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हरदोई के मदरसों में साढ़े 3 करोड़ का घोटाला, 10 हजार से ज्यादा बच्चों को नहीं मिला ब्यौरा - Aadhaar seeding in madrassa enrollment

हरदोई में संचालित मदरसों में करोड़ों रुपए के फर्जीवाड़ा सामने आया है. पिछले साल के मुकाबले इस साल 90% बच्चों का ब्यौरा नहीं मिला है. एकदम से इतनी संख्या कम होने से प्रशासन समेत अल्पसंख्यक विभाग में हड़कंप मच गया है.

हरदोई के मदरसों में साढ़े 3 करोड़ का घोटाला
हरदोई के मदरसों में साढ़े 3 करोड़ का घोटाला
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Published : Jul 21, 2023, 9:29 PM IST

हरदोई के मदरसों में साढ़े 3 करोड़ का घोटाला

हरदोई: मदरसों में नामांकन के साथ आधार सीडिंग के कार्य से फर्जीवाड़े की परत खुलने लगी है. जिसमें कई मदरसे तो ऐसे है जिनमें 90%बच्चों का ब्यौरा ही नहीं मिल पा रहा है. पिछले साल के मुकाबले इस साल लगभग 10 हजार छात्र कम मिले हैं. छात्रों की संख्या घटने से अनुमान लगाया जा रहा है कि पिछले साल लगभग 3.60 करोड़ का घोटाला किया गया है. फिलहाल, इस मामले में डीएम ने जांच कर कार्रवाई के निर्देश दिए हैं.


डीएम मंगला प्रसाद सिंह अनुसार, जिले में मदरसा बोर्ड से 41 मदरसे संचालित हो रहे है. जिनमें पिछले साल 25 हजार 944 बच्चे पंजीकृत थे. इन मदरसों में बच्चों की संख्या में बड़ा खेल किया जा रहा था. जब शासन ने शत प्रतिशत आधार सीडिंग का काम कराने के आदेश दिए तो मदरसों में पढ़ने वाली सभी बच्चों के आधार फीड कराए जाने लगे. जिसमें रहस्यमय ढंग से 10,185 बच्चों की संख्या कम हो गई. अब कुल 41 मदरसों में पढ़ने वालों बच्चों की संख्या 15,759 रह गई है.


डीएम मंगला प्रसाद सिंह ने बताया कि मदरसे में अध्ययनरत विद्यार्थियों के रजिस्ट्रेशन नाम और खाते में आधार सीडिंग का काम कराया जा रहा है. आधार सीडिंग के बाद बहुत सारे बच्चे ऐसे है, जो मिसिंग पाए गए है. जिनकी संख्या लगभग10 हजार के पास है. इसकी जांच कराई जा रही है कि ऐसा क्यों है और जो बच्चे है ये कहां है. बच्चे सही में रजिस्टर्ड थे या नहीं थे. इसके बारे में अल्पसंख्यक विभाग रिपोर्ट तैयार कर रहा है. जो रिपोर्ट आएगी उसी के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी. वहीं, 3.60 करोड़ के फर्जीवाड़े पर डीएम ने कहा कि स्वाभाविक है जो बच्चे रजिस्टर्ड थे उनकी छात्रवृत्ति भी आती थी. जो छात्रवृत्ति आती थी, उसको जोड़ने पर इतनी ही रकम बैठेगी.

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हरदोई के मदरसों में साढ़े 3 करोड़ का घोटाला

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डीएम मंगला प्रसाद सिंह अनुसार, जिले में मदरसा बोर्ड से 41 मदरसे संचालित हो रहे है. जिनमें पिछले साल 25 हजार 944 बच्चे पंजीकृत थे. इन मदरसों में बच्चों की संख्या में बड़ा खेल किया जा रहा था. जब शासन ने शत प्रतिशत आधार सीडिंग का काम कराने के आदेश दिए तो मदरसों में पढ़ने वाली सभी बच्चों के आधार फीड कराए जाने लगे. जिसमें रहस्यमय ढंग से 10,185 बच्चों की संख्या कम हो गई. अब कुल 41 मदरसों में पढ़ने वालों बच्चों की संख्या 15,759 रह गई है.


डीएम मंगला प्रसाद सिंह ने बताया कि मदरसे में अध्ययनरत विद्यार्थियों के रजिस्ट्रेशन नाम और खाते में आधार सीडिंग का काम कराया जा रहा है. आधार सीडिंग के बाद बहुत सारे बच्चे ऐसे है, जो मिसिंग पाए गए है. जिनकी संख्या लगभग10 हजार के पास है. इसकी जांच कराई जा रही है कि ऐसा क्यों है और जो बच्चे है ये कहां है. बच्चे सही में रजिस्टर्ड थे या नहीं थे. इसके बारे में अल्पसंख्यक विभाग रिपोर्ट तैयार कर रहा है. जो रिपोर्ट आएगी उसी के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी. वहीं, 3.60 करोड़ के फर्जीवाड़े पर डीएम ने कहा कि स्वाभाविक है जो बच्चे रजिस्टर्ड थे उनकी छात्रवृत्ति भी आती थी. जो छात्रवृत्ति आती थी, उसको जोड़ने पर इतनी ही रकम बैठेगी.

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