कानपुर: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान कानपुर (IIT Kanpur) में सिविल इंजीनियरिंग विभाग, निर्माण इंजीनियरिंग पर भारत का पहला ऑनलाइन पोस्ट-ग्रेजुएट स्तर का कार्यक्रम शुरू करेगा. यह कार्यक्रम संस्थान द्वारा चलाए जा रहे अद्वितीय ईमास्टर्स डिग्री प्रोग्रामों में एक नया क्षेत्र है, जो कि "सस्टेनेबल कंस्ट्रक्शन प्रैक्टिस एंड प्रोजेक्ट मैनेजमेंट" पर केंद्रित है. इसे भारत में तेजी से बढ़ते बुनियादी ढांचे और निर्माण क्षेत्रों की जरूरतों को पूरा करने के लिए डिजाइन किया गया है.
क्या है विशेषज्ञों की राय: आईआईटी कानपुर के विशेषज्ञों का कहना है कि भारत की शहरीकरण दर कुछ वर्षों के भीतर 35 प्रतिशत से 50 प्रतिशत तक बढ़ने का अनुमान है. ऐसे में टिकाऊ निर्माण की आवश्यकता सर्वोपरि हो जाती है. इस कार्यक्रम का उद्देश्य सिविल इंजीनियरों और वास्तुकारों को न्यूनतम संसाधनों और ऊर्जा आवश्यकताओं का उपयोग करके और न्यूनतम कार्बन पदचिह्न के साथ परियोजनाओं को प्रभावी ढंग से प्रबंधित करने के लिए ज्ञान और कौशल से लैस करना है.
जुलाई में कोर्स लांच होगा: आईआईटी कानपुर के विशेषज्ञों ने बताया कि इस ई-मास्टर्स प्रोग्राम में दाखिला लेने वालों को मार्च 2023 के अंत में आवेदन का मौका मिलेगा. जुलाई में कोर्स को लांच किया जाएगा. इस कोर्स को आईआईटी कानपुर के संकायों और उद्योग विशेषज्ञों द्वारा डिजाइन किया है. इसमें टिकाऊ डिजाइन और निर्माण, हरित निर्माण सामग्री, परियोजना प्रबंधन और टिकाऊ परियोजनाओं के लिए वित्तपोषण सहित कई विषयों को शामिल किया जाएगा. इस कोर्स को पूरा करने के लिए एक से तीन साल तक का मौका मिलेगा. अधिक जानकारी के लिए छात्र-छात्राएं वेबसाइट- https://emasters.iitk.ac.in पर जा सकते हैं.
आवश्यकताओं को पूरा करेगा कोर्स: बुनियादी ढांचे और निर्माण क्षेत्र भारत का अर्थव्यवस्था में प्रमुख योगदान है. इस क्षेत्र में स्थिरता की समस्याओं को संबोधित करना आवश्यक है. भारत के समग्र विकास में योगदान करने के लिए सफलतापूर्वक चला रहे अपने अन्य सभी विविध ईमास्टर्स डिग्री कार्यक्रमों की तरह, हमने इस कार्यक्रम को तेजी से बढ़ते इस क्षेत्र की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए अकादमिक अंतर्दृष्टि और औद्योगिक कौशल का उचित मिश्रण प्रदान करके डिज़ाइन किया है.
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