लखनऊ: यूपी में कोरोनावायरस (Coronavirus in UP) के प्रसार में गिरावट आ गयी है. मगर वायरस का जानलेवा खेल जारी है. शनिवार को कोरोना संक्रमण से 17 मरीजों की जान चली गई, वहीं राज्य में 3500 से ज्यादा को नए मरीज मिले हैं.
मिली जानकारी के अनुसार, शनिवार को 24 घंटे में 2 लाख से अधिक कोरोना टेस्ट किए गए. इसमें 3555 नए मरीजों में कोरोना की पुष्टि हुई, साथ ही 23,303 मरीज डिस्चार्ज किए गए. वहीं देश में सर्वाधिक 10 करोड़ चार लाख से अधिक टेस्ट किए गए. यहां एक व्यक्ति के पॉजिटिव आने पर 55 लोगों की जांच की जा रही है. जो कि डब्ल्यूएचओ के मानक से अधिक है. वहीं ओमिक्रोन को ध्यान में रखते हुए केजीएमयू, एसजीपीजीआई, बीएचयू, सीडीआरआई की लैब के अलावा गोरखपुर, झांसी व मेरठ में जीनोम सिक्वेंसिंग टेस्ट (genome sequencing test) शुरू करने के निर्देश दिए गए है.
दूसरी लहर में सिर्फ दो डेल्टा प्लस के केस रहे. वहीं 90 फीसद से ज्यादा डेल्टा वैरिएंट भी पाया गया. वहीं अब तीसरी लहर में 90 फीसद ओमिक्रोन वैरिएंट पाया जा रहा है. अगर बात करें संक्रमण दर की, तो 17 जनवरी को दैनिक संक्रमण दर 7.11 फीसद, 19 जनवरी को सबसे अधिक 7.78 फीसद थी. इसके अलावा 25 जनवरी को संक्रमण दर 4.98 फीसद थी, जो अब घटकर 2.46 फीसद पर आ गई.
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अब तक 359 ओमिक्रोन के मरीज
17 दिसम्बर को गाजियाबाद में दो मरीजों में ओमिक्रोन की पुष्टि हुई है. यह मरीज महाराष्ट्र से आये थे. वहीं 25 दिसम्बर को रायबरेली की महिला में ओमिक्रोन वैरिएंट पाया गया. यह महिला अमेरिका से आई हुई थी. चार जनवरी को 23 मरीज मिले. बता दें कि ओमिक्रोन की जांच के लिए अब तक कुल 526 सैम्पल जीनोम सिक्वेंसिंग की गई. इसमें 359 ओमिक्रोन के मरीज पाए गए हैं.
यूपी में विदेश यात्रा व अन्य राज्य से आ रहे लोगों का कोरोना टेस्ट अनिवार्य है. एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन, बस स्टॉप पर जांजे भी की जा रही हैं. इस दौरान पॉजिटिव आने पर मरीज का सैम्पल जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए भेजा जा रहा है. अब हर भर्ती मरीज का भी जीनोम सिक्वेंसिंग टेस्ट होगा.
बताया जा रहा है कि ज्यादातर लोगों में डेल्टा वैरिएंट ही पाया जा रहा है. वहीं निगरानी समिति बाहर से लौटे रहे लोगों की निगरानी बनाए हुए है. वहीं गांव से लेकर शहर तक की निगरानी समितियों को अलर्ट कर दिया गया है.
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घटकर 32 हजार हुए एक्टिव केस
राज्य में जनवरी शुरुआत में तीसरी लहर पीक पर थी. इस दौरान एक लाख 16 हजार 616 एक्टिव केस थे. वहीं शनिवार को 32,514 हजार रह गई. फिलहाल सरकार ने तीसरी लहर से निपटने की व्यवस्था कर ली है. अस्पतालों में 551 ऑक्सीजन प्लांट शुरू हो गए हैं. इनके संचालन के लिए आईटीआई पास कर्मी तैनात किए जा रहे हैं. वहीं 56 हजार से अधिक आइसोलेशन बेड, 18 हजार आईसीयू बेड, 6700 पीकू-नीकू बेड तैयार हो गए हैं. 30 हजार ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर अस्पतालों को दिए गए.
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यूपी में क्षेत्रों को क्लस्टर में बांटकर दोबारा टीकाकरण शुरू किया गया. इसमें दूसरी डोज लगाने के काम पर भी जोर दिया जा रहा है. इसमें फिक्स बूथ के अलावा कैम्प व घर-घर वैक्सीन की ड्राइव चलाई जा रही है. जिन इलाकों में क्लस्टर बनाकर पहली डोज लगाई गई है. उन क्षेत्रों में अब दूसरी डोज भी लगाई जा रही हैं. मौके पर ही पंजीकरण हो रहा है. सोमवार को मेगा कैम्प लगाए गए. इसमें किशोरों के वैक्सीनेशन पर भी जोर दिया गया.
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. मनोज अग्रवाल की अगुवाई में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने शनिवार को जिले के शहरी एवं ग्रामीण सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) पर चल रहे कोविड टीकाकरण सत्रों का जायजा लिया. इसके साथ ही जिले के कई क्षेत्रों में घर-घर जाकर लोगों को कोविड टीकाकरण के लिए प्रेरित किया.