झांसी: देश और प्रदेश की सरकार ने तीन तलाक को गलत मानते हुए उस पर नए कानून लागू किए. सीएम योगी के आदेश हैं कि तीन तलाक से पीड़ित महिलाओं को जल्द न्याय मिले. लेकिन पुलिस की लचर कार्यप्रणाली से पीड़िता को पुलिस अधिकारियों की चौखट तक जाना पड़ता है. ताजा मामला मऊरानीपुर से सामने आया है, जिसमें एक विवाहिता ने अपने ससुरालियों के साथ पति पर भी उत्पीड़त का आरोप लगाया है.
झांसी मऊरानीपुर के रहने वाले पीड़िता के भाई मोहम्मद इफराक ने बताया की उसकी बहन शबनम की शादी 3 वर्ष पूर्व जिला हमीरपुर के राठ थाना क्षेत्र के अंतर्गत मुगलपुरा बजरिया में रहने वाले शिवली हसन के साथ हुई थी. उसके पिता इकबाल ने अपनी हैसियत से भी बढ़कर शादी में लाखों का दान दहेज दिया था. लेकिन इसके बाद भी शबनम के ससुराल वाले कम दहेज लाने का ताना देकर उसका मानसिक और शारीरिक उत्पीड़न करते रहे. आरोप लगाया गया है कि ससुराल वाले स्विफ्ट डिजायर गाड़ी की मांग करने लगे. मांग पूरी न होने पर शबनम को मारा पीटा गया. 29 जनवरी की रात्रि 7 बजे ससुराल वालों ने उसको जान से मारने की नियत से गला दबाने की कोशिश और उसको एक कमरे में बंद कर दिया. इसके बाद उसने अपने मायके वालों को सूचना दी, जिस पर मायके वाले राठ पहुंचे. इस बीच परिजनों ने पुलिस अफसरों को फोन कर घटना की जानकारी दी. इस पर पुलिस मौके पर पहुंची और किसी तरह से दरवाजे तोड़कर शबनम को बाहर निकाला.
शबनम ने बताया की उसके नंदोई ने उसको बुरी नियत से हाथ पकड़ लिया. जिसका उसने विरोध किया. इसकी जानकारी उसने अपने सास ससुर को दी, जिस पर उन लोगों ने उसको बुरी तरह मारा पीटा. पति के आने पर जब उसने पति को सारी बात बताई तो सभी ने मिलकर उसको बुरी तरह एक बार और मारा और एक कमरे में उसके बच्चे सहित बंद कर दिया.
उसने सूचना अपने घर दी और घर वाले उसको किसी तरह बचा कर मऊरानीपुर ले आए. साथ ही पुलिस से शिकायत की गई. आरोप है कि मंगलवार को पति जब मऊरानीपुर आया तो उसने महिला को पहले राजीनामें के लिए धमकाया और बाद में उसे तीन बार तलाक कह तलाक दे दिया. इसके बाद पति वहां से चला गया. अपने साथ हुए अन्याय की कहानी को महिला ने मऊरानीपुर थाने में सुनाया. लेकिन फिर भी उसपर कोई कठोर कार्रवाई नहीं की गई. जिसके बाद, पीड़ित महिला अपने परिवारजनों के साथ एसएसपी कार्यालय पहुंची और कार्रवाई की मांग की है.
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