लखनऊ: उत्तर प्रदेश में सभी स्कूल 14 फरवरी से खुल जाएंगे. शुक्रवार देर रात शासन की तरफ से यह आदेश जारी कर दिया गया. प्रदेश में विश्वविद्यालय और कॉलेज पहले ही खोले जा चुके हैं.
उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण के चलते बीते करीब डेढ़ महीने से स्कूल-कॉलेज बंद चल रहे थे. निजी स्कूलों के संगठन के दबाव में बीती 7 फरवरी को कक्षा 9 से 12वीं तक के स्कूलों के संचालन का फैसला लिया गया. इसके साथ ही कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में भी ऑफलाइन कक्षाएं शुरू करने के आदेश जारी कर दिए गए थे. ऐसे में अब स्कूल प्रबंधन की तरफ से आठवीं तक की कक्षाओं को भी संचालित किए जाने की मांग की जा रही थी. वहीं, बीती 31 दिसंबर से बंद चल रहे सरकारी प्राइमरी और अपर प्राइमरी स्कूलों को भी खोलने की मांग कर रहे थे.
शासन के इस आदेश के बाद एक और जहां निजी स्कूलों के लिए कक्षा 8 तक के बच्चों को बुलाने का रास्ता साफ हो गया है, वहीं, सरकारी स्कूलों को भी खोलने के संबंध में स्थिति स्पष्ट कर दी गई है.
बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर केंद्रीय विश्वविद्यालय की ओर से भी अपनी कक्षाओं को ऑफलाइन संचालित करने के संबंध में एक कार्यक्रम तैयार किया गया है. विश्वविद्यालय के प्रस्तावित कार्यक्रम के तहत विश्वविद्यालय में अंतिम वर्ष के छात्र-छात्राओं के लिए 21 फरवरी से कक्षाएं शुरू करने का फैसला लिया गया है. अन्य सभी कक्षाओं में 1 मार्च से ऑफलाइन क्लासेस शुरू कर दी जाएंगी. बता दें कि कोरोना संक्रमण के चलते बीते करीब 2 सालों से यूनिवर्सिटी पूरी तरह से नहीं खुल पाई है. छात्रों की तरफ से लगातार इसे पूरी तरह से खोले जाने की मांग की जा रही थी.
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आठवीं तक के स्कूलों को भी खोलने के संबंध में शासन के आदेश का स्कूल संगठनों की ओर से स्वागत किया गया है. Unaided private school association के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल का कहना है कि कोरोना संक्रमण के चलते बच्चे बीते लंबे समय से अपने घरों में कैद हैं. छोटे बच्चों की पढ़ाई सबसे ज्यादा प्रभावित हो रही है. स्थितियों में सुधार देखने को मिल रहा है. ऐसे में शासन के इस फैसले से बच्चों की पढ़ाई सुधार सकेगी. यह फैसला स्वागत योग्य है.
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