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गाजीपुर: स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही, कूड़े के ढेर में पड़ी मिली सरकारी दवाएं

यूपी के गाजीपुर में स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही सामने आई है. यहां कूड़े के ढेर में बड़ी मात्रा में सरकारी दवाएं मिली है. इन दवाओं का उपयोग 2021 तक किया जा सकता था.

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Published : Nov 30, 2019, 9:33 PM IST

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गाजीपुर स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही.

गाजीपुर: सरकारी अस्पतालों में बेशक मरीजों को सरकारी दवाएं उपलब्ध न हो, लेकिन कूड़े के ढेर में पड़ी हुई जरूर मिल जाती हैं. ताजा मामला जिले के स्वास्थ्य विभाग का है. यहां गर्भवती महिलाओं को दी जाने वाली सरकारी दवाएं कूड़े के ढेर में पड़ी मिली हैं. इन दवाओं का उपयोग 2021 तक किया सकता है.

गाजीपुर स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही.

जरूरतमंदों तक नहीं पहुंच पाती हैं दवाएं

  • यह सरकारी दवाएं अपीम फैक्ट्री के पास सड़क किनारे कूड़े के ढेर में पड़ी मिली हैं.
  • कूड़े के ढेर में पड़ी मिली ये दवाएं वर्ष 2019 की बनी हुई हैं.
  • इन दवाओं का उपयोग 2021 तक हो सकता है.
  • राहगीरों ने इसकी सूचना स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन को दी.
  • जिले के पीयूष मिश्रा की मां की जान समय पर दवा न मिलने के चलते चली गई थी.
  • दवाओं की अहमियत समझने वाले पीयूष कचरे में पड़ी दवाओं को बोरे में भरकर सरकारी कार्यालयों में घूमते नजर आए.
  • यह दवाएं जरूरतमंदों तक पहुंच सके और जिम्मेदारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो सके.

यह भी पढ़ें: गांव से लेकर शहर तक टीबी के मरीजों के घर पहुंचकर इलाज कर रहा है जालमा संस्थान

दवा से जुड़े स्टॉक को चेक कराने और जिम्मेदारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी.
डॉ.गिरीश चन्द्र मौर्या, सीएमओ

गाजीपुर: सरकारी अस्पतालों में बेशक मरीजों को सरकारी दवाएं उपलब्ध न हो, लेकिन कूड़े के ढेर में पड़ी हुई जरूर मिल जाती हैं. ताजा मामला जिले के स्वास्थ्य विभाग का है. यहां गर्भवती महिलाओं को दी जाने वाली सरकारी दवाएं कूड़े के ढेर में पड़ी मिली हैं. इन दवाओं का उपयोग 2021 तक किया सकता है.

गाजीपुर स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही.

जरूरतमंदों तक नहीं पहुंच पाती हैं दवाएं

  • यह सरकारी दवाएं अपीम फैक्ट्री के पास सड़क किनारे कूड़े के ढेर में पड़ी मिली हैं.
  • कूड़े के ढेर में पड़ी मिली ये दवाएं वर्ष 2019 की बनी हुई हैं.
  • इन दवाओं का उपयोग 2021 तक हो सकता है.
  • राहगीरों ने इसकी सूचना स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन को दी.
  • जिले के पीयूष मिश्रा की मां की जान समय पर दवा न मिलने के चलते चली गई थी.
  • दवाओं की अहमियत समझने वाले पीयूष कचरे में पड़ी दवाओं को बोरे में भरकर सरकारी कार्यालयों में घूमते नजर आए.
  • यह दवाएं जरूरतमंदों तक पहुंच सके और जिम्मेदारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो सके.

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दवा से जुड़े स्टॉक को चेक कराने और जिम्मेदारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी.
डॉ.गिरीश चन्द्र मौर्या, सीएमओ

Intro:स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही, कूड़े के ढेर में पड़ी मिली सरकारी दवाएं

गाजीपुर। ख़बर गाजीपुर से है। जहाँ आज सूबे के सरकारी अस्पतालों में सरकारी दवाओं के वितरण को लेकर लगातार शिकायतों की खबरे सामने आती रही है। सरकारी अस्पतालों में बेशक मरीजों को सरकारी दवायें उपलब्ध न हो,लेकिन सरकारी दवायें कूड़े के ढेर में फेकी हुई जरुर मिल रही है। मामला गाजीपुर का है।जहां आज कूड़े के ढेर में बड़ी मात्रा में सरकारी दवायें फेकी हुई मिली।गाजीपुर में स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही सामने आयी है। सरकार तमाम योजनाएं चलाकर जच्चा बच्चा की सुरक्षा करने में लाखों करोड़ों खर्च कर रही है। लेकिन गर्भवती महिलाओं को दी जाने वाली सरकारी दवाएँ गाजीपुर में कूड़े के ढेर में पड़ी मिली।




Body:कूड़े के ढेर में पड़ी मिली ये दवाएं वर्ष 2019 की बनी हुई है। जिसका उपयोग 2021 तक हो सकता हैं। यह सरकारी दवाएं शहर के अपीम फैक्ट्री के पास सड़क किनारे कूड़े के ढेर में पड़ी मिली। सड़क किनारे बड़ी संख्या में पड़ी दवाएं देख कर राहगीरों ने इसकी सूचना स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन को दी। लेकिन आमतौर पर लोग ध्यान नहीं देते लेकिन गाजीपुर के पीयूष मिश्रा जिनकी मां, समय पर ना दवा न मिलने से इस दुनिया से रुखसत हो गई। दवाओं की अहमियत समझने वाले पीयूष ने कचरे में पड़ी उन दवाओं को बोरे में भरकर सरकारी कार्यालयों में घूमते नजर आए ताकि यह दवाएं जरूरतमंदों तक पहुंच सके। साथ ही जिम्मेदारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो।




Conclusion:राइफल क्लब में पहुंचने के बाद स्वास्थ्य विभाग के तमाम अफसरो के होश उड़ गये। मरीजों को दी जाने वाले इन सरकारी दवाओं का कूड़े के ढेर में मिलना गाजीपुर के स्वास्थ्य महकमे पर बड़ा सवाल खड़ा कर रहा है। वह इस मामले में जब हमने मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी जीसी मौर्य से बात की तो उन्होंने दवा से जुड़े स्टॉक को चेक कराने और जिम्मेदारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करने की बात कही।

बाइट- डा.गिरीश चन्द्र मौर्या ( सीएमओ गाजीपुर )
बाइट- पीयूष ( राहगीर )

उज्ज्वल कुमार राय, 7905590960
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