लखीमपुर खीरी: भाजपा विधायक अरविंद गिरी को कोर्ट ने भगोड़ा घोषित कर दिया है. कोर्ट ने विधायक के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करते हुए कुर्की की कार्यवाही भी शुरू कर दी है. एमपी-एमएलए विशेष अदालत ने विधायक को बार-बार नोटिस के बाद भी कोर्ट में हाजिर न होने पर कार्रवाई करते हुए सख्त रुख अख्तियार किया है. विधायक पर दुधवा टाइगर रिजर्व में तोड़-फोड़, मारपीट करने समेत आधा दर्जन आपराधिक मामले कोर्ट में लंबित चल रहे हैं.
अरविन्द गिरी चौथी बार जीत हासिल कर इस बार भाजपा गोला गोकर्णनाथ से विधायक बने. सपा के शासन में विधायक अरविन्द गिरी पर 2006 का एक वाइल्ड लाइफ क्राइम का मुकदमा चल रहा है. दुधवा टाइगर रिजर्व के किशनपुर सेंचुरी में विधायक और उनके गुर्गों पर फारेस्ट स्टाफ को पीटने, टाइगर रिजर्व में इलीगल ट्रेसपासिंग करने और किशनपुर सेंचुरी के गेस्ट हाऊस में तोड़फोड़ करने और हंगामे के आरोप में मुकदमे दर्ज हैं. इसके अलावा भी विधायक अरविन्द गिरी पर आधा दर्जन आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं. एडीजे-3 पीके सिंह की अदालत ने विधायक के खिलाफ कोर्ट में बार-बार नोटिस के बाद हाजिर न आने पर सख्त रुख अख्तियार करते हुए भगोड़ा घोषित कर गिरफ्तारी करने और कुर्की की कार्यवाही भी शुरू करने के आदेश जारी कर दिए हैं.
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शासकीय अधिवक्ता प्रमोद कुमार सिंह ने बताया कि विधायक को नोटिस जारी करते हुए अदालत ने छह मार्च की अगली तिथि सुनवाई के लिए मुकर्रर की है. वन्यजीव अधिनियम का 2006 का मामला विधायक अरविंद गिरी पर लंबित है. बार-बार नोटिस के बाद भी विधायक अदालत में हाजिर नहीं हुए. इसलिए अदालत ने विधायक की गिरफ्तारी को धारा 82 की नोटिस जारी की है.