बांदा: उत्तर प्रदेश में 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव (up assembly election) को लेकर सरगर्मियां तेज हैं. सभी राजनीतिक पार्टियां वोटरों को लुभाने के लिए अभी से प्रयासरत हैं. हालांकि, किसी भी पार्टी ने अपने प्रत्याशियों के नामो की घोषणा तो नहीं की. मगर, चुनाव मैदान में उतरकर विधानसभा सदस्य (Member of Legislative Assembly) बनने की चाहत रखने वाले नेता लोगों के बीच जाकर दुःख दर्द बांटते हुए दिखाई देने लगे हैं. जैसे-जैसे 2022 का चुनाव करीब आ रहा है, वैसे-वैसे इन नेताओं के दिलों की धड़कने तेज होती जा रही हैं. यही हाल है बांदा की तिंदवारी विधानसभा सीट (banda tindwari 232 Assembly Constituencies) का. यहां, पर भी उन नेताओं को अब लोगों के बीच देखा जा सकता है जो चुनाव खत्म होने के बाद ईद के चांद हो जाते हैं.
232 तिंदवारी विधानसभा की बात करें तो यह सीट निषाद, प्रजापति, एससी और ठाकुर जाति बाहुल्य सीट है. कहा जाता है जो भी नेता यहां इन जातियों का भरोसा जीतता है वो इस विधानसभा तक आसानी से पहुंच जाता है. 1974 से वजूद में आई इस सीट से चार बार कांग्रेस, तीन बार बसपा और दो बार सपा के विधायक चुने गए. हालांकि, 2017 के विधानसभा चुनाव में मोदी लहर ( modi lahar) ने बीजेपी को पहला विधायक बृजेश कुमार प्रजापति (MLA Brijesh Kumar Prajapati) के रूप में दिया. 2017 के चुनाव में कांग्रेस से विधायक रहे दलजीत सिंह (Daljeet Singh) को बीजेपी के बृजेश प्रजापति को हार का सामना करना पड़ा था.
तिंदवारी विधानसभा 232 सीट के मतदाता
तिंदवारी विधानसभा सीट में अगर मतदाताओं की बात की जाए तो यहां पर कुल मतदाताओं की संख्या 3,11,998 है, जिसमें 1,72,162 पुरुष मतदाता और 1,39,833 महिला मतदाता हैं. यहां महज 3 थर्ड जेंडर मतदाता हैं.
2017 चुनाव का यह था इस विधानसभा चुनाव का परिणाम
2017 के चुनाव में इस सीट पर त्रिकोणीय मुकाबले की उम्मीद थी. कांग्रेस और सपा गठबंधन के प्रत्याशी व विधायक दलजीत सिंह को हार का सामना करना पड़ा था. जनता ने उन पर भरोषा नहीं जताया था. गठबंधन प्रत्याशी होने के बावजूद उन्हें करारी शिकस्त झेलनी पड़ी थी और वे तीसरे नंबर रहे. इस त्रिकोणीय मुकाबले में दूसरे नंबर पर बीएसपी के जगदीश प्रजापति रहे. मोदी लहर में बीजेपी के ब्रजेश प्रजापति ने 37,407 मतों से बीएसपी के जगदीश प्रजापति को परास्त किया था.
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वर्तमान विधायक कर रहे खूब विकास करने का दावा
हालांकि, तिंदवारी विधानसभा क्षेत्र के लोग मूलभूत समस्याओं को लेकर हमेशा परेशान रहते हैं. यहां पर हर साल बाढ़ (Flood) जैसी स्थिति से लोगों को दो चार होना पड़ता है. लंबा अरसा बीत जाने के बाद और लगभग सभी सरकारों का हिस्सा रहे विधायक इस क्षेत्र में बाढ़ से बचने के लिए कोई इंतजाम नहीं कर पाए. सड़क, बिजली और अन्ना जानवरों की भी यहां समस्या है. क्षेत्र में मौरंग की दर्जनों खदानें संचालित हैं जो सरकार को करोड़ों रुपये का महीने में राजस्व देती हैं, बावजूद इसके इस क्षेत्र की सड़कें बदहाल हैं. वहीं, ग्रामीण इलाकों में बिजली की समस्या आम है. हालांकि, वर्तमान विधायक बृजेश प्रजापति से जब ईटीवी भारत की टीम ने बात की तो उन्होंने बताया कि हमारी सरकार ने इस क्षेत्र में जितना इन 5 सालों में काम किया है उतना किसी ने नहीं किया. उन्होंने बताया कि केंद्र और प्रदेश सरकार की योजनाओं को मिलाकर देखा जाए तो प्रत्येक गांव में एक करोड़ रुपये से अधिक खर्च किया गया है. खैर अब देखने वाली बात होगी कि इस बार के चुनाव में जनता किसे अपना जनप्रतिनिधि बनाती है.