लखनऊः देश के विभिन्न जगहों पर जाली भारतीय नोटों का कारोबार करने के मामले में इस बार एनआईए ने जेल में निरुद्ध अभियुक्त सरीफुल इस्लाम के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल कर दिया है. हालांकि एनआईए की विशेष अदालत में आरोप पत्र पर संज्ञान के मामले में सुनवाई अभी बाकी है. एनआईए ने अभियुक्त सरीफुल को भारतीय दंड संहिता की धारा 120 बी और 489 बी के साथ ही विधि के खिलाफ क्रिया कलाप निवारण अधिनियम की धारा 16 और 18 का भी आरोपी बनाया है. ये अभियुक्त भी पश्चिम बंगाल के माल्दा का रहने वाला है.
एटीएस ने 11 दिसंबर 2019 को गाजियाबाद से मुराद अली नाम के अभियुक्त को गिरफ्तार किया था. उसके पास से दो लाख 49 हजार 5 सौ रुपये का जाली भारतीय नोट बरामद हुआ था. इस मामले की एफआईआर एटीएस के सब इंस्पेक्टर विनोद कुमार ने थाना एटीएस में दर्ज कराई थी. लेकिन इसके बाद विवेचना एनआईए को सौंप दी गई. चार फरवरी 2020 को एनआईए ने इस मामले को दर्ज कर अपनी जांच शुरू की. विवेचना के दौरान इस मामले में शाहनवाज अंसारी, तौसीफ आलम और सरीफुल इस्लाम का नाम भी सामने आया है.
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ये सभी न्यायिक हिरासत में जेल में निरुद्ध हैं. इनमें मुराद अली, शाहनवाज अंसारी और तौसीफ आलम के खिलाफ पहले ही आरोप पत्र दाखिल हो चुका है और विवेचना अभी भी प्रचलित है. मामले में कुछ अभियुक्तों के खिलाफ जांच रिपोर्ट दाखिल किया जाना बाकी है.
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