बुलंदशहर : शहर के विभिन्न समाजसेवी संगठनों के पदाधिकारी और कार्यकर्ता समलैंगिक विवाह के विरोध में आवाज उठा रहे हैं. समलैंगिक विवाह को भारतीय संस्कृति के विरुद्ध बताते हुए 1 हजार लोगों ने हस्ताक्षर युक्त ज्ञापन डीएम चन्द्र प्रकाश सिंह को सौंपा. ज्ञापन में इस विवाह को मान्यता न देने की मांग की गई है.
महिला सामाजिक कार्यकर्ता कमलेश सोलंकी, डॉ. ममता यादव एवं राष्ट्र चेतना मिशन के अध्यक्ष हेमन्त सिंह के नेतृत्व में काफी संख्या में लोग कलेक्ट्रेट स्थित जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे. सभी ने समलैंगिक विवाह को विधिक मान्यता दिलाने के प्रयासों पर घोर आपत्ति जताई. इसके बाद डीएम चन्द्र प्रकाश सिंह को 1 हजार लोगों के हस्ताक्षर वाला पत्र भी सौंपा.
कमलेश सोलंकी ने कहा कि भारत आज अनेक सामाजिक व आर्थिक क्षेत्रों के अनेक गंभीर चुनौतियों व समस्याओं से जूझ रहा है. ऐसे में समलैंगिक विवाह जैसे औचित्यहीन प्रकरण को इतनी गंभीरता से क्यों लिया जा रहा है. डॉ. ममता यादव ने कहा कि भारत में विवाह को महिला और पुरुष के बीच सामाजिक, सांस्कृतिक एवं पारिवारिक रूप से पवित्र मिलन के रूप में जाना जाता है. आदिकाल से इस परंपरा को निभाया जा रहा है. समलैंगिक विवाह हमारी संस्कृति का हिस्सा नहीं रहा है.
राष्ट्र चेतना मिशन के अध्यक्ष हेमन्त सिंह ने भी समलैंगिक विवाह का समर्थन करने वालों की आलोचना की. इस दौरान अलका, गीता बंसल, हेमन्त सिंह, कमलेश सोलंकी, डॉ. ममता यादव, मिथलेश सोलंकी, डॉ. हेमा तोमर, ज्योति गोयल, प्रेमलता, प्रेरणा सोलंकी, पूर्वा तोमर, कृष्ण मिश्रा, विकास सिंह, शुभ पंडित, प्रखर सोलंकी, कृष्णा गोयल आदि सम्मिलित रहे.
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