गोरखपुर: स्थानी निकाय के चुनाव पार्षद पद की एक महिला उम्मीदवार ने निगम चुनाव में अनोखा रिकार्ड कायम किया है. वार्ड नंबर 80 राप्तीनगर से भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी के रूप में नामांकन दाखिल करने वालीं पूनम सिंह मतदान से पहले ही निर्विरोध निर्वाचित हो गई हैं. हालांकि, इसकी आधिकारिक घोषणा 20 अप्रैल को होगी. लेकिन, उनका पर्चा वैध है और उनके मुकाबले दूसरे किसी भी प्रत्याशी ने नामांकन नहीं किया है. ऐसे में पूनम सिंह का निर्विरोध निर्वाचन तय हो गया है.
इस निर्वाचन के साथ ही उन्होंने नगर निगम गोरखपुर में अपना एक रिकॉर्ड भी स्थापित कर दिया है. वह ऐसी पहली पार्षद हैं जो किसी भी वार्ड से निर्विरोध निर्वाचित हुई हैं. इनके मुकाबले किसी भी प्रत्याशी ने पर्चा दाखिल नहीं किया, जबकि समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने प्रत्याशी भी घोषित कर दिया था. लेकिन, 17 अप्रैल की देर शाम नामांकन के समय तक उनके विरुद्ध में कोई भी पर्चा दाखिल ही नहीं हुआ. इससे 18 अप्रैल को नामांकन पत्रों की जांच के साथ ही उनका निर्विरोध निर्वाचन तय हो गया है.
जिले के सहायक निर्वाचन अधिकारी राजेश कुमार सिंह ने कहा है कि पूनम सिंह का पर्चा वैध हो चुका है. लेकिन, सभी प्रत्याशी जिन्होंने नामांकन दाखिल किया है, उनके नाम वापसी की तिथि 20 अप्रैल निर्धारित है. इसके बाद ही निर्वाचित घोषित करने की प्रक्रिया अपनाई जाएगी. लेकिन, इनके खिलाफ कोई अन्य नामांकन नहीं होने से इनका निर्विरोध निर्वाचन माना जा रहा है. पूनम सिंह राप्ती नगर के निवर्तमान पार्षद और नगर निगम के पूर्व उपसभापति बृजेश सिंह उर्फ छोटू की पत्नी हैं. इस बार के चुनाव में राप्ती नगर वार्ड की सीट महिला के लिए आरक्षित थी. उन्होंने अपना नामांकन दाखिल कर दिया. लेकिन, हैरानी भरी बात रही कि इनके विपक्ष में कोई खड़ा होने को ही तैयार नहीं हुआ. यहां तक कि अन्य दलों के भी प्रत्याशियों ने नामांकन नहीं किया. इसको लेकर अन्य दलों में नाराजगी भी है.
वहीं, भारतीय जनता पार्टी में उत्साह का माहौल है कि उनकी एक महिला प्रत्याशी ने अनोखा रिकार्ड जीत का कायम किया है. पूनम सिंह के पति बृजेश सिंह छोटू इस वार्ड से लगातार तीन बार पार्षद चुने जा चुके हैं. उनकी वार्ड में अच्छी पहुंच की बदौलत इस परिणाम को देखा जा रहा है. एक पार्टी कार्यालय पर भी एक दूसरे को मिठाई खिलाकर खुशियां जाहिर की गईं. पूनम सिंह के प्रति बृजेश सिंह छोटू ने ईटीवी भारत से बातचीत में कहा कि यह राप्तीनगर की जनता का प्रेम और दी गई ताकत का परिणाम है कि उनका विरोधी कोई है ही नहीं. इसीलिए उनके खिलाफ नामांकन करने भी कोई नहीं आया. पूनम सिंह सबकी प्रिय प्रत्याशी थीं, इसलिए उनका निर्विरोध निर्वाचन हो रहा है.
गोरखपुर में 11 से 17 तारीख तक नामांकन की प्रक्रिया चली. इस दौरान यह अनोखा परिणाम आया तो कार्यकर्ताओं ने प्रत्याशी को जीत की बधाइयां देना भी शुरू कर दिया. हालांकि अभी 4 मई को मतदान और 13 मई को मतगणना होना बाकी है. हालांकि, अब औपचारिकता ही बाकी है. यदि ऐसा होता है तो गोरखपुर के अब तक के नगर निगम चुनाव में यह पहली बार होगा, जब कोई पार्षद प्रत्याशी निर्विरोध चुना जाएगा, जोकि ऐतिहासिक होगा.
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