लखनऊ: यूपी एसटीएफ ने सचिवालय में सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर बेरोजगारों से ठगी करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया है. इस मामले में एसटीएफ ने गिरोह के सरगना सहित 6 लोंगो को गिरफ्तार किया है. पकड़े गए आरोपियों के पास से 4 लाख 71 हजार रुपये कैश, फर्जी नियुक्ति पत्र और अन्य कागजात भी बरामद हुए हैं.
गोमतीनगर से किया गिरफ्तार
एसटीएफ की टीम ने लखनऊ के गोमती नगर से गिरोह के सरगना समेत 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. यह गिरफ्तारी यूपी एसटीएफ की लखनऊ टीम ने सचिवालय और अन्य सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर लोगों से ठगी करने के आरोप में की है. गिरोह का सरगना शिवनाथ जनपद कुशीनगर का रहने वाला है. लंबे समय से वह लखनऊ के राजाजीपुरम की सपना कॉलोनी में रह कर गिरोह का संचालन कर रहा था.
जगह बदल-बदल कर करते थे ठगी
बेरोजगारों से ठगी करने के लिए यह लोग लखनऊ में लंबे समय से जगह बदल-बदल कर रह रहे थे. सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर ये लोग 1 लाख से 15 लाख रुपये तक की ठगी करते थे. बेरोजगार युवक और युवतियों को सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर उनसे रुपये लेते थे. नौकरी का झांसा देकर उनसे एडवांस रकम भी वसूल लिया करते थे. इस मामले में शिकायत मिलने के बाद अपर पुलिस अधीक्षक विक्रम सिंह ने टीमें गठित की थी. धोखाधड़ी के मामले में इन गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ गोमती नगर थाने में शिकायत दर्ज की गई है. पुलिस मामले में आगे की कार्रवाई कर रही है.
सरकारी नौकरी के लिए 15 लाख की करते थे डिमांड
यूपी एसटीएफ ने बताया कि राजाजीपुरम निवासी विशाल प्रजापति ने खुद के साथ हुई धोखाधड़ी के मामले में गोमती नगर थाने में मुकदमा दर्ज करवाया था. सचिवालय में समीक्षा अधिकारी की नौकरी दिलाने के नाम पर उनसे 15 लाख रुपयों की डिमांड की गई थी और 25 हजार रुपये एडवांस लिए थे. इसके साथ ही उनके मित्र अनुराग यादव से अयोध्या नगर निगम में संविदा पर नौकरी दिलाने के नाम पर 5 लाख रुपये लिए थे. उनके दोस्त ने 10 हजार रुपये एडवांस भी दे दिए थे.