गोरखपुर: सीएम योगी ने शुक्रवार को मदन मोहन मालवीय तकनीकी विश्वविद्यालय की 'ज्ञान सिंधु' डिजिटल लाइब्रेरी एप का लोकार्पण, कुलपति प्रोफेसर जेपी पांडेय की मौजूदगी में सर्किट हाउस स्थित एनेक्सी भवन में संपन्न हुआ. इस दौरान विश्वविद्यालय से जुड़े प्रोफेसर, विद्यार्थी भी मौजूद रहे, तो सिविल सेवा की तैयारी करने वाले 'अभ्युदय योजना' से जुड़े प्रतिभागी भी शामिल थे. मुख्यमंत्री ने इस डिजिटल लाइब्रेरी एप का लोकार्पण करने के बाद कहा कि मौजूदा दौर डिजिटलीकरण का हो चुका है. इससे जहां पारदर्शी व्यवस्था का संचालन हो रहा है. वहीं छात्र हों या प्रशासनिक व्यवस्थाओं को संचालित करने वाले अधिकारी- मंत्री सभी को सुविधा मिल रही है. उन्होंने कहा कि लाइब्रेरी का यह एप छात्रों को काफी सहूलियत देगा. वह न सिर्फ अपने जरूरत की किताबों को किसी भी समय पढ़ सकेंगे, बल्कि मनचाहा नोट्स भी बनाकर अपने कंटेंट को सुरक्षित भी कर सकेंगे.
पारदर्शी व्यवस्था और समय की बचत का बड़ा माध्यम है डिजिटलीकरण
सीएम ने इस दौरान कहा कि तकनीकी विश्वविद्यालय और उसकी लाइब्रेरी को बहुत पहले ऐसी व्यवस्थाओं से जुड़ जाना चाहिए था, लेकिन देर से ही सही अब इसकी शुरुआत विद्यार्थियों के लिए बेहद मददगार होगी. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जो डिजिटल इंडिया का सपना था. उसकी सफलता और आवश्यकता इस कोरोना की महामारी में लोगों को खूब समझ आई है. पैसों के लेन-देन की बात रही हो या फिर जरूरत के सामान को घर मंगाने की जिसने भी डिजिटल ऐप का प्रयोग किया उसे समस्याओं से भी निजात मिली और उसकी जरूरतें भी पूरी हुई. इसलिए इस तकनीक को सभी को अपनाने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि याद करिए बाढ़ प्रभावित लोगों में जब राहत की धनराज का चेक बांटने होता था, तो तहसील के अधिकारियों को गांव-गांव जाकर बहुत परेशान होना पड़ता था. समय भी खूब लगता था, लेकिन अब एक क्लिक में लाभार्थी के खाते में पैसा पहुंचता है, जो डिजिटलीकरण का ही देन है.
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इस पूरे एप की विशेषता बताते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर जेपी पांडेय ने कहा कि विश्वविद्यालय में जितने भी ई- रिसोर्सेज मौजूद है , वह उपलब्ध होगे. पीएम की डिजिटल लाइब्रेरी योजना से भी इसे जोड़ दिया है. इसके साथ ही साथ (NPTL) पर उपलब्ध 40 हजार से ज्यादा उपलब्ध लेक्चर भी विभिन्न विषयों के उपलब्ध होंगे. उन्होंने कहा कि इसका लॉगिन सभी छात्रों को दिया जाएगा. साथ योगी सरकार के अभ्युदय योजना में सिविल सेवा की तैयारी करने वाले पंजीकृत छात्रों को भी निः शुक्ल लॉगिन उपलब्ध कराएंगे, जिससे उन्हें भी अपनी तैयारी में मदद मिले. उन्होंने कहा कि इस सुविधा के जरिए शोध के छात्रों के जो इंटरप्रेन्योर हैं. उनको भी काफी लाभ मिलेगा. उन्होंने कहा कि यह समय की मांग है, जिससे छात्रों का समय बचेगा और उन्हें साधन उपलब्ध होगा.