, बीएड या डीएलएड की योग्यता रखते हैं उन्हें टीईटी से छूट देकर सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्ति दी जाए. जो आश्रित उपरोक्त योग्यता नहीं रखते हैं तथा इण्टरमीडिएट अथवा स्नातक हैं उन्हें लिपिक के अधिसंख्य पदों पर नियुक्ति दी जाए.
  • सभी मृतक शिक्षकों के परिवार को 01 अप्रैल 2005 से पूर्व लागू पुरानी पेंशन व्यवस्था के अन्तर्गत पारिवारिक पेंशन दी जाए तथा मृतक शिक्षक के एनपीएस खाते में जमा सम्पूर्ण धनराशि मृतक के आश्रित को दी जाए.
  • ऐसे सभी मृतक शिक्षक जो 60 वर्ष अथवा उससे कम आयु के थे उनके परिवार को शासनादेश के अनुसार ग्रेच्युटी की धनराशि प्रदान की जाए.
  • सभी मृतक तथा कार्यरत शिक्षकों को कोरोना योद्धा घोषित किया जाए. कोरोना संक्रमण के कारण इलाज कराकर स्वस्थ हो चुके शिक्षकों के इलाज पर व्यय हुई धनराशि का भुगतान किया जाए.
  • पंचायत चुनाव में मतदान या मतगणना से अनुपस्थित सभी बीमार शिक्षक और कर्मचारियों के विरुद्ध प्रशासनिक कार्यवाही निरस्त की जाए.
  • बेसिक शिक्षकों से शिक्षा के अधिकार अधिनियम के विपरीत गैर शैक्षणिक कार्य न लिया जाए तथा कोविड कंट्रोल रूम में लगे शिक्षकों को कार्य मुक्त किया जाए.
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