बलियाः जिला अधिकारी श्रीहरि प्रताप शाही ने त्योहारों को ध्यान में रखते हुए कोविड को लेकर आवश्यक निर्देश दिए हैं. डीएम ने कहा है कि अभी कोविड-19 संपूर्ण रुप से समाप्त नहीं हुआ है, ऐसे में जब तक कोविड-19 का कोई स्थाई इलाज नहीं मिल जाता तब तक किसी प्रकार की ढिलाई न बरती जाए. इस आदेश के बाद भी जिले में परिवहन निगम की बसों में नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं.
बसों की गैलरी में खड़े होकर यात्रा कर रहे लोग
परिवहन निगम की बसों में सोशल दूरी की बात तो दूर, सीट के अतिरिक्त लोगों को गैलरी में खड़ा करवाकर यात्रा कराई जा रही है. परिवहन निगम के कर्मचारियों द्वारा जिलाधिकारी के आदेश का कोई ख्याल नहीं रखा जा रहा है. वहीं आम जनता की बात करें तो जब एक बाइक पर 2 लोग सवार होकर जाते हैं या फिर भूलवश मास्क नहीं लगाते हैं, तो पुलिस के द्वारा ऐसे लोगों का चालान कर दिया जाता है.
परिवहन निगम पर क्यों नहीं होती कार्रवाई ?
बड़ा सवाल यह है कि क्या उत्तर प्रदेश सरकार परिवहन निगम एवं प्राइवेट वाहन संचालकों के ऊपर इस प्रकार का कोई नियम लागू नहीं होता? ऑटो रिक्शा वाले भी एक ऑटो में 14 से 18 सवारी बैठाने के बाद ऑटो के पीछे लोगों को खड़ा कर देते हैं. इतना ही नहीं लोगों से मनमानी तौर पर ऑटो रिक्शा संचालकों द्वारा किराया भी वसूल किया जा रहा है, जिसको लेकर कोई ठोस कार्रवाई होती नहीं दिख रही है.
स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर सरकार के द्वारा वास्तव में कोविड-19 के बचाव के लिए दिशा-निर्देश जारी किए जा रहे हैं तो सबसे पहले परिवहन निगम के बसों की व्यवस्था ठीक करने की जरूरत है. वहीं इस संबंध में जब परिचालकों से बात की गई तो उन्होंने बताया कि इसकी जिम्मेदार आम जनता है और हम आम जनता की मनमानी को नहीं रोक सकते.