कौशांबीः उत्तर प्रदेश में होने वाले निकाय चुनाव को लेकर प्रचार करने कौशांबी जिले के डाइट मैदान आए यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने शनिवार को भारतीय जनता पार्टी से भितरघात करने वालों को चेतावनी दी थी. उन्होंने मंच से कहा था कि 2022 में तो भितरघतियो को माफ कर दिया गया था लेकिन निकाय चुनाव में उन्हें बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. इसके बाद 24 घंटे के अंदर 18 पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं को पार्टी से निष्कासित कर दिया गया.
डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने कहा था कि आप सभी कार्यकर्ता साथियों से इतना ही निवेदन करूंगा कि सूची बना लेना जिन भितरघात करने वालों को 2022 में बर्दाश्त कर लिया था लेकिन 2023 में इन्हें बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. उन्होंने कहा कि जिन्हें भाजपा के विरोध में अगर जाना है चले जाए हम परवाह नहीं करते हैं. भाजपा की खिलाफत करने वालों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
उन्होंने कहा था कि सूची बना लेना एक-एक सूची जिलाध्यक्ष को दे देना. एक सूची प्रभारी मंत्री को दे देना, एक जिला प्रभारी को देना, एक सूची मुझे भेज देना. इसके बाद उन्होंने पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस के एक बंद कमरे में जिला कमेटी के साथ बैठक की. इसमें कमेटी ने बागियों की लिस्ट बनाई. लिस्ट बनाने के 24 घंटे के भीतर यूपी प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी और क्षेत्र अध्यक्ष दिलीप सिह पटेल ने 18 पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं को पार्टी से निष्कासित कर दिया. इन्हें छह साल के लिए निष्कासित किया गया है.
निष्कासित किए जाने वाले नेताओं में अनुसूचित मोर्चा के जिला अध्यक्ष ज्ञानचंद सरोज शामिल हैं. इन पर आरोप है कि इन्होंने पार्टी से बगावत कर भरवारी नगरपालिका का चुनाव लड़ रहे वीरेंद्र फौजी के साथ पार्टी से बगावत कर चुनाव प्रचार किया. इसके अलावा किसान मोर्चा के जिला अध्यक्ष रमेश पाल पर भी पार्टी ने निष्कासन की कार्रवाई की है. मंझनपुर नगर पालिका के वार्ड नंबर 22 से भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर सभासद का चुनाव लड़ रही कविता पाल के विरुद्ध अपने बेटे सनी पाल को निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में खड़ा किया था. साथ ही उसका प्रचार भी किया था. इसकी शिकायत होने के बाद पार्टी ने निष्कासन की कार्रवाई की है. ऐसे ही जिला उपाध्यक्ष अनुसूचित मोर्चा लोकेश कुमार उर्फ पप्पू चौधरी ने भी पार्टी से बगावत कर नगर पालिका मंझनपुर के अध्यक्ष पद के लिए निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ रहे हैं. उन्हें भी पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया गया है.