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बुलंदशहर का अन्नदाता सूबे में सबसे आगे, जानिए क्या है वजह

उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले में किसान अपनी समस्याओं के समाधान करने में सबसे आगे है. किसानों की सुविधा के लिए पीसीएसआरएस के तहत कृषि रक्षा विभाग द्वारा दो नंबर भी जारी किए गए. इसकी मदद से किसान एक्सपर्ट्स से संपर्क कर सहयोग प्राप्त करते हैं.

बुलंदशहर.
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Published : Jul 27, 2019, 11:20 AM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST

बुलंदशहर: जिले का किसान अपनी समस्याओं के समाधान में सबसे आगे है. खासतौर खेती किसानी से संबंधित सभी दिक्कतों के हल के लिए यहां के किसान बढ़-चढ़कर सरकारी योजनाओं के लाभ उठाते हैं. सरकार के द्वारा चलाई जा रही सहभागी फसल निगरानी एवं निदान प्रणाली के अंतर्गत जिले के अन्नदाता अपनी किसी भी समस्याओं का निस्तारण घर बैठे ही करा ले रहे हैं.

जानकारी देते संवाददाता.
  • बुलंदशहर का किसान अब घर बैठे ही अपनी फसल में लगने वाले किसी भी सामान्य या असाध्य रोग से बचने के उपाय और समाधान पा रहा है.
  • अन्नदाता को उसकी फसलों में लगने वाली बीमारी के बारे में व फसल से संबंधित किसी भी बीमारी के उपचार के बारे में तमाम जानकारी घर बैठे ही मिल जाती है.
  • पीसीएसआरएस के तहत कृषि रक्षा विभाग द्वारा दो नंबर भी जारी किए गए हैं.
  • इन नंबरों पर किसान किसी भी वक्त अपनी फसल से संबंधित कोई भी फोटो वाट्सएप्प से दिए गए नम्बरों पर भेज सकता है.
  • इसके बाद 48 घंटे के भीतर एक्सपर्ट्स खुद किसान से संपर्क कर सहयोग करते हैं.
  • ये दो मोबाइल नंबर 9452247111 व 9452257111 हैं.
  • आवश्यकता होने पर जिले के अफसर व तकनीकी सहायक खुद भी पहुंचकर किसान की मदद करते हैं.
  • किसान की समस्या को समझकर उन्हे 24 घंटे के अंदर न केवल उसके बारे में जागरूक करते हुए जानकारी दी जाती है, बल्कि आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए जाते हैं.

बुलंदशहर जिले में किसान तकनीकी के सहारे अपनी समस्याओं से निजात पा रहे हैं. दिए गए दो व्हाट्सएप नंबर पर किसान समस्या से संबंधित फोटो अपलोड करते हैं. उसके बाद किसान से सम्पर्क स्थापित करके उसे उसकी फसल में लगी समस्या के निदान के बारे में तमाम सुझाव दी जाती है. इतना ही नहीं आवश्यकता पड़ने पर मौके पर जाकर किसान की बर्बाद होने वाली फसल को समय रहते सही जानकारी देकर नवजीवन देने में भी ये योजना कारगर सिद्ध होती है.
-अमरपाल सिंह, जिला कृषि रक्षा अधिकारी, बुलंदशहर

बुलंदशहर: जिले का किसान अपनी समस्याओं के समाधान में सबसे आगे है. खासतौर खेती किसानी से संबंधित सभी दिक्कतों के हल के लिए यहां के किसान बढ़-चढ़कर सरकारी योजनाओं के लाभ उठाते हैं. सरकार के द्वारा चलाई जा रही सहभागी फसल निगरानी एवं निदान प्रणाली के अंतर्गत जिले के अन्नदाता अपनी किसी भी समस्याओं का निस्तारण घर बैठे ही करा ले रहे हैं.

जानकारी देते संवाददाता.
  • बुलंदशहर का किसान अब घर बैठे ही अपनी फसल में लगने वाले किसी भी सामान्य या असाध्य रोग से बचने के उपाय और समाधान पा रहा है.
  • अन्नदाता को उसकी फसलों में लगने वाली बीमारी के बारे में व फसल से संबंधित किसी भी बीमारी के उपचार के बारे में तमाम जानकारी घर बैठे ही मिल जाती है.
  • पीसीएसआरएस के तहत कृषि रक्षा विभाग द्वारा दो नंबर भी जारी किए गए हैं.
  • इन नंबरों पर किसान किसी भी वक्त अपनी फसल से संबंधित कोई भी फोटो वाट्सएप्प से दिए गए नम्बरों पर भेज सकता है.
  • इसके बाद 48 घंटे के भीतर एक्सपर्ट्स खुद किसान से संपर्क कर सहयोग करते हैं.
  • ये दो मोबाइल नंबर 9452247111 व 9452257111 हैं.
  • आवश्यकता होने पर जिले के अफसर व तकनीकी सहायक खुद भी पहुंचकर किसान की मदद करते हैं.
  • किसान की समस्या को समझकर उन्हे 24 घंटे के अंदर न केवल उसके बारे में जागरूक करते हुए जानकारी दी जाती है, बल्कि आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए जाते हैं.

बुलंदशहर जिले में किसान तकनीकी के सहारे अपनी समस्याओं से निजात पा रहे हैं. दिए गए दो व्हाट्सएप नंबर पर किसान समस्या से संबंधित फोटो अपलोड करते हैं. उसके बाद किसान से सम्पर्क स्थापित करके उसे उसकी फसल में लगी समस्या के निदान के बारे में तमाम सुझाव दी जाती है. इतना ही नहीं आवश्यकता पड़ने पर मौके पर जाकर किसान की बर्बाद होने वाली फसल को समय रहते सही जानकारी देकर नवजीवन देने में भी ये योजना कारगर सिद्ध होती है.
-अमरपाल सिंह, जिला कृषि रक्षा अधिकारी, बुलंदशहर

Intro:प्रदेश में बुलंदशहर का किसान अपनी समस्याओं के समाधान में भी सबसे आगे है, खासतौर खेती किसानी से संबंधित सभी दिक्कतों के हल के लिए यहां का किसान बढ़-चढ़कर सरकारी योजनाओं का लाभ उठाता है, सरकार के द्वारा चलाई जा रही सहभागी फसल निगरानी एवं निदान प्रणाली के अंतर्गत जिले के अन्नदाता अपनी किसी भी समस्याओं का निस्तारण घर बैठे ही करा लें रहे हैं,आखिर क्या है तरीका और कैसे किसान लेते हैं इसका लाभ देखिये इटीवी भारत की ये विशेष खबर।



Body:बुलंदशहर का किसान अब घर बैठे ही अपनी फसल में लगने वाले किसी भी सामान्य या असाध्य रोग से बचने के उपया और समाधान पा रहा है , और जो किसान जागरूक नहीं उनको करना सिर्फ इतना है किसान के पास एंड्रॉयड मोबाइल होना आवश्यक है, सरकार के द्वारा अन्नदाता को उसकी फसलों में लगने वाली बीमारी के बारे में व फसल से संबंधित किसी भी बीमारी के उपचार के बारे में तमाम जानकारी घर बैठे ही मिल जाती है।
दरअसल पी .सी .एस. आर. एस .के तहत कृषि रक्षा विभाग द्वारा दो नंबर भी जारी किए गए हैं ,इन नंबरों पर किसान किसी भी वक्त अपनी फसल से संबंधित कोई भी फोटो जो उसे दिक्कत लग रही है,वाट्सएप्प से दिए गए नम्बरों पर भेज सकता है , और उसके बाद 48 घंटे के भीतर एक्सपर्ट्स खुद किसान से संपर्क कर सहयोग करते हैं, एक्सपर्ट्स की प्रथम प्राथमिकता ये होती है कि किसान का तकनीकी के इश्तेमाल से ही समाधान हो जाये,और अगर तब भी अन्नदाता संतुष्ट नहीं होता तो जिले के कृषि रक्षा अधिकारी के द्वारा एक टीम निदान के लिए भेजी जाती है,जिला कृषि रक्षा अधिकारी का कहना है कि कई बार वो स्वयं भी जाकर किसान की फसल में लगी बीमारी का सर्वे कर खुद भी अन्नदाता को सहयोग करते हैं,फिलहाल इस प्रणाली ने किसानों की कई मुश्किलें आसान कर दी हैं,

बुलन्दशहर का अन्नदाता इस विधि से जानकारी लेने में प्रदेश में सबसे आगे....

कृषि रक्षा अधिकारी की माने तो बुलन्दशहर जिला कृषि सम्बन्धी समस्याओं के निदान घर बैठे कराने और सरकार के द्वारा दी जाने वाली इस सुविधा का लाभ उठाने वालों में प्रदेश में बुलन्दशहर जेइल प्रदेश के अन्य जिलों से काफी आगे है,यानी यहां का किसान जागरूक है ।


क्या करना है अन्नदाता को .....

में सिर्फ किसान को सरकार की कृषि रक्षा विभाग की तरफ से सहभागी फसल निगरानी एवं निदान प्रणाली के तहत दिए गए दो मोबाइल नंबर 9452247111,9452257111 पर एंड्रॉयड फोन से फसल में लगी किसी भी बीमारी से सम्बंधित फसल की प्रभावित तस्वीर ही भेजनी होती हैं, जिसके बाद 48 घंटे के अंदर कृषि रक्षा वैज्ञानिक और कृषि रक्षा विभाग से जुड़ा टेक्निकल स्टाफ अन्नदाता से संपर्क करता है इतना ही नहीं अगर आवश्यकता होती है तो जिले के अफसर व तकनीकी सहायक खुद भी पहुंचकर किसान की मदद करते हैं तो वही पहले प्राथमिकता होती है कि किसान की दिक्कत को समझ कर उसे 24 घंटे के अंदर ना सिर्फ उस बीमारी के बारे में जागरूक करते हुए जानकारी दी जाती है, बल्कि आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए जाते हैं।


इस बारे में कृषि रक्षा अधिकारी अमरपाल सिंह का कहना है कि बुलंदशहर जिले में किसान तकनीकी के सहारे अपनी समस्याओं से निजात पा रहे हैं और हर दिन दिए गए दो व्हाट्सएप नंबर पर किसान फोटो अपलोड करते हैं, जो कि एक सिस्टम के तहत उन तक आते हैं ,उसके बाद किसान से सम्पर्क स्थापित करके ,उसे उसकी फसल में लगी समस्या के निदान के बारे में तमाम सुझाव देते हैं इतना ही नहीं आवश्यकता पड़ने पर मौके पर जाकर किसान की बर्बाद होने वाली फसल को समय रहते सही जानकारी देकर नवजीवन देने में भी ये योजना कारगर सिद्ध होती है।

बाइट...अमरपाल सिंह,जिला कृषि रक्षा अधिकारी,बुलन्दशहर

पीटीसी...श्रीपाल तेवतिया,
बुलन्दशहर ।


Conclusion:
Last Updated : Sep 17, 2020, 4:28 PM IST
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