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शस्त्र लाइसेंस में फर्जीवाड़े का मामला: विधायक अब्बास अंसारी की जमानत याचिका खारिज - विधायक अब्बास अंसारी

शस्त्र लाइसेंस में फर्जीवाड़े का मामला (Arms License Fraud Case) सोमवार को सुर्खियों में रहा. इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच (Allahabad High Court Lucknow Bench) ने विधायक अब्बास अंसारी की जमानत याचिका खारिज (MLA Abbas Ansari's bail plea rejected) कर दी. हाईकोर्ट ने कहा जन प्रतिनिधि होते हुए ऐसा कृत्य करना गलत है.

विधायक अब्बास अंसारी की जमानत याचिका खारिज
विधायक अब्बास अंसारी की जमानत याचिका खारिज
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Nov 21, 2023, 7:15 AM IST

लखनऊ: मुख्तार अंसारी के बेटे व विधायक अब्बास अंसारी (Mukhtar Ansari's son Abbas Ansari) की शस्त्र लाइसेंस में फर्जीवाड़ा करने के मामले में जमानत याचिका को हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच (Allahabad High Court Lucknow Bench) ने खारिज कर दिया. न्यायालय ने अपने आदेश में कहा कि अभियुक्त के पास से हजारों की मात्रा में कारतूस बरामद किए गए जो मेटल के थे और ऐसे कारतूस स्पोर्ट्स शूटिंग में प्रतिबंधित हैं. न्यायालय ने यह भी टिप्पणी की कि अभियुक्त ने एक जन प्रतिनिधि होने के बावजूद ऐसा कृत्य (MLA Abbas Ansari's bail plea rejected) किया है जो कि एक गम्भीर विषय है.

यह निर्णय न्यायमूर्ति सुभाष विद्यार्थी की एकल पीठ ने अब्बास अंसारी की जमानत याचिका पर पारित किया. अभियुक्त की ओर से दलील दी गई कि उसके पास से बरामद हथियार को रखने का लाइसेंस उसके पास था और चूंकि वह स्पोर्ट्स शूटर है लिहाजा उसे एक लाइसेंस पर तीन असलहे रखने का अधिकार है. यह भी दलील दी गई कि शस्त्र लाइसेंस के दिल्ली में स्थानांतरित होने के सम्बंध में वहाँ के अधिकारियों द्वारा लखनऊ के जिलाधिकारी को पत्राचार किया गया था.

लिहाजा यह नहीं कहा जा सकता कि अभियुक्त ने शस्त्र लाइसेंस के स्थानांतरण की बात छिपाई. वहीं जमानत का विरोध करते हुए, राज्य सरकार की ओर से दलील दी गई कि अभियुक्त के पास कुल आठ असलहे बरामद किए गए थे. यही नहीं चार हजार से ज्यादा कारतूस भी बरामद किए गए थे. कहा गया कि जो असलहे व कारतूस बरामद की गए थे, वे मेटल के थे और जिन्हें स्पोर्ट शूटिंग में प्रयोग नहीं किया जा सकता है. अभियुक्त ने इन असलहों को खरीदने के लिए एक ही लाइसेंस के दो यूआईडी का इस्तेमाल किया. कहा गया था कि अभियुक्त का आपराधिक इतिहास भी है.

ये भी पढ़ें- अयोध्या में 14 कोसी परिक्रमा शुरू: लाखों श्रद्धालुओं पहुंचे, सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम

लखनऊ: मुख्तार अंसारी के बेटे व विधायक अब्बास अंसारी (Mukhtar Ansari's son Abbas Ansari) की शस्त्र लाइसेंस में फर्जीवाड़ा करने के मामले में जमानत याचिका को हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच (Allahabad High Court Lucknow Bench) ने खारिज कर दिया. न्यायालय ने अपने आदेश में कहा कि अभियुक्त के पास से हजारों की मात्रा में कारतूस बरामद किए गए जो मेटल के थे और ऐसे कारतूस स्पोर्ट्स शूटिंग में प्रतिबंधित हैं. न्यायालय ने यह भी टिप्पणी की कि अभियुक्त ने एक जन प्रतिनिधि होने के बावजूद ऐसा कृत्य (MLA Abbas Ansari's bail plea rejected) किया है जो कि एक गम्भीर विषय है.

यह निर्णय न्यायमूर्ति सुभाष विद्यार्थी की एकल पीठ ने अब्बास अंसारी की जमानत याचिका पर पारित किया. अभियुक्त की ओर से दलील दी गई कि उसके पास से बरामद हथियार को रखने का लाइसेंस उसके पास था और चूंकि वह स्पोर्ट्स शूटर है लिहाजा उसे एक लाइसेंस पर तीन असलहे रखने का अधिकार है. यह भी दलील दी गई कि शस्त्र लाइसेंस के दिल्ली में स्थानांतरित होने के सम्बंध में वहाँ के अधिकारियों द्वारा लखनऊ के जिलाधिकारी को पत्राचार किया गया था.

लिहाजा यह नहीं कहा जा सकता कि अभियुक्त ने शस्त्र लाइसेंस के स्थानांतरण की बात छिपाई. वहीं जमानत का विरोध करते हुए, राज्य सरकार की ओर से दलील दी गई कि अभियुक्त के पास कुल आठ असलहे बरामद किए गए थे. यही नहीं चार हजार से ज्यादा कारतूस भी बरामद किए गए थे. कहा गया कि जो असलहे व कारतूस बरामद की गए थे, वे मेटल के थे और जिन्हें स्पोर्ट शूटिंग में प्रयोग नहीं किया जा सकता है. अभियुक्त ने इन असलहों को खरीदने के लिए एक ही लाइसेंस के दो यूआईडी का इस्तेमाल किया. कहा गया था कि अभियुक्त का आपराधिक इतिहास भी है.

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