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MUHARRAM 2021 की जारी हुई गाइडलाइन, जानिए जरूरी बातें

DGP ने कहा कि मोहर्रम पर सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए. कोविड-19 के दृष्टिगत गृह मंत्रालय की ओर से जारी गाइडलाइंस के निर्देशों के अनुरूप सोशल डिस्टेसिंग व मास्क पहनने के लिए लोगों को जागरूक किया जाए.

मुहर्रम के जुलूस पर ड्रोन कैमरे व ATS-QRT की रहेगी पैनी नजर
मुहर्रम के जुलूस पर ड्रोन कैमरे व ATS-QRT की रहेगी पैनी नजर
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Published : Aug 1, 2021, 7:59 PM IST

Updated : Aug 14, 2021, 7:16 PM IST

लखनऊ : मोहर्रम पर निकलने वाले ताजिए व अखाड़ा जुलूस को लेकर सूबे की राजधानी पुलिस ने तैयारियां पूरी कर लीं हैं. सुरक्षा व्यवस्था पहले से अधिक चाक चौबंद होगी. जुलूस मार्ग की निगरानी ATS-QRT करेगी. अभिसूचना दल के साथ-साथ विभिन्न स्क्वॉड (क्राइम ब्रांच) भी सतर्क रहेगा. इसके अतिरिक्त आसपास से ड्रोन और जमीन पर बॉडी वार्न कैमरों से पुलिसकर्मी लैस होंगे.

SDM व DSP के नेतृत्व में अलग-अलग टीमें बनायी गईं हैं. इसी के साथ ही थानों व कोतवाली के पुलिस फोर्स के अलावा काफी संख्या में अतिरिक्त पुलिस कर्मियों के साथ ही पीएसी के भी जवानों को तैनात किया जा रहा है. संवेदनशील क्षेत्रों में जिलाधिकारी, पुलिस कमिश्नर स्वयं भ्रमण कर नजर रखेंगे.

इस साल मोहर्रम 10 अगस्त से शुरू होकर 19 अगस्त को समाप्त होगा. मातम का यह पर्व मुस्लिमों के दोनों समुदायों (शिया-सुन्नी) द्वारा मनाया जाता है. इसकी वजह से आपसी विवाद की आशंका बनी रहती है.

7वीं, 8वीं, 9वीं और 10वीं मोहर्रम को इमाम चौक पर ताजिये रखे जाते हैं. अलम के जुलूस निकालकर मातम किया जाता है. इस दौरान शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए DGP मुकुल गोयल ने सभी जिलों के पुलिस कमिश्नर, एसएसपी और एसपी को कड़े निर्देश दिए हैं. सुरक्षा के दृष्टिगत उन्होंने रविवार को गाइडलाइन जारी की है.


सौहार्द बिगाड़ने वालों के खिलाफ करें कार्रवाई : DGP

DGP मुकुल गोयल ने कहा कि मोहर्रम पर सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए. कोविड-19 के दृष्टिगत गृह मंत्रालय की ओर से जारी गाइडलाइंस के निर्देशों के अनुरूप सोशल डिस्टेसिंग व मास्क पहनने के लिए लोगों को जागरूक किया जाए. इसका उलंघन करने वालों पर कड़ी कार्रवाई हो. कानून-व्यवस्था को भंग करने का प्रयास किया जा सकता है.

आतंकवादी नागरिकों को नुकसान पहुंचा सकते हैं. हर संदिग्ध की कड़ी निगरानी की जाए. धार्मिक और सांप्रदायिक विवाद के नए और पुराने मामलों का अध्ययन कर पुलिस इनसे जुड़े लोगों को पहले ही चिह्नित कर लें.

यह भी पढ़ें : यूपी सरकार के कामकाज से गदगद अमित शाह, 10 पॉइंट में पढ़िए कैसे की सीएम योगी की तारीफ

ये दिए गए निर्देश

- वरिष्ठ अधिकारी मौकों पर जाकर विवाद को समय रहते हल कर लें. आवश्यकतानुसार विवादित स्थलों, मार्गों का जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, उप जिलाधिकारी, क्षेत्राधिकारी द्वारा निरीक्षण कर लिया जाय.

- यातायात किसी भी हालत में बाधित न होने पाए. बैरियर एवं पुलिस चेक पोस्ट लगाकर संदिग्ध वाहनों की चेकिंग कराई जाए. मोटर वाहन अधिनियम के नियमों का पालन सख्ती से किया जाय.

- अफवाह फैलाने वालों पर विशेष ध्यान दिया जाए. सार्वजनिक स्थानों पर किसी भी दशा में शस्त्रों का प्रदर्शन न हो एवं अवैध शस्त्रों को लेकर चलने वालों के विरूद्ध कड़ी विधिक कार्यवाही की जाए.

- थानों पर उपलब्ध त्यौहार रजिस्टर और रजिस्टर नं-8 में दर्ज मामलों का अध्ययन कर लिया जाए. जुलूस के नए रास्ते या नई परंपरा की अनुमति न दी जाए. असामाजिक, सांप्रदायिक तत्वों के खिलाफ निरोधात्मक कार्रवाई शुरू कर दी जाए.

- अधिकारी अधीनस्थ कर्मचारियों को निर्देश दें कि वे अपने बीट में जाकर सभी प्रकार के विवाद आदि की जॉच कर लें.

- मोहर्रम के अवसर पर कोरोना महामारी संक्रमण के दृष्टिगत कोविड नियमों का उलंघन कर किसी प्रकार के जुलूस ताजिया न निकलने दिया जाए. धर्म गुरूओं से संवाद कर कोविड-19 के दिशा-निर्देशों का अनुपालन कराया जाए.

- थानाध्यक्षों, क्षेत्राधिकारियों को यह स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि छोटी से छोटी घटना को गंभीरता से लें. तत्काल घटनास्थल का निरीक्षण करें. पीस कमेटी की मीटिंग कराते हुए सभी सामाजिक व धर्म गुरुओं से व्यवस्था बनाये रखने में सहयोग लिया जाए.

- संवेदनशील, सांप्रदायिक और कंटेनमेंट जोन में पर्याप्त संख्या में पुलिस बल की तैनाती की जाए. त्यौहारों पर सार्वजनिक स्थल, बस स्टेशन, रेलवे स्टेशन और संवेदनशील व धार्मिक स्थनों पर चेकिंग कराई जाए. सघन जांच एवं तलाशी की व्यवस्था के लिए आतंकवादी निरोधक दस्ता एवं बम निरोधक दल की तैनाती सुनिश्चित की जाए.

- ड्रोन कैमरे से निगरानी रखी जाए. सोशल मीडिया की राउंड द क्लॉक मॉनिटरिंग की जाए. सोशल मीडिया के विभिन्न माध्यमों जैसे फेसबुक, इंस्टाग्राम, ट्विटर एवं व्हाट्सएप आदि पर नजर रखते हुए भ्रामक, आपत्तिजनक पोस्ट प्रसारित होते ही उसे ब्लॉक करते हुए संबंधित के खिलाफ कारवाई की जाए.

- बिजली, पेयजल एवं साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाए. मुख्य चिकित्साधिकारी से संपर्क कर सरकारी अस्पतालों को तैयारी हालत में रखा जाए. डॉक्टर तथा पैरा मेडिकल स्टॉफ की ड्यूटी राउंड द क्लॉक लगवाई जाए.

- सीसीटीवी कैमरा लगाने के लिए संवेदनशील स्थानों, चौराहों को चिन्हित कर लिया जाए. संवेदनशील स्थलों को चिन्हित कर उन स्थानों पर रिजर्व पुलिस बल तैनात किया जाए.

- भीड़ में महिलाओं के साथ छेड़खानी की घटनाए न हों, इसके लिए पर्याप्त संख्या में सादी वर्दी में पुरूष एवं महिला पुलिस कर्मियों की तैनाती की जाए.

- शहरों, कस्बों तथा मोहल्लों में पूर्व में गठित शांति समितियों की बैठक आयोजित कर संभ्रांत नागरिकों, शांति समितियों के सदस्यों का सक्रिय सहयोग लिया जाए.

- जनपद मुख्यालय पर पर्याप्त संख्या में पुलिस, पीएसी बल रिजर्व में रखा जाए. आकस्मिक घटना को ध्यान रखते में हुए अभी से एक योजना तैयार कर उसका रिहर्सल भी करा लिया जाए. भीड़ नियंत्रण, दंगा नियंत्रण से संबंधित उपकरणों को तैयारी की हालत में रखा जाए. हेलमेट, बॉडी प्रोटेक्टर आदि की व्यवस्था रखी जाए.

- लोकल इंटेलिजेंस यूनिट के अधिकारियों, कर्मचारियों को सतर्क कर दिया जाए. एलआईयू की हर सूचना पर तत्काल कार्रवाई की जाए.

- अभी तक जिन-जिन स्थानों पर किसी प्रकार का विवाद सामने आया है, वहां पुलिस और राजस्व विभाग के राजपत्रित अधिकारियों द्वारा अभी से स्थिति का जायजा ले लिया जाए. विवाद को सुलझाने और संवेदनशीलता को दूर करने के लिए कार्यवाही सुनिश्चित की जाए.

लखनऊ : मोहर्रम पर निकलने वाले ताजिए व अखाड़ा जुलूस को लेकर सूबे की राजधानी पुलिस ने तैयारियां पूरी कर लीं हैं. सुरक्षा व्यवस्था पहले से अधिक चाक चौबंद होगी. जुलूस मार्ग की निगरानी ATS-QRT करेगी. अभिसूचना दल के साथ-साथ विभिन्न स्क्वॉड (क्राइम ब्रांच) भी सतर्क रहेगा. इसके अतिरिक्त आसपास से ड्रोन और जमीन पर बॉडी वार्न कैमरों से पुलिसकर्मी लैस होंगे.

SDM व DSP के नेतृत्व में अलग-अलग टीमें बनायी गईं हैं. इसी के साथ ही थानों व कोतवाली के पुलिस फोर्स के अलावा काफी संख्या में अतिरिक्त पुलिस कर्मियों के साथ ही पीएसी के भी जवानों को तैनात किया जा रहा है. संवेदनशील क्षेत्रों में जिलाधिकारी, पुलिस कमिश्नर स्वयं भ्रमण कर नजर रखेंगे.

इस साल मोहर्रम 10 अगस्त से शुरू होकर 19 अगस्त को समाप्त होगा. मातम का यह पर्व मुस्लिमों के दोनों समुदायों (शिया-सुन्नी) द्वारा मनाया जाता है. इसकी वजह से आपसी विवाद की आशंका बनी रहती है.

7वीं, 8वीं, 9वीं और 10वीं मोहर्रम को इमाम चौक पर ताजिये रखे जाते हैं. अलम के जुलूस निकालकर मातम किया जाता है. इस दौरान शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए DGP मुकुल गोयल ने सभी जिलों के पुलिस कमिश्नर, एसएसपी और एसपी को कड़े निर्देश दिए हैं. सुरक्षा के दृष्टिगत उन्होंने रविवार को गाइडलाइन जारी की है.


सौहार्द बिगाड़ने वालों के खिलाफ करें कार्रवाई : DGP

DGP मुकुल गोयल ने कहा कि मोहर्रम पर सौहार्द बिगाड़ने की कोशिश करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए. कोविड-19 के दृष्टिगत गृह मंत्रालय की ओर से जारी गाइडलाइंस के निर्देशों के अनुरूप सोशल डिस्टेसिंग व मास्क पहनने के लिए लोगों को जागरूक किया जाए. इसका उलंघन करने वालों पर कड़ी कार्रवाई हो. कानून-व्यवस्था को भंग करने का प्रयास किया जा सकता है.

आतंकवादी नागरिकों को नुकसान पहुंचा सकते हैं. हर संदिग्ध की कड़ी निगरानी की जाए. धार्मिक और सांप्रदायिक विवाद के नए और पुराने मामलों का अध्ययन कर पुलिस इनसे जुड़े लोगों को पहले ही चिह्नित कर लें.

यह भी पढ़ें : यूपी सरकार के कामकाज से गदगद अमित शाह, 10 पॉइंट में पढ़िए कैसे की सीएम योगी की तारीफ

ये दिए गए निर्देश

- वरिष्ठ अधिकारी मौकों पर जाकर विवाद को समय रहते हल कर लें. आवश्यकतानुसार विवादित स्थलों, मार्गों का जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, उप जिलाधिकारी, क्षेत्राधिकारी द्वारा निरीक्षण कर लिया जाय.

- यातायात किसी भी हालत में बाधित न होने पाए. बैरियर एवं पुलिस चेक पोस्ट लगाकर संदिग्ध वाहनों की चेकिंग कराई जाए. मोटर वाहन अधिनियम के नियमों का पालन सख्ती से किया जाय.

- अफवाह फैलाने वालों पर विशेष ध्यान दिया जाए. सार्वजनिक स्थानों पर किसी भी दशा में शस्त्रों का प्रदर्शन न हो एवं अवैध शस्त्रों को लेकर चलने वालों के विरूद्ध कड़ी विधिक कार्यवाही की जाए.

- थानों पर उपलब्ध त्यौहार रजिस्टर और रजिस्टर नं-8 में दर्ज मामलों का अध्ययन कर लिया जाए. जुलूस के नए रास्ते या नई परंपरा की अनुमति न दी जाए. असामाजिक, सांप्रदायिक तत्वों के खिलाफ निरोधात्मक कार्रवाई शुरू कर दी जाए.

- अधिकारी अधीनस्थ कर्मचारियों को निर्देश दें कि वे अपने बीट में जाकर सभी प्रकार के विवाद आदि की जॉच कर लें.

- मोहर्रम के अवसर पर कोरोना महामारी संक्रमण के दृष्टिगत कोविड नियमों का उलंघन कर किसी प्रकार के जुलूस ताजिया न निकलने दिया जाए. धर्म गुरूओं से संवाद कर कोविड-19 के दिशा-निर्देशों का अनुपालन कराया जाए.

- थानाध्यक्षों, क्षेत्राधिकारियों को यह स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि छोटी से छोटी घटना को गंभीरता से लें. तत्काल घटनास्थल का निरीक्षण करें. पीस कमेटी की मीटिंग कराते हुए सभी सामाजिक व धर्म गुरुओं से व्यवस्था बनाये रखने में सहयोग लिया जाए.

- संवेदनशील, सांप्रदायिक और कंटेनमेंट जोन में पर्याप्त संख्या में पुलिस बल की तैनाती की जाए. त्यौहारों पर सार्वजनिक स्थल, बस स्टेशन, रेलवे स्टेशन और संवेदनशील व धार्मिक स्थनों पर चेकिंग कराई जाए. सघन जांच एवं तलाशी की व्यवस्था के लिए आतंकवादी निरोधक दस्ता एवं बम निरोधक दल की तैनाती सुनिश्चित की जाए.

- ड्रोन कैमरे से निगरानी रखी जाए. सोशल मीडिया की राउंड द क्लॉक मॉनिटरिंग की जाए. सोशल मीडिया के विभिन्न माध्यमों जैसे फेसबुक, इंस्टाग्राम, ट्विटर एवं व्हाट्सएप आदि पर नजर रखते हुए भ्रामक, आपत्तिजनक पोस्ट प्रसारित होते ही उसे ब्लॉक करते हुए संबंधित के खिलाफ कारवाई की जाए.

- बिजली, पेयजल एवं साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाए. मुख्य चिकित्साधिकारी से संपर्क कर सरकारी अस्पतालों को तैयारी हालत में रखा जाए. डॉक्टर तथा पैरा मेडिकल स्टॉफ की ड्यूटी राउंड द क्लॉक लगवाई जाए.

- सीसीटीवी कैमरा लगाने के लिए संवेदनशील स्थानों, चौराहों को चिन्हित कर लिया जाए. संवेदनशील स्थलों को चिन्हित कर उन स्थानों पर रिजर्व पुलिस बल तैनात किया जाए.

- भीड़ में महिलाओं के साथ छेड़खानी की घटनाए न हों, इसके लिए पर्याप्त संख्या में सादी वर्दी में पुरूष एवं महिला पुलिस कर्मियों की तैनाती की जाए.

- शहरों, कस्बों तथा मोहल्लों में पूर्व में गठित शांति समितियों की बैठक आयोजित कर संभ्रांत नागरिकों, शांति समितियों के सदस्यों का सक्रिय सहयोग लिया जाए.

- जनपद मुख्यालय पर पर्याप्त संख्या में पुलिस, पीएसी बल रिजर्व में रखा जाए. आकस्मिक घटना को ध्यान रखते में हुए अभी से एक योजना तैयार कर उसका रिहर्सल भी करा लिया जाए. भीड़ नियंत्रण, दंगा नियंत्रण से संबंधित उपकरणों को तैयारी की हालत में रखा जाए. हेलमेट, बॉडी प्रोटेक्टर आदि की व्यवस्था रखी जाए.

- लोकल इंटेलिजेंस यूनिट के अधिकारियों, कर्मचारियों को सतर्क कर दिया जाए. एलआईयू की हर सूचना पर तत्काल कार्रवाई की जाए.

- अभी तक जिन-जिन स्थानों पर किसी प्रकार का विवाद सामने आया है, वहां पुलिस और राजस्व विभाग के राजपत्रित अधिकारियों द्वारा अभी से स्थिति का जायजा ले लिया जाए. विवाद को सुलझाने और संवेदनशीलता को दूर करने के लिए कार्यवाही सुनिश्चित की जाए.

Last Updated : Aug 14, 2021, 7:16 PM IST
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