बुलंदशहर : एंटी करप्शन की टीम ने शुक्रवार को चकबंदी की रिपोर्ट बनाने के एवज में बीस हजार रुपये रिश्वत के तौर पर ले रहे कानूनगो व लेखपाल को रंगे हाथों पकड़ा है. किसान के खेतों के चक को एक जगह करने के एवज में यह रिश्वत मांगी गई थी.
एंटी करप्शन टीम की बड़ी कार्रवाई
- यूपी के बुलंदशहर में भ्रष्टाचार जैसे अब आम बात हो गई है.
- इससे पहले भी भ्रष्टाचार के कई आरोप यहां के कर्मचारियों पर अलग-अलग विभागों में लगते रहे हैं.
- चकबंदी की रिपोर्ट तैयार करने के एवज में एक किसान से एक लाख रुपये की मांग की गई थी.
- किसान ने चालाकी से पहले एंटी करप्शन डिपार्टमेंट की मेरठ शाखा में संपर्क किया.
- उसके बाद कानूनगो व लेखपाल को तय समय पर रिश्वत देने पहुंच गया.
- जैसे ही लेखपाल और कानूनगो के हाथ में किसान ने बीस हजार रुपये रखे तो एंटी करप्शन की टीम ने रंगे हाथों दोनों को पकड़ लिया.
- एंटी करप्शन टीम ने दोनों को गिरफ्तार कर बुलंदशहर कोतवाली नगर पुलिस के हवाले कर दिया है.
- दोनों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज कर जेल भेजा जा रहा है.
कौन हैं आरोपी
जब एंटी करप्शन की टीम कानूनगो और लेखपाल को कोतवाली नगर में ले आए तो पता चला कि चकबंदी विभाग में तैनात कानूनगो अनिल कुमार और लेखपाल मनोज कुमार सलेमपुर थाना क्षेत्र के गांव याकूबपुर में रहने वाले किसान दिगंबर से चकबंदी के नाम पर अवैध रूप से बीस हजार की रिश्वत लेते पकड़े गए हैं.
क्या है पूरा मामला
दरअसल, इन दिनों याकूबपुर गांव में चकबंदी चल रही है और किसान दिगंबर का आरोप है कि चकबंदी विभाग के उप चकबंदी अधिकारी ने उसके मामले में चकबंदी रिपोर्ट बनाने के लिए कानूनगो और लेखपाल को आदेशित किया था, लेकिन इसके बावजूद कानूनगो व लेखपाल चकबंदी रिपोर्ट बनाने के नाम पर लगातार एक लाख रुपये की रिश्वत किसान से मांग रहे थे.
मुझसे लेखपाल व कानूनगो द्वारा एक लाख रुपये की रिश्वत मांगी गई. इससे पूर्व भी मुझसे कानूनगो व लेखपाल रिश्वत ले चुके हैं. अब दूसरी किस्त के तौर पर 20 हजार रुपये मांगे गए थे, जिससे परेशान होकर मैंने मेरठ स्थित एंटी करप्शन विभाग की टीम से संपर्क साधा और जिससे बाद मुझसे चकबंदी कार्यालय में 20 हजार रुपये रिश्वत लेते कानूनगो अनिल कुमार और लेखपाल मनोज कुमार को एंटी करप्शन की टीम ने रंगे हाथों पकड़ लिया .-दिगम्बर, किसान
दिगम्बर किसान ने हमारे मेरठ कार्यालय में सूचना दी कि लेखपाल व कानूनगो द्वारा इसके चक को सही करने के एवज में 20 हजार रुपये रिश्वत की मांग की गई है. इस सूचना पर एंटी करप्शन की टीम ने कानूनगो और लेखपाल को 20 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है.
-अरविंद शर्मा, प्रभारी निरीक्षक, एंटी करप्शन विभाग, मेरठ