लखनऊः उत्तर प्रदेश में पिछले एक माह से सियासी उलटफेर की अटकलें लगाई जा रही हैं. यूपी की सत्ता और संगठन में नेतृत्व परिवर्तन को लेकर चर्चा रुकने का नाम नहीं ले रही है. यूपी में केंद्रीय नेतृत्व के सक्रिय होने के बाद से लोगों के बीच कई प्रकार की चर्चाएं शुरू हुईं जो अब यूपी भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और भाजपा प्रभारी राधा मोहन सिंह ने विराम लगाने की कोशिश के बाद भी नहीं रुक रही. बीजेपी के नेता ही मामले पर लगातार बयानबाजी कर रहे हैं, जिससे मामला उलझता जा रहा है.
दोनों नेताओं ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में चुनाव लड़े जाने की बात कह कर खास तौर पर सरकार में परिवर्तन की अटकलों पर विराम लगा दिया. इसी बीच डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के बयान ने इन अटकलों को एक बार फिर बल दे दिया. यूपी भाजपा अध्यक्ष और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के बयान के अलग-अलग मायने निकाले जा रहे हैं. इन सबके बीच रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का योगी के समर्थन में आया बयान सियासी गलियारे में चर्चा का विषय बना हुआ है.
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रक्षा मंत्री के बयान ने सियासी सरगर्मियां तेज
राज्य भाजपा के इन दो नेताओं केशव प्रसाद मौर्य और बीजेपी अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के विरोधाभासी बयान के बाद केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का बयान आया. उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जमकर तारीफ की. एक चैनल से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में सरकार ने बेहतरीन काम किया है, तो निश्चित तौर पर अगले मुख्यमंत्री के चेहरा वह ही होंगे.
राजनाथ सिंह के इसी बयान ने सियासी गलियारे में सरगर्मियां तेज कर दी है. उनके बयान के अलग-अलग मायने निकाले जा रहे हैं. अब सवाल यह उठता है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के रहते अगले चुनाव में नए चेहरे पर चर्चा क्यों ? दरअसल, भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष से लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने योगी सरकार की सराहना की है. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का बयान केंद्रीय नेतृत्व की योगी के चेहरे पर सहमति के रूप में देखा जा रहा है.
बिना चेहरे के यूपी चुनाव में उतरेगी बीजेपी
भारतीय जनता पार्टी के नेताओं के बयानों के संदर्भ में देखें तो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व का समर्थन मिलता दिख रहा है. वहीं राज्य के नेताओं के बीच चल रही कयास और चर्चाओं पर भी केंद्रीय नेतृत्व पूरी तरह नजर बनाए हुए हैं. केशव मौर्य के बयान को इसी संदर्भ में देखा जा रहा है. बीजेपी महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने पिछले दिनों सरकार के मंत्रियों से अलग-अलग मीटिंग कर स्थिति के बारे में जानने की कोशिश की. उन्होंने अपनी रिपोर्ट भी दिल्ली जाकर दे दी है. हालांकि बीएल संतोष ने योगी सरकार के कामकाज की सराहना की. वहीं यूपी बीजेपी प्रभार राधा मोहन सिंह ने पार्टी नेताओं से कई दौर की वार्ता के बाद योगी के चेहरे पर चुनाव लड़े जाने की बात कही.
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उधर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ खुद दिल्ली जाकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मिल चुके हैं. बावजूद इसके परिस्थितियों पर बीजेपी के बड़े नेताओं की नजर बनी हुई है. बीजेपी किसी भी स्थिति में यूपी को खोना नहीं चाहती. लिहाजा माना ये भी जा रहा है कि अगर जरूरत पड़ी तो असम की तर्ज पर उत्तर प्रदेश में भी बीजेपी बिना चेहरा घोषित किए चुनाव मैदान में जा सकती है. अगर ऐसा होता है तो यह बात स्पष्ट हो जाएगी कि बीजेपी के चुनाव जीत के बाद प्रदेश को मुख्यमंत्री का नया चेहरा मिल सकता है.