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नहीं खत्म हो रहा लखनऊ की हवा का जहर - केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ की हवा अभी भी साफ नहीं हो पाई है. राजधानी के आस पास के कुछ शहरों का एक्यूआई 400 के पार दर्ज किया गया.

लखनऊ की हवा का जहर
लखनऊ की हवा का जहर
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Published : Dec 26, 2020, 4:15 AM IST

लखनऊ: प्रदेश में राजधानी के साथ-साथ कई जिलों की हवा में अभी भी जहर घुला हुआ है. जिलों में इतना ज्यादा प्रदूषण फैला है कि यह हवा लोगों के लिए बहुत खतरनाक हो गई है. बीते 24 घंटे पहले बुलंदशहर, गाजियाबाद, ग्रेटर नोएडा, कानपुर, लखनऊ, मेरठ, मुरादाबाद, मुजफ्फरपुर, नोएडा की हवा सबसे ज्यादा जहरीली पाई गई थी. इन शहरों का एक्यूआई 400 के पार दर्ज किया गया था.

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के आंकड़ों के अनुसार, शुक्रवार को बुलंदशहर का एक्यूआई 358, गाजियाबाद का 369, ग्रेटर नोएडा का 350, कानपुर का 302, लखनऊ का 330, मेरठ का 320, मुरादाबाद का 275, मुजफ्फरपुर का 313, नोएडा का 362 दर्ज किया गया.

बहुत खराब है शहर की हवा
पर्यावरणविद सुशील द्विवेदी बताते हैं अगर एयर क्वालिटी इंडेक्स 0-50 के बीच है तो इसे अच्छा माना जाता है. 51-100 के बीच संतोषजनक होता है. 101-200 के बीच औसत, 201-300 के बीच बुरा, 301-400 के बीच में हो तो बहुत बुरा और अगर यह 401 से 500 के बीच हो तो इसे गंभीर माना जाता है. इस समय लखनऊ की हवा बहुत खराब है. वह बताते हैं कि लखनऊ में पिछले 5 दिनों से कई जगह पीएम 2.5 अपने उच्चतम स्तर पर दर्ज किया गया. पीएम 2.5 हवा में तैरने वाले वह महीन का हैं जिन्हें हम देख नहीं पाते हैं. वायुमंडल में इनकी मात्रा जितनी कम होती है हवा उतनी ही साफ होती है. इसका हवा में सुरक्षित स्तर 60 माइक्रोग्राम है. इसके अलावा पीएम 10 भी हवा की गुणवत्ता को प्रभावित करता है.

लखनऊ: प्रदेश में राजधानी के साथ-साथ कई जिलों की हवा में अभी भी जहर घुला हुआ है. जिलों में इतना ज्यादा प्रदूषण फैला है कि यह हवा लोगों के लिए बहुत खतरनाक हो गई है. बीते 24 घंटे पहले बुलंदशहर, गाजियाबाद, ग्रेटर नोएडा, कानपुर, लखनऊ, मेरठ, मुरादाबाद, मुजफ्फरपुर, नोएडा की हवा सबसे ज्यादा जहरीली पाई गई थी. इन शहरों का एक्यूआई 400 के पार दर्ज किया गया था.

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के आंकड़ों के अनुसार, शुक्रवार को बुलंदशहर का एक्यूआई 358, गाजियाबाद का 369, ग्रेटर नोएडा का 350, कानपुर का 302, लखनऊ का 330, मेरठ का 320, मुरादाबाद का 275, मुजफ्फरपुर का 313, नोएडा का 362 दर्ज किया गया.

बहुत खराब है शहर की हवा
पर्यावरणविद सुशील द्विवेदी बताते हैं अगर एयर क्वालिटी इंडेक्स 0-50 के बीच है तो इसे अच्छा माना जाता है. 51-100 के बीच संतोषजनक होता है. 101-200 के बीच औसत, 201-300 के बीच बुरा, 301-400 के बीच में हो तो बहुत बुरा और अगर यह 401 से 500 के बीच हो तो इसे गंभीर माना जाता है. इस समय लखनऊ की हवा बहुत खराब है. वह बताते हैं कि लखनऊ में पिछले 5 दिनों से कई जगह पीएम 2.5 अपने उच्चतम स्तर पर दर्ज किया गया. पीएम 2.5 हवा में तैरने वाले वह महीन का हैं जिन्हें हम देख नहीं पाते हैं. वायुमंडल में इनकी मात्रा जितनी कम होती है हवा उतनी ही साफ होती है. इसका हवा में सुरक्षित स्तर 60 माइक्रोग्राम है. इसके अलावा पीएम 10 भी हवा की गुणवत्ता को प्रभावित करता है.

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