ETV Bharat / state

सरकार ने नहीं किया वादा पूरा, खुद बनवाया शहीद बेटे का स्मारकः रामनारायण

author img

By

Published : Jan 7, 2021, 3:36 PM IST

पुलवामा हमले में शहीद हुए देवरिया निवासी विजय कुमार मौर्य के पिता ने सरकार पर वादा न करने का आरोप लगाया है. शहीद के पिता का कहना है कि एक कंपनी लखनऊ में जमीन दिलाने के नाम पर बार-बार चक्कर लगवा रही है.

देवरिया में शहीद विजय मौर्य का स्मारक.
देवरिया में शहीद विजय मौर्य का स्मारक.

देवरियाः जम्मू कश्मीर के पुलवामा में 14 फरवरी 2019 को आतंकियों के हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ जवान विजय कुमार मौर्य के परिजनों के साथ एक प्रापर्टी डीलर ने धोखाधड़ी की है. वहीं शहीद के पिता का आरोप है कि सरकार ने वादा करके बेटे का स्मारक नहीं बनवाया. पुलवामा हमले में शहीद जवानों के सम्मान में सरकार से लेकर देश के फिल्मी हस्तियों समेत तमाम संगठनों ने उनके परिवारों का सहयोग किया था. लेकिन कुछ संस्थाओं ने खुद को शहीदों का हमदर्द बताकर परिवार को छला भी हैं.

रामायण मौर्य, शहीद के पिता.

जमीन देने के नाम पर धोखाधड़ी
जिले के भटनी थाना क्षेत्र के छपिया जयदेव निवासी रामायण मौर्य के सबसे छोटे बेटे विजय कुमार मौर्य सीआरपीएफ में तैनात थे. 14 फरवरी 2019 को पुलवामा हमले में विजय कुमार मौर्य शहीद हो गए थे. इस घटना के बाद शहीद के परिजनों से मिलने वाले तथा ढाढस बढ़ाने वालों का तांता महीनों तक लगा रहा. इसी बीच लखनऊ की एक प्रॉपर्टी डीलर कंपनी ने शहीद के पिता रामायण मौर्य को कांट्रेक्ट पत्र दिया जिसमें कंपनी ने एक हजार वर्ग फीट जमीन बिना किसी शुल्क के देने का वादा किया था. कंपनी ने करीब चार लाख की ही जमीन शहीद की पत्नी विजयलक्ष्मी को भी देने का वादा किया था. कई बार कंपनी के जिम्मेदारों ने शहीद के पिता रामायण मौर्य को अपने निजी साधन से बुलाकर भूमि पंजीकरण कराने का आश्वासन भी दिया. लेकिन 2 साल बीत जाने के बावजूद कंपनी ने अपना वादा पूरा नहीं किया. अब शहीद के पिता हाथ में उस कंपनी का कागज लेकर अधिकारियों के कार्यालय का चक्कर काट रहे हैं.

सरकार ने पूरा नहीं किया वादा
शहीद विजय कुमार मौर्य के पिता रामायण मौर्य ने ईटीवी भारत को बताया कि सरकार, ठेकेदार का या किसी कंपनी वाले का वादा हो किसी ने पूरा नहीं किया है. सरकार ने स्मारक बनाने का वादा किया था लेकिन बेटे का स्मारक नहीं बनवाया. वह थक-हारकर खुद हमने अपने पैसे से बेटे का स्मारक गांव में बनवाया. बेटे के शहीद होने के बाद एक प्रॉपर्टी कंपनी लखनऊ से हमारे घर आई थी. उसने हमें और हमारे बहू को आश्वासन दिया था कि लखनऊ में एक हजार वर्ग फीट जमीन दोनों लोगों को देंगे, जिसकी कीमत चार लाख बताई गई थी. लेकिन अभी तक वह कंपनी हमें कहीं भी जमीन नहीं दी है. बार-बार हम लोगों को लखनऊ बुलाकर जमीन रजिस्ट्री कराने का केवल आश्वासन देती है. इसके बाद हमने जिलाधिकारी से उस प्रॉपर्टी कंपनी के खिलाफ कार्रवाई करने की बात कही थी. लेकिन अभी तक कुछ हुआ नहीं है.

देवरियाः जम्मू कश्मीर के पुलवामा में 14 फरवरी 2019 को आतंकियों के हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ जवान विजय कुमार मौर्य के परिजनों के साथ एक प्रापर्टी डीलर ने धोखाधड़ी की है. वहीं शहीद के पिता का आरोप है कि सरकार ने वादा करके बेटे का स्मारक नहीं बनवाया. पुलवामा हमले में शहीद जवानों के सम्मान में सरकार से लेकर देश के फिल्मी हस्तियों समेत तमाम संगठनों ने उनके परिवारों का सहयोग किया था. लेकिन कुछ संस्थाओं ने खुद को शहीदों का हमदर्द बताकर परिवार को छला भी हैं.

रामायण मौर्य, शहीद के पिता.

जमीन देने के नाम पर धोखाधड़ी
जिले के भटनी थाना क्षेत्र के छपिया जयदेव निवासी रामायण मौर्य के सबसे छोटे बेटे विजय कुमार मौर्य सीआरपीएफ में तैनात थे. 14 फरवरी 2019 को पुलवामा हमले में विजय कुमार मौर्य शहीद हो गए थे. इस घटना के बाद शहीद के परिजनों से मिलने वाले तथा ढाढस बढ़ाने वालों का तांता महीनों तक लगा रहा. इसी बीच लखनऊ की एक प्रॉपर्टी डीलर कंपनी ने शहीद के पिता रामायण मौर्य को कांट्रेक्ट पत्र दिया जिसमें कंपनी ने एक हजार वर्ग फीट जमीन बिना किसी शुल्क के देने का वादा किया था. कंपनी ने करीब चार लाख की ही जमीन शहीद की पत्नी विजयलक्ष्मी को भी देने का वादा किया था. कई बार कंपनी के जिम्मेदारों ने शहीद के पिता रामायण मौर्य को अपने निजी साधन से बुलाकर भूमि पंजीकरण कराने का आश्वासन भी दिया. लेकिन 2 साल बीत जाने के बावजूद कंपनी ने अपना वादा पूरा नहीं किया. अब शहीद के पिता हाथ में उस कंपनी का कागज लेकर अधिकारियों के कार्यालय का चक्कर काट रहे हैं.

सरकार ने पूरा नहीं किया वादा
शहीद विजय कुमार मौर्य के पिता रामायण मौर्य ने ईटीवी भारत को बताया कि सरकार, ठेकेदार का या किसी कंपनी वाले का वादा हो किसी ने पूरा नहीं किया है. सरकार ने स्मारक बनाने का वादा किया था लेकिन बेटे का स्मारक नहीं बनवाया. वह थक-हारकर खुद हमने अपने पैसे से बेटे का स्मारक गांव में बनवाया. बेटे के शहीद होने के बाद एक प्रॉपर्टी कंपनी लखनऊ से हमारे घर आई थी. उसने हमें और हमारे बहू को आश्वासन दिया था कि लखनऊ में एक हजार वर्ग फीट जमीन दोनों लोगों को देंगे, जिसकी कीमत चार लाख बताई गई थी. लेकिन अभी तक वह कंपनी हमें कहीं भी जमीन नहीं दी है. बार-बार हम लोगों को लखनऊ बुलाकर जमीन रजिस्ट्री कराने का केवल आश्वासन देती है. इसके बाद हमने जिलाधिकारी से उस प्रॉपर्टी कंपनी के खिलाफ कार्रवाई करने की बात कही थी. लेकिन अभी तक कुछ हुआ नहीं है.

For All Latest Updates

TAGGED:

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.