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पंकज उधास ने किया अमित राजपूत की किताब समोसा का विमोचन - Pankaj Udhas news

लखनऊ में गुरुवार को ऑनलाइन आयोजित एक कार्यक्रम में मशहूर गजल गायक पंकज उधास ने प्रख़्यात लेखक और स्तम्भकार अमित राजपूत की किताब-समोसा का अनावरण किया.

पंकज उधास ने किया अमित राजपूत की किताब समोसा का विमोचन
पंकज उधास ने किया अमित राजपूत की किताब समोसा का विमोचन
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Published : Apr 14, 2022, 9:49 PM IST

लखनऊः गुरुवार को ऑनलाइन आयोजित एक कार्यक्रम में मशहूर गजल गायक पंकज उधास ने प्रख़्यात लेखक और स्तम्भकार अमित राजपूत की किताब-समोसा का अनावरण किया. यह अमित की पांचवी और अब तक की पहली फिक्शनल किताब है. इसका प्रकाशन इंक पब्लिकेशन-प्रयागराज द्वारा किया गया है. इससे पहले अमित राजपूत चार अन्य किताबें लिखकर जमकर सुर्खियाँ बटोर चुके हैं.


अपनी पहली ही पुस्तक अंतर्वेद प्रवर से सुर्खियाँ बटोरने वाले लेखक और दुनिया के सबसे युवा स्तम्भकार के खिताब से विभूषित स्तम्भकार अमित राजपूत के पहले कहानी संग्रह- समोसा का विमोचन गुरुवार को बाॅलीवुड के पार्श्व गायक व गजल सम्राट पंकज उधास और मशहूर फिल्म डिजाइनर सलीम आरिफ ने किया. इस मौके पर पंकज उधास ने कहा कि अमित की लेखनी में अलग अंदाज और अनुभव है। सलीम आरिफ ने कहा कि अमित राजपूत मौजूदा पीढ़ी के अपना अलग दृष्टिकोण रखने वाले लेखक हैं. इनके कथानक अनुछुये रहते हैं.


कार्यक्रम की भूमिका का प्रस्तुतिकरण नेशनल अवॉर्डी रंगकर्मी व अभिनेत्री काजल सूरी ने किया. पुस्तक पर कवर की गयीं माॅडल आकांक्षा वर्मा टंडन और चित्रकार प्रो. अजय जेटली भी कार्यक्रम में विशेष रूप से उपस्थित रहे. कार्यक्रम का संचालन इंक पब्लिकेशन के प्रकाशक दिनेश कुशवाहा ने किया. मालूम हो कि अमित राजपूत की यह किताब- समोसा सात प्रेम कहानियों का संग्रह है, इसमें अमित ने प्रेम को पैदा करने वाली उन सात अलग-अलग दशाओं के कथानक बुने हैं, जिनके संयोग से प्रेम मुकम्मल होता है.


कथाकार अमित राजपूत ने बताया कि उनकी इन सभी कहानियों के परिवेश एक-दूसरे से इस प्रकार भिन्न हैं, कि इसकी विविधता गाँव से लेकर कस्बा और शहरों से लेकर महानगरों तक के हर वर्ग वाले पाठकों को सरलता से अपनी ओर आकर्षित करेगी. ऐसे में दिलचस्प है कि इस एक किताब में प्रेम के सात अलग-अलग रंग पाठकों को मिल सकेंगे. आपको बता दें कि बीते महीने अमित राजपूत की इस पुस्तक के मुखपृष्ठ का अनावरण करते हुये वरिष्ठ साहित्यकार प्रो. राजेन्द्र कुमार ने कहा था कि अमित राजपूत का ये कहानी-संग्रह अपने शीर्षक से ही इस तरह आकृष्ट कर लेता है, कि अंदर कहानियों का स्वाद लेने को पाठक उत्कंठित होने लगे. इससे पहले देश के प्रख्यात कथाकार अब्दुल बिस्मिल्लाह अमित की इस पुस्तक पर अपनी महत्वपूर्ण टिप्पणी कर चुके हैं. बिस्मिल्लाह ने अपनी टिप्पणी में कहा कि अमित राजपूत की इन कहानियों के पात्र बेजोड़ हैं. कथा-कौशल उम्दा है. अमित की इसी पुस्तक का विमोचन गुरुवार को गजल सम्राट पंकज उधास ने विमोचन किया. इस मौके पर हजारों लोग ऑनलाइन उपस्थित रहे.

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लखनऊः गुरुवार को ऑनलाइन आयोजित एक कार्यक्रम में मशहूर गजल गायक पंकज उधास ने प्रख़्यात लेखक और स्तम्भकार अमित राजपूत की किताब-समोसा का अनावरण किया. यह अमित की पांचवी और अब तक की पहली फिक्शनल किताब है. इसका प्रकाशन इंक पब्लिकेशन-प्रयागराज द्वारा किया गया है. इससे पहले अमित राजपूत चार अन्य किताबें लिखकर जमकर सुर्खियाँ बटोर चुके हैं.


अपनी पहली ही पुस्तक अंतर्वेद प्रवर से सुर्खियाँ बटोरने वाले लेखक और दुनिया के सबसे युवा स्तम्भकार के खिताब से विभूषित स्तम्भकार अमित राजपूत के पहले कहानी संग्रह- समोसा का विमोचन गुरुवार को बाॅलीवुड के पार्श्व गायक व गजल सम्राट पंकज उधास और मशहूर फिल्म डिजाइनर सलीम आरिफ ने किया. इस मौके पर पंकज उधास ने कहा कि अमित की लेखनी में अलग अंदाज और अनुभव है। सलीम आरिफ ने कहा कि अमित राजपूत मौजूदा पीढ़ी के अपना अलग दृष्टिकोण रखने वाले लेखक हैं. इनके कथानक अनुछुये रहते हैं.


कार्यक्रम की भूमिका का प्रस्तुतिकरण नेशनल अवॉर्डी रंगकर्मी व अभिनेत्री काजल सूरी ने किया. पुस्तक पर कवर की गयीं माॅडल आकांक्षा वर्मा टंडन और चित्रकार प्रो. अजय जेटली भी कार्यक्रम में विशेष रूप से उपस्थित रहे. कार्यक्रम का संचालन इंक पब्लिकेशन के प्रकाशक दिनेश कुशवाहा ने किया. मालूम हो कि अमित राजपूत की यह किताब- समोसा सात प्रेम कहानियों का संग्रह है, इसमें अमित ने प्रेम को पैदा करने वाली उन सात अलग-अलग दशाओं के कथानक बुने हैं, जिनके संयोग से प्रेम मुकम्मल होता है.


कथाकार अमित राजपूत ने बताया कि उनकी इन सभी कहानियों के परिवेश एक-दूसरे से इस प्रकार भिन्न हैं, कि इसकी विविधता गाँव से लेकर कस्बा और शहरों से लेकर महानगरों तक के हर वर्ग वाले पाठकों को सरलता से अपनी ओर आकर्षित करेगी. ऐसे में दिलचस्प है कि इस एक किताब में प्रेम के सात अलग-अलग रंग पाठकों को मिल सकेंगे. आपको बता दें कि बीते महीने अमित राजपूत की इस पुस्तक के मुखपृष्ठ का अनावरण करते हुये वरिष्ठ साहित्यकार प्रो. राजेन्द्र कुमार ने कहा था कि अमित राजपूत का ये कहानी-संग्रह अपने शीर्षक से ही इस तरह आकृष्ट कर लेता है, कि अंदर कहानियों का स्वाद लेने को पाठक उत्कंठित होने लगे. इससे पहले देश के प्रख्यात कथाकार अब्दुल बिस्मिल्लाह अमित की इस पुस्तक पर अपनी महत्वपूर्ण टिप्पणी कर चुके हैं. बिस्मिल्लाह ने अपनी टिप्पणी में कहा कि अमित राजपूत की इन कहानियों के पात्र बेजोड़ हैं. कथा-कौशल उम्दा है. अमित की इसी पुस्तक का विमोचन गुरुवार को गजल सम्राट पंकज उधास ने विमोचन किया. इस मौके पर हजारों लोग ऑनलाइन उपस्थित रहे.

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