लखनऊ: गोरखनाथ मंदिर की सुरक्षा में तैनात पीएसी के जवानों पर हमला करने के मामले में 28 जनवरी को एनआइए/एटीएस की विशेष अदालत ने आरोपी अहमद मुर्तजा अब्बासी को दोषी करार दिया था. विशेष जज विवेकानन्द शरण त्रिपाठी ने सजा के बिंदु पर सुनवाई के लिए रविवार की तारीख तय की.
4 अप्रैल 2022 को इस मामले की रिपोर्ट विनय कुमार मिश्र ने थाना गोरखनाथ में दर्ज कराई थी. उसके मुताबिक, गोरखनाथ मंदिर की सुरक्षा में तैनात पीएसी के जवान अनिल कुमार पासवान पर आरोपी अहमद मुर्तजा अब्बासी ने अचानक बांके से हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया था. उनका असलहा भी छीनने का प्रयास किया था. उनकी राइफल सड़क पर गिर गई थी. उन्हें बचाने के लिए दूसरा जवान आया तो जान से मारने की नियत से उस पर भी धारदार हथियार से हमला कर दिया.
मौके पर मौजूद अन्य पुलिसकर्मियों ने घायल जवान व उसकी राइफल को उठाया. इस दौरान आरोपी बांका लहराते हुए व नारा-ए-तकबीर, अल्ला-हू-अकबर का नारा लगाते हुए पीएसी पोस्ट की ओर दौड़ा. इससे लोगों में अफरा-तफरी मच गई. इसके हाथ पर एक बड़े बांस से प्रहार किया गया, जिससे उसके हाथ से बांका गिर गया. फिर आवश्यक बल प्रयोग कर आरोपी को पकड़ लिया गया. इसके पास से अन्य वस्तुओं के अलावा उर्दू भाषा में लिखी हुई एक धार्मिक किताब भी बरामद हुई थी.
सरकारी वकील एमके सिंह के मुताबिक, विवेचना के दौरान हासिल साक्ष्यों के आधार पर इस मामले में विधि विरुद्ध क्रिया कलाप निवारण अधिनियम की धारा 16/18/20/40 की बढ़ोत्तरी की गई. विवेचना एटीएस को सौंप दी गई थी. 25 अप्रैल 2022 को विशेष अदालत में पेश कर एटीएस ने इसका न्यायिक व पुलिस कस्टडी रिमांड भी हासिल किया था.
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