बहराइच: नेपाल से नदियों का पानी छोडे़ जाने की वजह से जिले में सरयू नदी के जलस्तर में वृद्धि हुई है, जिसके चलते मिहीपुरवा और शिवपुर विकासखंड के करीब 52 गांव बाढ़ से प्रभावित हुए हैं. कई रास्तों पर पानी बह रहा है, जिसके चलते लोगों को आने-जाने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. बाढ़ पीड़ित बदहाली में जीने के लिए मजबूर हैं.
बदहाली में जीने को मजबूर बाढ़ पीड़ित
- नेपाली नदियों का पानी आने के चलते बहराइच में सरयू नदी उफान पर हैं.
- सरयू नदी के उफनाने से मिहीपुरवा और शिवपुर विकास खंडों के करीब 52 गांव बाढ़ के पानी से घिर गए हैं.
- सड़कों पर पानी बह रहा है, जिससे लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
- मिहीपुरवा विकासखंड क्षेत्र के पड़रिया गांव निवासी बाढ़ पीड़ित ग्रामीणों का कहना है कि करीब 52 गांव बाढ़ के पानी से घिरे हुए हैं.
- ग्रामीणों का कहना है कि इस मुसीबत के समय में प्रशासन उनकी सुध नहीं ले रहा है.
- पीड़ितों का कहना है कि आने जाने के लिए नाव तक का प्रबंध नहीं किया गया है, जिसके चलते लोगों को ट्रैक्टर और अन्य वाहनों का सहारा लेना पड़ रहा है.
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भीषण बारिश के चलते घाघरा और सरयू नदी का जलस्तर बढ़ा है, लेकिन दोनों नदियां खतरे के निशान से नीचे हैं. बाढ़ से निपटने के लिए बाढ़ चौकियों को अलर्ट कर दिया गया है. तहसील प्रशासन बाढ़ पर नजर रखे हुए हैं. ग्राम पंचायतों में नाव की व्यवस्था है. आवश्यकता पड़ने पर और नावें उपलब्ध करा दी जाएंगी.
- शम्भु कुमार, जिलाधिकारी