लखनऊ : उत्तर प्रदेश की राजधानी में इंडियन मुस्लिम फॉर सिविल राइटस (Indian Muslim for Civil Rights) के सम्मेलन का आयोजन किया गया. जिसमें जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फ़ारुख अब्दुल्ला, वरिष्ठ कांग्रेसी नेता सलमान खुर्शीद और पूर्व गवर्नर अज़ीज कुरैशी समेत देश की कई बड़ी हस्तियों ने शामिल हुए. इस मौके पर मुल्क में चल रहे मौजूदा हालातों पर चर्चा की गई. इस दौरान फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि अभी खराब समय चल रहा है, लेकिन एक बेहतर वक्त जरूर आएगा. फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि आज के समाज के लिए शिक्षा से बेहतर कोई हथियार नहीं है.
IMCR के सम्मेलन में शामिल तमाम लोगों ने बारी-बारी अपने विचार व्यक्त किए. इस मौके पर पूर्व गवर्नर अजीज कुरैशी ने सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि आज देश नफरत से जल रहा है. डर का माहौल बनाया जा रहा है, ताकि मुसलमान अपने अधिकारों को भूल जाएं. जबकि मुसलमानों ने हर दौर में कुर्बानियां दी हैं. अजीज कुरैशी ने कहा कि धर्म संसद में मुसलमानों के कत्लेआम की बात हो रही है, जो समाज और मूल के आपसी भाईचारे के लिए सही नहीं है.
उन्होंने कहा कि सरकार के गलत कानून का गांधीवादी तरीके से विरोध होना चाहिए. अजीत कुरैशी ने देवबंद और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय पर लगातार हो रही सियासत पर अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि देवबंद के उलमा ने अंग्रेजों के खिलाफ जिहाद का फतवा दिया था, लेकिन अब ऐसे महानगरों को लेकर सियासत हो रही है जो देश के लिए सही नहीं है. वहीं इस मौके पर वरिष्ठ कांग्रेसी नेता सलमान खुर्शीद ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि हमारा मकसद कौम की खिदमत में जो कमी है उसे दूर करना है, जिसके लिए तमाम संस्थाओं की मदद लेना आवश्यक है.
सलमान खुर्शीद ने कहा कि हमको सिर्फ अपने लिए ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया के लिए कुछ बेहतर करना है, ताकि एक बेहतरीन मिसाल हम पेश कर सकें. उन्होंने कहा कि दलित आदिवासी या कोई भी कमजोर समाज हो हमें उसकी मदद करना है. उन्होंने कहा कि IMCR यह सिर्फ मुसलमानों का संगठन नहीं है, इसमें सभी शामिल हैं. उन्होंने बड़ा बयान देते हुए कहा कि हमें इस बात का एहसास है कि हम रिजेक्टेड लीटर हैं. शायद इसलिए मुसलमान हमें वोट नहीं करता, लेकिन हम उम्मीद नहीं छोड़ सकते हालात जरूर बदलेंगे. इस सम्मेलन में जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला भी शामिल हुए.
इस दौरान फारूक अब्दुल्ला ने सम्मेलन को संबोधित करते हुए अपने विचार व्यक्त किए. फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि अभी खराब समय चल रहा है, लेकिन एक बेहतर वक्त जरूर आएगा. फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि आज के समाज के लिए शिक्षा से बेहतर कोई हथियार नहीं है. उन्होंने कहा कि कश्मीर में लड़कियां बढ़-चढ़कर शिक्षा हासिल कर रही हैं जो एक अच्छी बात है. फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि मेरे वालिद ने पहली कक्षा से पढ़ाई मुफ्त कर दी थी, जिसका असर अब कश्मीर में साफ देखा जा सकता है.
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