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यूपी की जेलों में बंद कैदियों के लिए मुसीबत बना कोरोना, 606 संक्रमित

उत्तर प्रदेश की जेलों में बंद कैदियों में कोरोना वायरस तेजी से फैलता जा रहा है. अब तक 606 कैदियों में कोरोना वायरस की पुष्टि हो चुकी है. स्थाई और अस्थाई जेलों को मिलाकर 31,876 कैदियों के कोरोना टेस्ट कराए जा चुके हैं.

यूपी की जेलों में बंद कैदियों में कोरोना संक्रमण
यूपी की जेलों में बंद कैदियों में कोरोना संक्रमण
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Published : Jul 28, 2020, 9:19 AM IST

Updated : Jul 28, 2020, 10:18 AM IST

लखनऊ: राजधानी सहित उत्तर प्रदेश के तमाम जिलों में कैदी कोरोनावायरस से संक्रमित हो रहे हैं. जेल विभाग की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के तहत उत्तर प्रदेश की जेलों में 606 कैदी कोरोना वायरस से संक्रमित हैं. कोरोना वायरस से 490 कैदी स्थाई जेल के संक्रमित हैं, जिनमें से 63 को आइसोलेट किया गया है. वहीं 427 संक्रमित कैदियों को एल-1 हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है. 116 संक्रमित कैदी अस्थाई जेलों में मिले हैं, जिनमें 34 को आइसोलेट किया गया है. वहीं 82 को एल 1 हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है.

विभाग की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के तहत उत्तर प्रदेश के 52 जिलों में 69 अस्थाई जेल हैं, जिनमें चार हजार सोलह बंदी बंद हैं. प्रदेश की स्थाई और अस्थाई जेलों में 1,01,592 कैदी बंद हैं. अब तक स्थाई और अस्थाई जेलों को मिलाकर 31876 कैदियों के टेस्ट कराए जा चुके हैं.

डीजी जेल आनंद कुमार ने शुरुआत से ही जेल में बंद कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए प्रोटोकॉल निर्धारित किया था. इसके तहत जेल के कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाना था. तमाम प्रयासों के बावजूद भी कोविड-19 संक्रमण जेलों के अंदर पहुंच गया है. जेलों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए कैदियों को स्थाई जेल से पहले अस्थाई जेलों में रखने की व्यवस्था की गई थी. इन प्रयासों के बावजूद भी जेलों में लगातार कोविड-19 संक्रमण से प्रभावित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है.

रक्षाबंधन को लेकर जारी किए गए निर्देश
जेलों में बंद कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए आगामी रक्षाबंधन के त्यौहार को ध्यान में रखते हुए अपर महानिरीक्षक जेल की ओर से निर्देश जारी किए गए. इसके तहत रक्षाबंधन के त्योहार पर कैदियों से मिलने आने वाले परिजनों के लिए जेल के बाहर हेल्पडेस्क लगाने के निर्देश दिए गए हैं. वहीं यह निर्देश भी जारी किए गए हैं कि परिजनों की ओर से कैदियों के लिए भेजी जाने वाली राखी को एक लिफाफे में बंद कर नाम पता और कैदी के संदर्भ में जानकारी अंकित कर कैदियों को उपलब्ध कराई जाएंगी. इस दौरान किसी तरह की खाद्य सामग्री जेल कर्मचारी स्वीकार नहीं करेंगे, जो सामान परिजनों द्वारा कैदियों के लिए भेजा जाएगा. उसे पूरी तरह से सैनिटाइज करने के बाद ही जेल के अंदर कैदियों को दिया जाएगा. यह व्यवस्था एक अगस्त से लागू होगी.

लखनऊ: राजधानी सहित उत्तर प्रदेश के तमाम जिलों में कैदी कोरोनावायरस से संक्रमित हो रहे हैं. जेल विभाग की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के तहत उत्तर प्रदेश की जेलों में 606 कैदी कोरोना वायरस से संक्रमित हैं. कोरोना वायरस से 490 कैदी स्थाई जेल के संक्रमित हैं, जिनमें से 63 को आइसोलेट किया गया है. वहीं 427 संक्रमित कैदियों को एल-1 हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है. 116 संक्रमित कैदी अस्थाई जेलों में मिले हैं, जिनमें 34 को आइसोलेट किया गया है. वहीं 82 को एल 1 हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है.

विभाग की ओर से जारी किए गए आंकड़ों के तहत उत्तर प्रदेश के 52 जिलों में 69 अस्थाई जेल हैं, जिनमें चार हजार सोलह बंदी बंद हैं. प्रदेश की स्थाई और अस्थाई जेलों में 1,01,592 कैदी बंद हैं. अब तक स्थाई और अस्थाई जेलों को मिलाकर 31876 कैदियों के टेस्ट कराए जा चुके हैं.

डीजी जेल आनंद कुमार ने शुरुआत से ही जेल में बंद कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए प्रोटोकॉल निर्धारित किया था. इसके तहत जेल के कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाना था. तमाम प्रयासों के बावजूद भी कोविड-19 संक्रमण जेलों के अंदर पहुंच गया है. जेलों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए कैदियों को स्थाई जेल से पहले अस्थाई जेलों में रखने की व्यवस्था की गई थी. इन प्रयासों के बावजूद भी जेलों में लगातार कोविड-19 संक्रमण से प्रभावित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है.

रक्षाबंधन को लेकर जारी किए गए निर्देश
जेलों में बंद कैदियों को कोविड-19 संक्रमण से बचाने के लिए आगामी रक्षाबंधन के त्यौहार को ध्यान में रखते हुए अपर महानिरीक्षक जेल की ओर से निर्देश जारी किए गए. इसके तहत रक्षाबंधन के त्योहार पर कैदियों से मिलने आने वाले परिजनों के लिए जेल के बाहर हेल्पडेस्क लगाने के निर्देश दिए गए हैं. वहीं यह निर्देश भी जारी किए गए हैं कि परिजनों की ओर से कैदियों के लिए भेजी जाने वाली राखी को एक लिफाफे में बंद कर नाम पता और कैदी के संदर्भ में जानकारी अंकित कर कैदियों को उपलब्ध कराई जाएंगी. इस दौरान किसी तरह की खाद्य सामग्री जेल कर्मचारी स्वीकार नहीं करेंगे, जो सामान परिजनों द्वारा कैदियों के लिए भेजा जाएगा. उसे पूरी तरह से सैनिटाइज करने के बाद ही जेल के अंदर कैदियों को दिया जाएगा. यह व्यवस्था एक अगस्त से लागू होगी.

Last Updated : Jul 28, 2020, 10:18 AM IST
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