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Corona Update: 12वीं के बच्चों को बुलाया जा सकेगा स्कूल, प्रैक्टिकल और लिखित परीक्षा कराने की छूट - जिला विद्यालय निरीक्षक अमरकांत सिंह

कोरोना संक्रमण को देखते हुए बंद चल रहे राजधानी के स्कूलों में अब प्रयोगात्मक परीक्षा और लिखित परीक्षा कराई जा सकेगी. जिला विद्यालय निरीक्षक अमरकांत सिंह की ओर से 12वीं के छात्र-छात्राओं के लिए प्रयोगात्मक के साथ लिखित परीक्षा कराने की छूट दे दी है.

प्रैक्टिकल और लिखित परीक्षा कराने की छूट
प्रैक्टिकल और लिखित परीक्षा कराने की छूट
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Published : Jan 11, 2022, 5:56 PM IST

लखनऊः जिला विद्यालय निरीक्षक अमरकांत सिंह की ओर से 12वीं के छात्र-छात्राओं के लिए प्रयोगात्मक के साथ लिखित परीक्षा कराने की छूट दे दी है. इस दौरान स्कूलों को कोविड प्रोटोकॉल का पालन करना होगा.

उत्तर प्रदेश अनएडेड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल ने बताया कि काउंसिल फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन की ओर से आईएससी की प्रैक्टिकल परीक्षाओं का कार्यक्रम निर्धारित किया जा चुका है. काउंसिल ने सभी स्कूलों को 26 जनवरी तक प्रैक्टिकल परीक्षाओं के अंक अपलोड करने के निर्देश दिए हैं. जबकि कोरोना संक्रमण के खतरे को देखते हुए स्कूलों को सिर्फ ऑनलाइन क्लासेस चलाने की छूट दी गई थी.

ऐसे में जिला विद्यालय निरीक्षक की ओर से ये जारी आदेश स्वागत योग्य है. उन्होंने कहा कि डीआईओएस के इस आदेश के मुताबिक स्कूल प्रैक्टिकल परीक्षाएं करा सकेंगे. उनका दावा है कि शहर के स्कूलों में कोरोना वायरस को देखते हुए प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है. शासन के निर्देश के हिसाब से स्टॉफ भी 50 फीसदी तक ही बुलाया जा रहा है. फिलहाल ये आदेश राजधानी के स्कूलों के लिए लागू होगा.

इसे भी पढ़ें- कोरोना संक्रमित के संपर्क में आने पर कोविड टेस्ट जरूरी नहीं : ICMR

एक ओर जहां शासन की तरफ से 16 तक स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए गए हैं. वहीं राजधानी के कुछ निजी स्कूलों में 11वीं और 12वीं के बच्चों को बुलाकर कक्षाएं संचालित करने की शिकायतें भी सामने आ रही हैं. राजधानी के सिटी मोंटेसरी स्कूल को लेकर अभिभावकों की ओर से जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई गई. अभिभावकों की शिकायत है कि बड़ी संख्या में बच्चों को स्कूल बुलाया जा रहा था. जबकि स्कूल प्रशासन का कहना है कि प्रैक्टिकल के लिए बच्चों को बुलाया गया था.

लखनऊः जिला विद्यालय निरीक्षक अमरकांत सिंह की ओर से 12वीं के छात्र-छात्राओं के लिए प्रयोगात्मक के साथ लिखित परीक्षा कराने की छूट दे दी है. इस दौरान स्कूलों को कोविड प्रोटोकॉल का पालन करना होगा.

उत्तर प्रदेश अनएडेड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल ने बताया कि काउंसिल फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन की ओर से आईएससी की प्रैक्टिकल परीक्षाओं का कार्यक्रम निर्धारित किया जा चुका है. काउंसिल ने सभी स्कूलों को 26 जनवरी तक प्रैक्टिकल परीक्षाओं के अंक अपलोड करने के निर्देश दिए हैं. जबकि कोरोना संक्रमण के खतरे को देखते हुए स्कूलों को सिर्फ ऑनलाइन क्लासेस चलाने की छूट दी गई थी.

ऐसे में जिला विद्यालय निरीक्षक की ओर से ये जारी आदेश स्वागत योग्य है. उन्होंने कहा कि डीआईओएस के इस आदेश के मुताबिक स्कूल प्रैक्टिकल परीक्षाएं करा सकेंगे. उनका दावा है कि शहर के स्कूलों में कोरोना वायरस को देखते हुए प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है. शासन के निर्देश के हिसाब से स्टॉफ भी 50 फीसदी तक ही बुलाया जा रहा है. फिलहाल ये आदेश राजधानी के स्कूलों के लिए लागू होगा.

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एक ओर जहां शासन की तरफ से 16 तक स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए गए हैं. वहीं राजधानी के कुछ निजी स्कूलों में 11वीं और 12वीं के बच्चों को बुलाकर कक्षाएं संचालित करने की शिकायतें भी सामने आ रही हैं. राजधानी के सिटी मोंटेसरी स्कूल को लेकर अभिभावकों की ओर से जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई गई. अभिभावकों की शिकायत है कि बड़ी संख्या में बच्चों को स्कूल बुलाया जा रहा था. जबकि स्कूल प्रशासन का कहना है कि प्रैक्टिकल के लिए बच्चों को बुलाया गया था.

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