ETV Bharat / state

जिस पिता के नाम के लिए 35 साल तरसे, नहीं संभाल सके उनकी राजनीतिक विरासत

रोहित शेखर देश की राजनीति में कोई बड़ा नाम नहीं हैं, लेकिन एक वक्त ऐसा भी था जब देशभर की मीडिया में ये नाम सुर्खियों में था. वजह थी उनके पिता नारायण दत्त तिवारी.

पूर्व सीएम एनडी तिवारी के बेटे की मौत.
author img

By

Published : Apr 16, 2019, 9:22 PM IST

देहरादून: पूर्व सीएम एनडी तिवारी की मौत के सात महीने बाद उनके बेटे रोहित शेखर तिवारी ने भी दुनिया को अलविदा कह दिया है. इसे विडंबना ही कहेंगे कि जिस पिता के नाम के लिए रोहित ने जीवन के 35 साल इंतजार किया और सात साल की लंबी कानूनी लड़ाई झेली, उस विरासत को संभालने के लिए वो आज खुद इस दुनिया में नहीं हैं.

etv bharat
पूर्व सीएम एनडी तिवारी के बेटे की मौत.
यूं तो रोहित शेखर देश की राजनीति में कोई बड़ा नाम नहीं है, लेकिन एक वक्त ऐसा भी था जब देशभर की मीडिया में ये नाम सुर्खियों में था. वजह थी उनके पिता नारायण दत्त तिवारी. वो वक्त ऐसा था जब तिवारी ने रोहित को अपनाने से इनकार कर दिया था. तब रोहित ने अपने हक और पिता का नाम पाने के लिए भारत के सबसे प्रभावशाली नेताओं में से एक नारायण दत्त तिवारी के ख़िलाफ़ पितृत्व का केस लड़ा था.
दरअसल, साल 2008 में रोहित एनडी तिवारी के खिलाफ पहली बार अदालत की शरण में गए. उन्होंने कोर्ट में दावा किया कि वो एनडी तिवारी और उज्ज्वला शर्मा के बेटे हैं. इस दावे के खिलाफ एनडी तिवारी ने दिल्ली हाई कोर्ट से इस केस को खारिज करने की गुहार लगाई, लेकिन कोर्ट ने मार्च 2010 में उनकी याचिका खारिज कर दी. दिल्ली हाई कोर्ट ने 23 दिसंबर 2010 को सच्चाई का पता करने के लिए डीएनए टेस्ट कराने का आदेश दिया लेकिन इसके लिए एनडी तिवारी राजी नहीं हुए. डीएनए टेस्ट के खिलाफ एनडी तिवारी सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचे लेकिन उन्हें वहां से भी निराशा हाथ लगी मिली.
कोर्ट की सख्ती के बाद 29 मई 2011 को डीएनए टेस्ट के लिए एनडी तिवारी को अपना खून देना पड़ा. डीएनए जांच रिपोर्ट 27 जुलाई 2012 को दिल्ली हाई कोर्ट में खोली गई. हालांकि, तिवारी ने कोर्ट से अपील की थी कि रिपोर्ट को सार्वजनिक न किया जाए लेकिन कोर्ट ने इस अपील को खारिज करते हुए यह खुलासा किया कि एनडी तिवारी ही रोहित के जैविक पिता हैं और उज्ज्वला उनकी मां हैं. इसके बाद एनडी तिवारी ने रोहित शेखर और उनकी मां उज्जवला शर्मा के साथ अपने रिश्ते को स्वीकारा था, जिसके बाद 14 मई 2014 उज्ज्वला से एनडी तिवारी ने शादी की. एनडी तिवारी और उज्ज्वला तिवारी की यह शादी लखनऊ में नारायण दत्त तिवारी के उसी आवास पर हुई, जहां वह उज्ज्वला के साथ रहते थे. बता दें कि उज्जवला शर्मा से पहले एनडी तिवारी का पहला विवाह 1954 में सुशीला सांवल के साथ हुआ था.

देहरादून: पूर्व सीएम एनडी तिवारी की मौत के सात महीने बाद उनके बेटे रोहित शेखर तिवारी ने भी दुनिया को अलविदा कह दिया है. इसे विडंबना ही कहेंगे कि जिस पिता के नाम के लिए रोहित ने जीवन के 35 साल इंतजार किया और सात साल की लंबी कानूनी लड़ाई झेली, उस विरासत को संभालने के लिए वो आज खुद इस दुनिया में नहीं हैं.

etv bharat
पूर्व सीएम एनडी तिवारी के बेटे की मौत.
यूं तो रोहित शेखर देश की राजनीति में कोई बड़ा नाम नहीं है, लेकिन एक वक्त ऐसा भी था जब देशभर की मीडिया में ये नाम सुर्खियों में था. वजह थी उनके पिता नारायण दत्त तिवारी. वो वक्त ऐसा था जब तिवारी ने रोहित को अपनाने से इनकार कर दिया था. तब रोहित ने अपने हक और पिता का नाम पाने के लिए भारत के सबसे प्रभावशाली नेताओं में से एक नारायण दत्त तिवारी के ख़िलाफ़ पितृत्व का केस लड़ा था.
दरअसल, साल 2008 में रोहित एनडी तिवारी के खिलाफ पहली बार अदालत की शरण में गए. उन्होंने कोर्ट में दावा किया कि वो एनडी तिवारी और उज्ज्वला शर्मा के बेटे हैं. इस दावे के खिलाफ एनडी तिवारी ने दिल्ली हाई कोर्ट से इस केस को खारिज करने की गुहार लगाई, लेकिन कोर्ट ने मार्च 2010 में उनकी याचिका खारिज कर दी. दिल्ली हाई कोर्ट ने 23 दिसंबर 2010 को सच्चाई का पता करने के लिए डीएनए टेस्ट कराने का आदेश दिया लेकिन इसके लिए एनडी तिवारी राजी नहीं हुए. डीएनए टेस्ट के खिलाफ एनडी तिवारी सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचे लेकिन उन्हें वहां से भी निराशा हाथ लगी मिली.
कोर्ट की सख्ती के बाद 29 मई 2011 को डीएनए टेस्ट के लिए एनडी तिवारी को अपना खून देना पड़ा. डीएनए जांच रिपोर्ट 27 जुलाई 2012 को दिल्ली हाई कोर्ट में खोली गई. हालांकि, तिवारी ने कोर्ट से अपील की थी कि रिपोर्ट को सार्वजनिक न किया जाए लेकिन कोर्ट ने इस अपील को खारिज करते हुए यह खुलासा किया कि एनडी तिवारी ही रोहित के जैविक पिता हैं और उज्ज्वला उनकी मां हैं. इसके बाद एनडी तिवारी ने रोहित शेखर और उनकी मां उज्जवला शर्मा के साथ अपने रिश्ते को स्वीकारा था, जिसके बाद 14 मई 2014 उज्ज्वला से एनडी तिवारी ने शादी की. एनडी तिवारी और उज्ज्वला तिवारी की यह शादी लखनऊ में नारायण दत्त तिवारी के उसी आवास पर हुई, जहां वह उज्ज्वला के साथ रहते थे. बता दें कि उज्जवला शर्मा से पहले एनडी तिवारी का पहला विवाह 1954 में सुशीला सांवल के साथ हुआ था.
Intro:Body:

जिस पिता के नाम के लिये 35 साल तरसे रोहित, नहीं संभाल सके उनकी राजनीतिक विरासत





देहरादून: पूर्व सीएम एनडी तिवारी की मौत के सात महीने बाद उनके बेटे रोहित शेखर तिवारी ने भी दुनिया को अलविदा कह दिया है. इसे विडंबना ही कहेंगे कि जिस पिता के नाम के लिये रोहित ने जीवन के 35 साल इंतजार किया और सात साल की लंबी कानूनी लड़ाई झेली, उस विरासत को संभालने के लिये वो आज खुद इस दुनिया में नहीं हैं.

यूं तो रोहित शेखर देश की राजनीति में कोई बड़ा नाम नहीं हैं लेकिन एक वक्त ऐसा भी था जब देशभर की मीडिया में ये नाम सुर्खियों में था. वजह थी उनके पिता नारायण दत्त तिवारी. वो वक्त ऐसा था जब तिवारी ने रोहित को अपनाने से इनकार कर दिया था. तब रोहित ने अपने हक और पिता का नाम पाने के लिए भारत के सबसे प्रभावशाली नेताओं में से एक नारायण दत्त तिवारी के ख़िलाफ़ पितृत्व का केस लड़ा था. 

दरअसल, साल 2008 में रोहित एनडी तिवारी के खिलाफ पहली बार अदालत की शरण में गए. उन्होंने कोर्ट में दावा किया कि वो एनडी तिवारी और उज्ज्वला शर्मा के बेटे हैं. इस दावे के खिलाफ एनडी तिवारी ने दिल्ली हाई कोर्ट से इस केस को खारिज करने की गुहार लगाई, लेकिन कोर्ट ने मार्च 2010 में उनकी याचिका खारिज कर दी.

दिल्ली हाई कोर्ट ने 23 दिसंबर 2010 को सच्चाई का पता करने के लिए डीएनए टेस्ट कराने का आदेश दिया लेकिन इसके लिए एनडी तिवारी राजी नहीं हुए. डीएनए टेस्ट के खिलाफ एनडी तिवारी सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचे लेकिन उन्हें वहां से भी निराशा हाथ लगी मिली. 

कोर्ट की सख्ती के बाद 29 मई 2011 को डीएनए टेस्ट के लिए एनडी तिवारी को अपना खून देना पड़ा. डीएनए जांच रिपोर्ट 27 जुलाई 2012 को दिल्ली हाई कोर्ट में खोली गई. हालांकि, तिवारी ने कोर्ट से अपील की थी कि रिपोर्ट को सार्वजनिक न किया जाए लेकिन कोर्ट ने इस अपील को खारिज करते हुए यह खुलासा किया कि एनडी तिवारी ही रोहित के जैविक पिता हैं और उज्ज्वला उनकी मां हैं.

इसके बाद एनडी तिवारी ने रोहित शेखर और उनकी मां उज्जवला शर्मा के साथ अपने रिश्ते को स्वीकारा था, जिसके बाद 14 मई 2014 उज्ज्वला से एनडी तिवारी ने शादी की. एनडी तिवारी और उज्ज्वला तिवारी की यह शादी लखनऊ में नारायण दत्त तिवारी के उसी आवास पर हुई, जहां वह उज्ज्वला के साथ रहते थे. बता दें कि उज्जवला शर्मा से पहले एनडी तिवारी का पहला विवाह 1954 में सुशीला सांवल के साथ हुआ था. 





 


Conclusion:
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.