कानपुर. विदेश में नौकरी दिलाने के नाम पर साइबर ठगों ने एक युवक को अपने जाल में फंसा लिया. इंटरव्यू, डाक्यूमेंट वेरीफिकेशन जैसे बहाने बनाकर छब्बीस लाख अड़तालीस हजार चार सौ सत्तर रुपये ठग लिए. काफी पैसा देने के बाद भी जब नौकरी नहीं लगी और पैसों की डिमांड बंद नहीं हुई, तब युवक को अपने साथ साइबर फ्रॉड होने का एहसास हुआ. पीड़ित युवक ने थाना कल्याणपुर में मामला दर्ज कराया. क्राइम ब्रांच ने ठगी गैंग के एक सदस्य को दबोच लिया. अन्य की तलाश की जा रही है.
घटनाक्रम के मुताबिक नौ जनवरी को आवेदक सोंगता चक्रवर्ती निवासी थाना कल्यानपुर ने साइबर सेल (अपराध शाखा) कानपुर नगर में लिखित शिकायत दर्ज कराई. उसने बताया कि विदेश में नौकरी लगवाने के नाम पर छब्बीस लाख अड़तालीस हजार चार सौ सत्तर रुपये का फ्रॉड हुआ है. साइबर सेल द्वारा की गयी त्वरित कार्यवाही में मामले का खुलासा हो गया.
आवेदक ने 20 नवंबर 2021 को नौकरी के लिए ऑनलाइन MOMSTER पोर्टल पर आवेदन किया था. इसके बाद आवेदक के पास फोन आता है कि क्या आप सिंगापुर में नौकरी करना चाहोगे. इस पर आवेदक ने सहमति दे दी. आवेदक से जरुरी दस्तावेज लिए गए और फिर 23 नवंबर को इंटरव्यू कराने के नाम पर 4200 रुपये बैंक खाता में डलवाए.
उसके बाद डाक्यूमेंट वेरीफिकेशन, वीजा एप्लीकेशन, मिनिस्ट्री ऑफ मैनपावर, बैंक गारंटी आदि के नाम पर अलग-अलग बैंकों के खातों में कुल छब्बीस लाख अड़तालीस हजार चार सौ सत्तर रुपये ट्रांसफर करा लिए. सोंगता चक्रवर्ती के पिता ऑर्डिनेंस फैक्ट्री से सेवानिवृत्त हैं. सोंगता भी दुबई में नौकरी करता था. लॉकडाउन लगने पर उसकी नौकरी छूट गई थी. इसीलिए वह नौकरी की तलाश में था.
क्राइम ब्रांच ने कार्यवाही करते हुए एक अभियुक्त दीपक कुमार पुत्र देवेंद्र सिंह निवासी शाहपुर पटना बिहार को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. दीपक साल 2017 से ठगी का धंधा कर रहा है. इससे दीपक ने काफी प्रॉपर्टी भी बना ली है. गैंग में 3 से चार लोग और शामिल हैं. क्राइम ब्रांच अन्य अभियुक्तों की तलाश करने में जुटी है.
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