लखनऊ: कोरोना वायरस से बचाव के लिए किए गए लॉकडाउन के दौरान राजीव मिश्रा ने गरीब और जरूरतमंदों की सेवा करने का बीड़ा उठाया है. राजीव मिश्रा ममता चैरिटेबल ट्रस्ट के अध्यक्ष हैं. राजीव मिश्रा न विधायक है न मंत्री हैं. इन्होंने अपनी पत्नी ममता की याद में एक ममता चैरिटेबल ट्रस्ट बनाया और फिर गरीबों की सेवा करने का पूरा अभियान शुरू कर दिया.
ममता चैरिटेबल ट्रस्ट के अध्यक्ष राजीव मिश्रा ने अपने घर के पास एक कैंप कार्यालय खोला है. यहां पर वह राशन के पैकेट बड़ी मात्रा में तैयार करा रहे हैं. 150 से अधिक इनके वॉलिंटियर लखनऊ के तमाम इलाकों की बस्तियों में जाकर राशन वितरण का काम करते हैं. यहां तमाम पैकेट बनाए जा रहे हैं. इनमें ब्रेड बंद मक्खन, आटा, दाल, चावल नमक मसाले सहित तमाम अन्य राशन की सामग्री शामिल हैं.
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राजीव मिश्रा ने बताया कि पत्नी की मौत के बाद उनके नाम से ममता चैरिटेबल ट्रस्ट बनाया है. वह समाज सेवा का काम करती थी और उनकी याद में मैंने यह ट्रस्ट बनाया है. मेरे मन में प्रेरणा आई कि क्यों न हम राशन के पैकेट बनवाकर गरीबों तक पहुंचाएं. हम कच्चा राशन के पैकेट बनवाते हैं और फिर उसे गरीबों तक भेजते हैं. इसमें पांच किलो आटा, तीन किलो चावल, एक किलो दाल, नमक, मसाले के पैकेट, ब्रेड मार्क सैनिटाइजर और अन्य तरह के जरूरत के सामान हम पहुंचा रहे हैं.
उन्होंने बताया कि इस ममता चैरिटेबल संस्था के माध्यम से अब तक करीब 46 हजार परिवारों के लोगों की सेवा कर चुके हैं. उन तक बड़ी मात्रा में राशन के पैकेट पहुंचाए गए हैं. कुल मिलाकर कलियुग में एक पति राजीव मिश्रा पत्नी ममता की मौत के बाद उनकी याद में न सिर्फ एक ममता चैरिटेबल ट्रस्ट का निर्माण करते हैं, बल्कि जब कोरोना वायरस जैसी महामारी में गरीबों के पास भोजन राशन का संकट आया तो उन्होंने ऐसे जरूरतमंद लोगों की मदद का बीड़ा उठाया.