गोरखपुरः प्रदेश के पर्यटन, धर्म और संस्कृति मंत्री नीलकंठ तिवारी ने मंगलवार को गोरखपुर महोत्सव के मंच से कांग्रेस पार्टी पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि भारत को जितनी क्षति विदेशी आक्रांताओं ने नहीं पहुंचाई, उससे ज्यादा कांग्रेस और कांग्रेस समर्पित सरकारों ने पहुंचाई.
कांग्रेस की पूर्ववर्ती सरकारों पर हमला
मंत्री ने कहा कि वर्ष 1947 से लेकर 2014 के बीच भारतीय परंपरा और धर्म पर कांग्रेसी सरकारों ने जमकर आघात किया, लेकिन अब ऐसा नहीं होने वाला. उन्होंने कहा कि इसका परिणाम भी अब दिखाई देने लगा है. मंत्री ने कहा कि साल 2014 में केंद्र में मोदी के नेतृत्व में बनी सरकार में भारत की वैभवशाली परंपरा और धर्म संस्कृति की स्थापना शुरू हो गई. साथ ही उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में सरकार में धार्मिक स्थानों का जो संरक्षण और संवर्धन किया जा रहा है, उससे प्रदेश की पहचान विश्व पटल पर कायम होती जा रही है.
केंद्र की नीतियों को नहीं मानती थी अखिलेश सरकार
गोरखपुर महोत्सव के मंच से नीलकंठ तिवारी ने जो भाषण दिया, वह भारतीय संस्कृति के विस्तार और पहचान पर आधारित था, लेकिन उन्होंने इसे राजनीतिक हमला करने का भी बड़ा केंद्र बना दिया. उन्होंने कांग्रेस के साथ समाजवादी पार्टी को भी निशाने पर लिया. मंत्री ने कहा कि साल 2014 से 16 के बीच केंद्र की मोदी सरकार ने जनहित की योजनाओं से लेकर पर्यटन और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए जितनी भी योजनाओं को उत्तर प्रदेश में भेजा, उसे तत्कालीन सरकार लागू करने में रुचि नहीं लेती थी, जिसका परिणाम था कि उन 3 वर्षों में गांव में जरूरतमंदों को शौचालय भी उपलब्ध नहीं हो पाया, जबकि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में केंद्र की नीतियां और योजनाएं तेजी के साथ प्रदेश में लोगों को लाभ पहुंचा रही हैं.
अयोध्या की होगी दुनिया में पहचान
पर्यटन मंत्री ने इस दौरान अयोध्या के विकास की भी खूब चर्चा की. उन्होंने कहा कि अकेले पर्यटन विभाग की 400 करोड़ से ज्यादा की परियोजना अयोध्या में चल रही है. यह स्थान अब फैजाबाद की जगह अयोध्या के रूप में पहचान बना रहा है. उन्होंने कहा कि वह दिन दूर नहीं जब यहां दुनिया भर से पर्यटक आएंगे और भगवान राम की परंपरा और उनकी संस्कृति से परिचित होंगे.
कांग्रेस करती थी नकल
पर्यटन मंत्री ने कहा कि देश की संस्कृति और विकास को कांग्रेस ने केंद्र बिंदु में नहीं रखा. उन्होंने जो किया वह रूस, अमेरिका और दुनिया के कई देशों से नकल करके किया. इसी वजह से भारतीय संस्कृति अपनी पहचान खोती चली गई, लेकिन अब राम राज्य में न तो भारत की संस्कृति मिटेगी और न ही किसान और कलाकार. ऐसे सभी लोगों और परंपराओं को महोत्सव के माध्यम से मजबूत करने का प्रयास किया जाएगा, जिसमें गोरखपुर महोत्सव एक बड़ा केंद्र बनकर उभरा है.