बिजनौर: राखी के त्योहार के चलते पूरे बाजारों में तरह-तरह की राखियां देखने को मिल रही हैं. जहां एक तरफ बाजारों में चमचमाती राखियों का काफी चलन हैं. वहीं दूसरी तरफ जिले में ऐसी अनोखी राखियां भी देखने को मिल रही हैं, जिसे लोग काफी पसंद कर रहे हैं.
मार्केट में ईको फ्रेंडली राखियों की मांग-
- मार्केट में बढ़ी ईको फ्रेंडली राखियों की मांग.
- गाय के गोबर से तैयार की जाती हैं ये राखियां.
- ये राखियां न सिर्फ जिले में बल्कि देशभर में अपनी पहचान बना चुकी हैं.
- गाय के गोबर से बनी ये राखियां कई हानिकारक तरंगों से बचाएंगी.
- रक्षाबंधन के बाद इन राखियों को उर्वरक की तरह भी इस्तेमाल कर गमले में डाल सकते हैं.
गोबर से बनी राखियों को लेकर कुंभ गई थी, जहां पर आनंद श्री विभूषित महामंडलेश्वर मां, श्री योग योगेश्वरी यति, श्री पंचदशी जाम जूना अखाड़ा ने खूब प्रशंसा की और सुझाव दिया कि ये राखियां मार्केट में भी बेची जानी चाहिए. तभी से मैंने गाय के गोबर से बनी इन राखियों को बाजार में उतारा.
-अलका, गो सेविका