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सिरसा: मदद की उम्मीद में 30 km पैदल चल पहुंचे ई-दिशा केंद्र, नाम और फोन नंबर नोट कर भेजा वापस

निराश मजदूरों ने अधिकारियों से गुहार भी लगाई कि अब उनके लिए शहर में ही कहीं रहने की व्यवस्था कर दी जाए, नहीं तो उन्हें फिर सामान उठा कर 30 किमी वापस जाना होगा, लेकिन उनकी गुहार नहीं सुनी गई.

मजदूर.
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Published : May 5, 2020, 8:22 PM IST

सिरसा: लॉकडाउन के बीच विभिन्न राज्यों में फंसे लोगों को घर भेजने के निर्देश जारी किए हैं. इसी प्रक्रिया के तहत सिरसा ई-दिशा कार्यालय में यूपी और बिहार के मजदूरों को जानकारी देने के लिए बुलाया गया. मजदूरों का आरोप है कि कार्यालय में इनसे सिर्फ नाम और फोन नंबर पूछकर वापस भेज दिया. उन्होंने बताया कि वे 30 किलोमीटर चलकर ई-दिशा कार्यालय पहुंचे थे.

जानकारी देते मजदूर.

सिरसा के एक गांव में फंसे उत्तरप्रदेश और बिहार के मजदूरों ने मदद के लिए ई-दिशा केंद्र पर फोन किया, जहां उन्होंने मदद के लिए ई-दिशा केंद्र बुलाया गया. ये मजदूर गांव से 30 किलोमीटर पैदल ई-दिशा केंद्र पहुंचे, जहां इनका नाम और फोन नंबर लेकर इन्हें वापस घर भेज दिया गया, जिससे मजदूर काफी नाराज हो गए. मजदूरों का कहाना है कि अगर ऐसा ही करना था तो उनकी जानकारी फोन पर ही क्यों नहीं ले लिए.

रात से ही सड़क पर भूखे खड़े थे मजदूर
मजदूरों ने आरोप लगाया कि अधिकारियों से उन्होंने 3-4 दिन कार्यालय के आसपास ही रुकने की व्यवस्था करवाने की बात कही थी, लेकिन अधिकारियों ने उनकी एक नहीं सुनी. उन्होंने कहा कि वह कल रात से सड़क के बाहर भूखे-प्यासे रुके हैं. अब उन्हें वापस 30 किलोमीटर सामान उठाकर वापस पैदल जाना पड़ेगा.

कहीं से भी ऑनलाइन जानकारी दी जा सकती है
बता दें कि प्रवासी मजदूरों की मदद के लिए प्रशासन की तरफ से एक पहल करते हुए एक टोल फ्री नम्बर नम्बर 1950 और हॉरट्रोन के कॉल सेंटर नम्बर 1100 जारी किया है. इसके अलावा एक वेबसाइट https://edisha.gov.in/eForms/MigrantService भी जारी की गई है, जिसपर मजदूर नजदीकी साइबर सेंटर से अपनी ऑनलाइन जानकारी दे सकते हैं.

ये भी पढ़ेंः चंडीगढ़ः घर वापसी के लिए दर-दर भटक रहे यूपी और बिहार के मजदूर

सिरसा: लॉकडाउन के बीच विभिन्न राज्यों में फंसे लोगों को घर भेजने के निर्देश जारी किए हैं. इसी प्रक्रिया के तहत सिरसा ई-दिशा कार्यालय में यूपी और बिहार के मजदूरों को जानकारी देने के लिए बुलाया गया. मजदूरों का आरोप है कि कार्यालय में इनसे सिर्फ नाम और फोन नंबर पूछकर वापस भेज दिया. उन्होंने बताया कि वे 30 किलोमीटर चलकर ई-दिशा कार्यालय पहुंचे थे.

जानकारी देते मजदूर.

सिरसा के एक गांव में फंसे उत्तरप्रदेश और बिहार के मजदूरों ने मदद के लिए ई-दिशा केंद्र पर फोन किया, जहां उन्होंने मदद के लिए ई-दिशा केंद्र बुलाया गया. ये मजदूर गांव से 30 किलोमीटर पैदल ई-दिशा केंद्र पहुंचे, जहां इनका नाम और फोन नंबर लेकर इन्हें वापस घर भेज दिया गया, जिससे मजदूर काफी नाराज हो गए. मजदूरों का कहाना है कि अगर ऐसा ही करना था तो उनकी जानकारी फोन पर ही क्यों नहीं ले लिए.

रात से ही सड़क पर भूखे खड़े थे मजदूर
मजदूरों ने आरोप लगाया कि अधिकारियों से उन्होंने 3-4 दिन कार्यालय के आसपास ही रुकने की व्यवस्था करवाने की बात कही थी, लेकिन अधिकारियों ने उनकी एक नहीं सुनी. उन्होंने कहा कि वह कल रात से सड़क के बाहर भूखे-प्यासे रुके हैं. अब उन्हें वापस 30 किलोमीटर सामान उठाकर वापस पैदल जाना पड़ेगा.

कहीं से भी ऑनलाइन जानकारी दी जा सकती है
बता दें कि प्रवासी मजदूरों की मदद के लिए प्रशासन की तरफ से एक पहल करते हुए एक टोल फ्री नम्बर नम्बर 1950 और हॉरट्रोन के कॉल सेंटर नम्बर 1100 जारी किया है. इसके अलावा एक वेबसाइट https://edisha.gov.in/eForms/MigrantService भी जारी की गई है, जिसपर मजदूर नजदीकी साइबर सेंटर से अपनी ऑनलाइन जानकारी दे सकते हैं.

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