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चित्रकूट: अमावस्या मेले में अव्यवस्था ने ले ली श्रद्धालु की जान

उत्तर प्रदेश के चित्रकूट में भदई अमावस्या के दिन देश-विदेश से आए लाखों श्रद्धालुओं ने रामघाट पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई. इस अमावस्या मेले में श्रद्धालुओं को अव्यवस्था का सामना भी करना पड़ा. पूर्वानुमान से ज्यादा आए श्रद्धालुओं को आवागमन की समस्या भी झेलनी पड़ी.

अव्यवस्थाओ से दो-चार हुए श्रद्धालु
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Published : Aug 30, 2019, 11:43 PM IST

चित्रकूट: भदई अमावस्या के मौके पर दूर-दराज से श्रद्धालुओं सहित विदेशी पर्यटक लाखों की संख्या में चित्रकूट पहुंचे और पंचकोसी परिक्रमा कर मनोकामना मांगी. भक्तों को चित्रकूट आने के लिए समस्याओं से दो-चार होना पड़ा. प्रशासन के सारे पूर्वानुमान धरे रह गए. परिवहन व्यवस्था भी नाकाम साबित हुई, अव्यवस्था के कारण एक श्रद्धालु की जान चली गई.

अव्यवस्थाओं से दो-चार हुए श्रद्धालु.

अव्यवस्थाओं से दो-चार हुए श्रद्धालु

  • चित्रकूट में भदई अमावस्या के दौरान देश-विदेश से आए लाखों श्रद्धालुओं ने रामघाट पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई.
  • श्रद्धालुओं ने भगवान कामतानाथ की पांच कोसी परिक्रमा की.
  • इस अमावस्या मेले में श्रद्धालुओं को अव्यवस्था का सामना भी करना पड़ा.
  • प्रशासन के पूर्वानुमान से ज्यादा आए श्रद्धालुओं को आवागमन की समस्या दिखी.
  • इसके चलते मंडवा हमीरपुर निवासी एक 55 वर्षीय श्रद्धालु सुखदेव को अपनी जान भी गंवानी पड़ी.
  • सड़क परिवहन विभाग ने कम बसें चलाई तो दूसरी तरफ रेलवे प्रशासन ने स्पेशल ट्रेनों को भी कम कर दिया.
  • ट्रेन में बैठने के लिए महिला और बच्चों को काफी मशक्कत करनी पड़ी.
  • कई यात्रियों ने ट्रेनों की खिड़की से ही अंदर पहुंचने का रास्ता बना लिया.

रेलवे पुलिस के दावे उलट

  • झांसी मंडल रेलवे पुलिस के क्षेत्राधिकारी का कहना है कि अमावस्या मेला सकुशल चल रहा है.
  • रेलवे ने 4 जोड़ी स्पेशल ट्रेनें भी चलाई हैं.
  • पहले से रूटीन में चल रहीं ट्रेनें भी हैं.
  • क्षेत्राधिकारी ने यह जरूर स्वीकार किया कि ट्रेन भरी चल रही हैं.

चित्रकूट: भदई अमावस्या के मौके पर दूर-दराज से श्रद्धालुओं सहित विदेशी पर्यटक लाखों की संख्या में चित्रकूट पहुंचे और पंचकोसी परिक्रमा कर मनोकामना मांगी. भक्तों को चित्रकूट आने के लिए समस्याओं से दो-चार होना पड़ा. प्रशासन के सारे पूर्वानुमान धरे रह गए. परिवहन व्यवस्था भी नाकाम साबित हुई, अव्यवस्था के कारण एक श्रद्धालु की जान चली गई.

अव्यवस्थाओं से दो-चार हुए श्रद्धालु.

अव्यवस्थाओं से दो-चार हुए श्रद्धालु

  • चित्रकूट में भदई अमावस्या के दौरान देश-विदेश से आए लाखों श्रद्धालुओं ने रामघाट पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई.
  • श्रद्धालुओं ने भगवान कामतानाथ की पांच कोसी परिक्रमा की.
  • इस अमावस्या मेले में श्रद्धालुओं को अव्यवस्था का सामना भी करना पड़ा.
  • प्रशासन के पूर्वानुमान से ज्यादा आए श्रद्धालुओं को आवागमन की समस्या दिखी.
  • इसके चलते मंडवा हमीरपुर निवासी एक 55 वर्षीय श्रद्धालु सुखदेव को अपनी जान भी गंवानी पड़ी.
  • सड़क परिवहन विभाग ने कम बसें चलाई तो दूसरी तरफ रेलवे प्रशासन ने स्पेशल ट्रेनों को भी कम कर दिया.
  • ट्रेन में बैठने के लिए महिला और बच्चों को काफी मशक्कत करनी पड़ी.
  • कई यात्रियों ने ट्रेनों की खिड़की से ही अंदर पहुंचने का रास्ता बना लिया.

रेलवे पुलिस के दावे उलट

  • झांसी मंडल रेलवे पुलिस के क्षेत्राधिकारी का कहना है कि अमावस्या मेला सकुशल चल रहा है.
  • रेलवे ने 4 जोड़ी स्पेशल ट्रेनें भी चलाई हैं.
  • पहले से रूटीन में चल रहीं ट्रेनें भी हैं.
  • क्षेत्राधिकारी ने यह जरूर स्वीकार किया कि ट्रेन भरी चल रही हैं.
Intro:चित्रकूट भदई अमावस्या के मौके पर दूर-दराज सहित विदेशी पर्यटक लाखों की संख्या में चित्रकूट पहुंचे और लगाई आस्था की डुबकी पंचकोसी परिक्रमा कर मांगी मनोकामना। भक्तों को चित्रकूट आने के लिए दो-चार होना पड़ा। प्रशासन के पूर्वानुमान फीके पड़ गए ।परिवहन व्यवस्था नाकाम साबित हुई ।एक श्रद्धालु को देनी पड़ी अपनी जान ।बसे कम रही ट्रेनों का संचालन बौना साबित हुआ वही यात्रियों को ट्रेन के अंदर जाने के लिए चुनना पड़ा खिड़कियों का रास्ता


Body:चित्रकूट में भदई अमावस्या के दौरान दूरदराज देश-विदेश से आए लाखों श्रद्धालुओं ने रामघाट पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई और भगवान कामतानाथ के पांच कोसी परिक्रमा की वहीं इस अमावस्या मेले में श्रद्धालुओं को अव्यवस्था का सामना भी करना पड़ा प्रशासन के पूर्व अनुमान से ज्यादा आए श्रद्धालुओं के आवागमन की समस्या काफी दिखी जिसके चलते मंडवा हमीरपुर निवासी एक 55 वर्षीय श्रद्धालु सुखदेव को अपनी जान भी गंवानी पड़ी सड़क परिवहन विभाग ने कम बसें चलाई तो दूसरी तरफ रेलवे प्रशासन ने स्पेशल ट्रेनों को भी कम कर दिया ट्रेन में बैठने के लिए महिला और बच्चों को काफी मशक्कत करनी पड़ी कईयों यात्रियों ने ट्रेनों की खिड़की से ही अंदर पहुंचने का रास्ता बना लिया
झांसी उत्तर प्रदेश से आए श्रद्धालु का कहना था कि रेल प्रशासन की लापरवाही है कि इतने यात्री होने के बावजूद रेल प्रशासन ने ज्यादा ट्रेन नही चलाई जिसके चलते बुजुर्ग महिला और बच्चे यात्रा करने में मसक्कत करनी पड़ रही है।
वही झांसी मंडल रेल्वे पुलिस के क्षेत्राधिकारी का मानना है कि अमावस्या मेला शकुशल चल रहा है और रेल्वे प्रशासन ने 4 जोड़ी स्पेशल ट्रेन भी चलाई है और पहले से रूटीन में चल रही ट्रेन भी है पर वही क्षेत्राधिकारी ने यह जरूर स्वीकार की ट्रेन भरी चल रही है


Conclusion: अमावस्या मेले में पूर्वानुमान से ज्यादा भीड़ के चलते आवागमन के साधन बोने साबित हुए तो प्रशासन को भी यह चाहिए था की अनुमान से अधिक परिवहन बसें चलाई जाएं जिससे यात्रियों को बस की छत के ऊपर बैठकर सफर न करना पड़े वहीं रेलवे प्रशासन की भी व्यवस्था नाकाफी साबित हुई 4 जोड़ी ट्रेन लाखों श्रद्धालुओं के लिए नाकाफी थी जिसके चलते यात्रियों की भीड़ को दरवाजे के साथ-साथ खिड़की से अंदर बोगी में प्रवेश करना पड़ रहा था जिसके चलते बुजुर्ग महिला और बच्चे काफी हलकान हुए गर्मी और उमस के चलते कई बच्चे और महिलाएं बीमार भी हो चली इन दोनों व्यवस्था को दुरुस्त करके आगामी आने वाले मेले के लिए सतर्क हो जाना चाहिए ताकि दूरदराज से आए यात्रियों को परेशानियों का सामना ना करना पड़े और वह अपनी संपूर्ण आस्था के साथ सुलभता से आकर अपनी धार्मिक यात्रा पूरी कर सके
बाइट-नन्द राम(मृतक का रिश्तेदार)
बाइट-राम मिलन यादव(श्रद्धालु झांसी)
बाइट-राजीव प्रताप सिंह(जी आर पी पुलिस क्षेत्रधिकारी झांसी)
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