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बाहुबली पूर्व सांसद धनंजय सिंह पर 25 हजार का इनाम घोषित

25 हजार का इनाम घोषित
25 हजार का इनाम घोषित
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Published : Mar 4, 2021, 2:21 PM IST

Updated : Mar 4, 2021, 2:59 PM IST

14:12 March 04

अजीत सिंह हत्याकांड मामले में आरोपी पूर्व सांसद धनंजय सिंह के खिलाफ लखनऊ पुलिस ने 25 हजार का इनाम घोषित किया है. पिछले लंबे समय से पुलिस को धनंजय सिंह की तलाश कर रही थी. धनंजय सिंह की गिरफ्तारी को लेकर लखनऊ पुलिस ने उसे भगोड़ा घोषित करते हुए इनाम घोषित किया है.

लखनऊः पूर्वांचल के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद धनंजय सिंह की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. लखनऊ पुलिस ने पूर्व सांसद धनंजय सिंह को भगोड़ा घोषित करते हुए 25,000 का इनाम घोषित किया है. लखनऊ के चर्चित अजीत सिंह हत्याकांड में धनंजय की गिरफ्तारी के लिए ताबड़तोड़ छापेमारी किए जाने के बाद यूपी सरकार अब हाईकोर्ट से मिली उनकी जमानत निरस्त कराने की तैयारी में है. सूत्रों के मुताबिक सूबे के गृह विभाग ने धनंजय की जमानत निरस्त कर उन पर कानूनी शिकंजा कसने के लिए हाई कोर्ट में नियुक्त सरकारी वकीलों से राय मांगी है.

डीसीपी संजीव सुमन के मुताबिक धनंजय सिंह की तलाश में लगातार छापेमारी हो रही है. मगर उसका कोई सुराग नहीं मिला. उक्त मामले में आगे की कार्रवाई करते हुए धनंजय सिंह को भगोड़ा घोषित कर उस पर 25,000 का इनाम घोषित किया गया है. साथी कोर्ट में कुर्की के लिए भी अर्जी देने की तैयारी की जा रही है.

निरस्त की जा सकती है जमानत

लॉकडाउन के दौरान कंस्ट्रक्शन कंपनी के मालिक को धमकाकर उससे रंगदारी मांगने के मामले में धनंजय को पिछले साल गिरफ्तार कर जेल भेजा गया था. इस मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने पिछले साल ही 27 अगस्त को धनंजय की अर्जी मंजूर करते हुए उसे सशर्त जमानत दी थी. जस्टिस रमेश तिवारी की बेंच ने अपने फैसले में कहा था कि जमानत पर रिहा होने के बाद धनंजय सिंह किसी अपराध में शामिल नहीं होंगे. कोर्ट के बुलाने पर अदालत में हाजिर होंगे. मुकदमे के ट्रायल के दौरान पूरा सहयोग करेंगे. सबूतों से छेड़छाड़ और गवाहों पर दबाव डालने का कोई काम नहीं करेंगे. इन शर्तों का पालन नहीं करने पर जमानत निरस्त भी की जा सकती है.

खुद ही अपनी हिस्ट्रीशीट पेश की थी अदालत में

पिछले साल हाईकोर्ट में दाखिल की गई जमानत अर्जी में धनंजय ने अदालत में खुद ही अपनी हिस्ट्रीशीट पेश की थी. धनंजय की तरफ से दाखिल हलफनामे में बताया गया था कि उसके खिलाफ कुल 38 केस दर्ज हैं. इन 38 मामलों में से 24 में वह बरी हो चुका है. एक मुकदमे में डिस्चार्ज हो चुका है. चार मुकदमों में फाइनल रिपोर्ट लग चुकी है. तीन केस सरकार की तरफ से वापस लिए जा चुके हैं. अब सिर्फ पांच मामले ही बचे हैं. धनंजय की तरफ से बचाव में यह भी कहा गया था कि उसके खिलाफ जो मामले दर्ज हुए हैं, उनमे से ज्यादातर राजनैतिक प्रतिद्वंदिता के चलते दर्ज किए गए हैं. यूपी सरकार ने भी धनंजय द्वारा पेश किए गए क्रिमिनल रिकॉर्ड को सही माना था. 

14:12 March 04

अजीत सिंह हत्याकांड मामले में आरोपी पूर्व सांसद धनंजय सिंह के खिलाफ लखनऊ पुलिस ने 25 हजार का इनाम घोषित किया है. पिछले लंबे समय से पुलिस को धनंजय सिंह की तलाश कर रही थी. धनंजय सिंह की गिरफ्तारी को लेकर लखनऊ पुलिस ने उसे भगोड़ा घोषित करते हुए इनाम घोषित किया है.

लखनऊः पूर्वांचल के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद धनंजय सिंह की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. लखनऊ पुलिस ने पूर्व सांसद धनंजय सिंह को भगोड़ा घोषित करते हुए 25,000 का इनाम घोषित किया है. लखनऊ के चर्चित अजीत सिंह हत्याकांड में धनंजय की गिरफ्तारी के लिए ताबड़तोड़ छापेमारी किए जाने के बाद यूपी सरकार अब हाईकोर्ट से मिली उनकी जमानत निरस्त कराने की तैयारी में है. सूत्रों के मुताबिक सूबे के गृह विभाग ने धनंजय की जमानत निरस्त कर उन पर कानूनी शिकंजा कसने के लिए हाई कोर्ट में नियुक्त सरकारी वकीलों से राय मांगी है.

डीसीपी संजीव सुमन के मुताबिक धनंजय सिंह की तलाश में लगातार छापेमारी हो रही है. मगर उसका कोई सुराग नहीं मिला. उक्त मामले में आगे की कार्रवाई करते हुए धनंजय सिंह को भगोड़ा घोषित कर उस पर 25,000 का इनाम घोषित किया गया है. साथी कोर्ट में कुर्की के लिए भी अर्जी देने की तैयारी की जा रही है.

निरस्त की जा सकती है जमानत

लॉकडाउन के दौरान कंस्ट्रक्शन कंपनी के मालिक को धमकाकर उससे रंगदारी मांगने के मामले में धनंजय को पिछले साल गिरफ्तार कर जेल भेजा गया था. इस मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने पिछले साल ही 27 अगस्त को धनंजय की अर्जी मंजूर करते हुए उसे सशर्त जमानत दी थी. जस्टिस रमेश तिवारी की बेंच ने अपने फैसले में कहा था कि जमानत पर रिहा होने के बाद धनंजय सिंह किसी अपराध में शामिल नहीं होंगे. कोर्ट के बुलाने पर अदालत में हाजिर होंगे. मुकदमे के ट्रायल के दौरान पूरा सहयोग करेंगे. सबूतों से छेड़छाड़ और गवाहों पर दबाव डालने का कोई काम नहीं करेंगे. इन शर्तों का पालन नहीं करने पर जमानत निरस्त भी की जा सकती है.

खुद ही अपनी हिस्ट्रीशीट पेश की थी अदालत में

पिछले साल हाईकोर्ट में दाखिल की गई जमानत अर्जी में धनंजय ने अदालत में खुद ही अपनी हिस्ट्रीशीट पेश की थी. धनंजय की तरफ से दाखिल हलफनामे में बताया गया था कि उसके खिलाफ कुल 38 केस दर्ज हैं. इन 38 मामलों में से 24 में वह बरी हो चुका है. एक मुकदमे में डिस्चार्ज हो चुका है. चार मुकदमों में फाइनल रिपोर्ट लग चुकी है. तीन केस सरकार की तरफ से वापस लिए जा चुके हैं. अब सिर्फ पांच मामले ही बचे हैं. धनंजय की तरफ से बचाव में यह भी कहा गया था कि उसके खिलाफ जो मामले दर्ज हुए हैं, उनमे से ज्यादातर राजनैतिक प्रतिद्वंदिता के चलते दर्ज किए गए हैं. यूपी सरकार ने भी धनंजय द्वारा पेश किए गए क्रिमिनल रिकॉर्ड को सही माना था. 

Last Updated : Mar 4, 2021, 2:59 PM IST
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