गोरखपुर: कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए संप्रदाय की सर्वोच्च सिद्ध पीठ गोरखनाथ मंदिर को 31 मार्च तक बंद रखने का फैसला मंदिर प्रशासन ने लिया है. वहीं भीम सरोवर में स्नान भी प्रतिबंधित रहेगा. हालांकि मंदिर प्रबंधन की तरफ से नियमित पूजा-अर्चना पूरे विधि-विधान के साथ की जाएगी.
कोरोना वायरस के बढ़ते हुए संक्रमण को देखते हुए गोरखनाथ मंदिर के प्रबंध समिति ने 31 मार्च तक मंदिर को श्रद्धालुओं के लिए बंद रखने का निर्णय लिया है. निर्णय शनिवार से ही प्रभावी कर दिया गया है. इस दौरान मंदिर में पूजा-अर्चना का अनुष्ठानिक कार्य नियमित रूप से जारी रहेगा.
इस संबंध में गोरखनाथ मंदिर के सचिव द्वारका तिवारी ने बताया कि मंदिर में ब्रह्म मुहूर्त की आरती से लेकर शाम को होने वाली संध्या आरती तक सभी धार्मिक आयोजन परंपरागत रूप से होते रहेंगे. मंदिर परिसर में सभी देव स्थानों पर भोग आरती का आयोजन भी नियमित होगा, लेकिन भीम सरोवर में स्नान प्रतिबंध रहेगा.
श्रद्धालुओं से आग्रह किया जा रहा है कि वह बाहर से ही दर्शन करें और मंदिर में प्रवेश न करें. वहीं मंदिर सचिव ने बताया कि पहली बार ऐसी स्थिति आई है कि गोरखनाथ मंदिर में श्रद्धालुओं का आवागमन प्रतिबंधित किया गया है. महामारी में श्रद्धालुओं को संक्रमण से बचाना ही मंदिर प्रबंधन की जिम्मेदारी है. श्रद्धालुओं के हित के लिए यह महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया है.
वहीं गोरखनाथ मंदिर पहुंचे सीएम योगी ने मंदिर प्रशासन और सुरक्षाकर्मियों के साथ गोरखनाथ मंदिर के मुख्य मंदिर का निरीक्षण किया. निरीक्षण के दौरान संबंधित अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि वायरस से बचते हुए किसी भी श्रद्धालु को मंदिर में प्रवेश न कराया जाए और मंदिर के बाहरी द्वार पर बैरिकेडिंग की जाए. साथ ही जागरूकता के लिए मंदिर परिसर में जगह-जगह पोस्टर भी लगाए जाएं.
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