लखनऊ : पूर्व राज्यसभा सांसद, भारतीय जनता पार्टी के नेता और उत्तर प्रदेश के बड़े बिल्डर संजय सेठ (former rajya sabha mp sanjay seth) को लखनऊ विकास प्राधिकरण ने नोटिस जारी किया. जॉपलिंग रोड पर स्थित उनके बहुमंजिला अपार्टमेंट की योजना शालीमार इमराल्ड में अवैध निर्माण का शक है. एलडीए की टीम के निरीक्षण में मौके पर ना तो कोई स्वीकृत मानचित्र प्रस्तुत किया गया और ना ही किसी तरह का कोई कंपलीशन सर्टिफिकेट दिखाया गया. दूसरी ओर शालीमार लिमिटेड की ओर से कहा गया है कि इस बिल्डिंग का मानचित्र 2010 में ही पास हो गया था उसके बाद निर्माण शुरू किया गया है. लखनऊ विकास प्राधिकरण से बाकायदा हमको इसका परमिट नंबर भी मिला हुआ है.
इसको लेकर लखनऊ विकास प्राधिकरण के जोनल विहित प्राधिकारी की ओर से यह नोटिस जारी किया गया है. संजय सेठ और उनके सहयोगी खालिद मसूद की कंपनी शालीमार लिमिटेड ने लखनऊ में कई बड़े निर्माण किए हैं. अखिलेश यादव की सरकार में ड्रीम प्रोजेक्ट जेपी सेंटर का भी निर्माण शामिल है. संजय सेठ पहले समाजवादी पार्टी में थे बाद में उन्होंने भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ले ली थी. भारतीय जनता पार्टी से राज्यसभा सदस्य रहे. कुछ समय पहले उनका कार्यकाल पूरा हो गया था, जिसके बाद में भारतीय जनता पार्टी ने उनके कार्यकाल को आगे नहीं बढ़ाया उनको टिकट नहीं दिया गया. संजय सेठ को सभी कागजातों के साथ हाजिर होने की नोटिस दी गई है. संजय सेठ को विहित प्राधिकारी कार्यालय में 10 नवंबर को सुबह 11:00 बजे हाजिर होने के लिए निर्देशित किया गया, ताकि इस संबंध में उनका पक्ष लिया जा सके.
इस संबंध में शालीमार कंपनी के निदेशक और संजय सेठ के निकटतम सहयोगी खालिद मसूद ने बताया कि उनको लखनऊ विकास प्राधिकरण के इस नोटिस का कोई अर्थ समझ नहीं आ रहा. 2010 में यह बिल्डिंग एलडीए से बाकायदा ग्रुप हाउसिंग का नक्शा पास कराकर बनाई गई है. जिसका हमारे पास में परमिट नंबर भी है. हम सभी कागज लखनऊ विकास प्राधिकरण के समक्ष उपलब्ध करा देंगे.