बाराबंकीः यूपी के बाराबंकी में एक ऐसा वाकया सामने आ आया है, जो दिल को दहला देगा. यहां एक शख्स ने मंदिर के पुजारी की इसलिए हत्या कर दी क्यों कि उसे अपनी शादी के लिए पैसे इकट्ठे करने थे. युवक पुजारी की हत्या कर 10 हजार रुपये लूटकर फरार हो गया. पुजारी की हत्या का खुलासा करने के लिए पुलिस को मशक्कत करनी पड़ी. आखिरकार सीसीटीवी फुटेज और फॉरेंसिक रिपोर्ट के आधार पर शुक्रवार को पुलिस ने इस हत्याकांड का खुलासा कर दिया. पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है.
पुजारी हत्याकांड का पुलिस ने किया खुलासा
आपको बता दें कि टिकैतनगर थाना क्षेत्र के खमोली स्थित हनुमान मंदिर के पुजारी सुरेशचन्द्र की बीते 26 मई को बड़ी ही निर्ममता से हत्या कर दी गयी थी. रामसनेही घाट थाना क्षेत्र के भुडेहरी निवासी सुरेश चंद्र साल 2018 से इस मंदिर के पुजारी थे और वहीं मंदिर के पास बने कमरे में रहते थे.
पुजारी की हत्या से पूरे इलाके में हड़कंप मच गया था. इस हत्याकांड ने पुलिस की नींद उड़ा दी थी. हत्यारे ने कोई सुराग नहीं छोड़ा था और हत्याकांड की कोई वजह भी नहीं नजर आ रही थी. ऐसे में इस हत्याकांड का खुलासा पुलिस के लिए एक चैलेंज से कम नहीं था. पुलिस कप्तान यमुना प्रसाद ने मर्डर के खुलासे के लिए टीमें गठित की और मुखबिर सक्रिय किए और आसपास के संदिग्ध लोगों पर नज़र रखनी शुरू की. मंदिर से थोड़ी दूर एक बाजार में लगे सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए तो एक संदिग्ध युवक पर पुलिस की नज़र गई. पुलिस ने उससे पूछताछ शुरू की तो हत्याकांड का खुलास हो गया.
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आखिरकार पुलिस ने इस युवक को शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया है. पकड़े गए आरोपी का नाम देशराज है, जो टिकैतनगर थाना क्षेत्र के ग्राम सराय बरई का रहने वाला है. इसकी निशानदेही पर हत्या में इस्तेमाल सरिया, 1 पॉकेट डायरी जिसके भीतर 3 एसबीआई की जमा पर्ची, मृतक का आधार कार्ड समेत 2700 रुपये बरामद किये गए हैं.
ऐसे हुई पुजारी की हत्या
आरोपी देशराज के मुताबिक घटना के एक दिन पहले यानि 25 मई को वो शाम को सराय बरई चौराहे पर एक दुकान पर खड़ा था कि उसी समय पुजारी सुरेशचंद्र साइकिल से आये और कुछ लोगों से बात कर रहे थे कि गेहूं बेचकर दस हजार रुपये मिले हैं. इन रुपयों को 26 तारीख को बैंक में रुपये जमा करने रामसनेहीघाट जाना है. आरोपी देशराज को रुपयों की जरूरत थी. दरअसल वो शादी करना चाहता था. जिसके लिए एक युवक से उसकी बात हुई थी. जिसने उसे पचास हजार रुपये इकट्ठा करने की बात कही थी. बसे रुपयों की चाहत में उसने एक योजना बना ली. वारदात वाले दिन उसने जमकर शराब पी और एक बजे मंदिर गया. जैसे ही उसने रुपये निकालने के लिए दरवाजा खोला बाबा जग गए. पहचान जाने के डर से उसने वहीं रखी सरिया से उन पर प्रहार कर दिया. बाबा के चिल्लाने पर उसने ताबड़तोड़ चेहरे और सिर पर कई प्रहार किए. जिससे उनकी मौत हो गयी.