लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने यूपी की बिगड़ती कानून व्यवस्था पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को आड़े हाथों लिया है. सपा मुखिया ने महिलाओं पर बढ़ते अपराध पर जमकर सरकार को घेरा है. अखिलेश ने कहा कि उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री जी ने अपने-बड़े-बड़े वादों की मिट्टी पलीत होते देखकर लगता है अब अपनी आंखें मूंद ली हैं और कानून व्यवस्था को भी भगवान भरोसे छोड़ दिया है.
सपा मुखिया अखिलेश यादव ने शनिवार को बयान जारी करते हुए कहा कि हालात बताते हैं कि पुलिस अपराधियों के हौसले बढ़ा ज्यादा रही है, तोड़ बहुत कम रही है. देश-विदेश में इससे बड़ी बदनामी क्या होगी कि उत्तर प्रदेश में एटा जनपद के एक कारोबारी की अपहरण के बाद हत्या फिर फिरौती वसूलने के बहाने उसकी पत्नी को बुलाकर अपहरण और गैंगरेप किया गया. फिर 88 दिनों तक उसे बंधक रखा गया. वह महिला इंसाफ मांगती रही, उसकी एफआईआर पुलिस ने 3 साल तक नहीं लिखी.
'भाजपाइयों पर भी हो रहे हमले'
अखिलेश यादव ने कहा कि हर शहर, कस्बे और गांव में कानून व्यवस्था सत्ता संरक्षित अपराधियों द्वारा रौंदी जा रही है. अलीगढ़ में एक महिला ने एफआईआर लिखाई तो भाजपा नेता ही उसके विरोध में थाने पर प्रदर्शन करने लगे. इससे अपराधी इतने ढीठ हो गए हैं कि भाजपा नेताओं पर भी हाथ साफ कर रहे है. लखनऊ में भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष के घर पर हमला हुआ और वाहन तोड़ दिया गया. बांदा में भाजयुमो मण्डल अध्यक्ष के घर से चोर नकदी जेवर ले गए. कुछ को पुलिस ने अपने तरीके से हद में रहने का पाठ पढ़ा दिया. रोज हत्याएं, लूट और बलात्कार की घटनाएं हो रही हैं. राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो की एक रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश महिलाओं के लिए सर्वाधिक असुरक्षित है.
'अधिकारियों पर खड़े किए सवाल'
पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने शनिवार को कहा कि भाजपा के रामराज में खुद पुलिस पर और जिलाधिकारी पर भ्रष्टाचार के आरोप उनके अधीनस्थ खुले आम लगाने लगे हैं. एक पूर्व डीजीपी द्वारा पैसे लेकर मलाई वाले थाने बांटने का खुलासा हुआ है. मुगलसराय कोतवाली पुलिस पर हर महीने 35 लाख रुपये की वसूली का आरोप है, जिसकी सूची खुद एक आईपीएस ने डीजीपी को दी है. प्रतापगढ़ में एडिशनल एसडीएम-2 ने तो डीएम, एडीएम पर भ्रष्टाचार के सीधे आरोप लगाते हुए जिलाधिकारी के आवास पर धरना भी दे दिया.
'अपराधों पर नहीं है प्रदेश सरकार का नियंत्रण'
अखिलेश यादव ने कहा कि प्रदेश में पुलिस-माफिया और नेता का एक ऐसा संगठित गिरोह बन गया है, जिससे अवैध गतिविधियों को संरक्षण मिल जाता है और इसका विरोध करने वाले को ही मुसीबत झेलनी पड़ जाती है. उन्होंने कहा कि अपराधी बेखौफ अवैध खनन कराते हैं, पेड़ों की कटाई कराते हैं, सचिवालय में बैठकर ठगी का धंधा चलाते हैं, लेकिन यह सब देखकर भी अनदेखी की जा रही है. नतीजा यह है कि अपराधों पर प्रदेश सरकार का नियंत्रण नहीं है.
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'जुमलेबाजी में निकल गए साढ़े तीन साल'
सपा मुखिया ने कहा कि साढ़े तीन साल भाजपा सरकार ने बिना कुछ किए सिर्फ जुमलेबाजी में निकाल दिए हैं. बड़े-बड़े सपने दिखाकर लोगों को खूब बहकाया किन्तु अब सब भाजपा की सच्चाई और कथनी-करनी के बीच उसके अंतर को समझ गए हैं. कहते हैं काठ की हांडी बार-बार नहीं चढ़ती है. अच्छा होगा मुख्यमंत्री जी लोकभवन की गद्दी छोड़कर अपनी पुरानी गद्दी जाकर संभाल लें. इसी में विकास से दूर हो रहे प्रदेश और अपराधों की दहशत में जी रही जनता की भलाई है.