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चर्म शोधन इकाइयों के ध्वस्तीकरण मामले में  मानवाधिकार आयोग ने बागपत डीएम को भेजा नोटिस

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Published : Dec 27, 2022, 10:49 PM IST

बागपत डीएम को भडल प्रकरण (Bhadal case) मामले में राज्य मानवाधिकार आयोग ने को नेटिस जारी किया है. मामले में आयोग के आदेश के अनुपालन में समुचित कार्रवाई करते हुए रिपोर्ट 18 जनवरी तक उपलब्ध करानी होगी.

बागपत बागपत
बागपत

बागपतः मानवाधिकार आयोग (Human rights commission) ने डीएम बागपत राजकमल यादव (DM Rajkamal Yadav) को नोटिस जारी कर आदेश दिया है कि भडल प्रकरण (Bhadal case) में समुचित कार्रवाई करते हुए 18 जनवरी तक आयोग को रिपोर्ट भेजें. 17 जुलाई को मेरठ निवासी शोषित क्रांति दल (Shohit Kranti Dal) के राष्ट्रीय अध्यक्ष रविकांत ने गांव भडल में दलितों के पुश्तैनी कार्य चर्म शोधन की इकाइयों को बागपत प्रशासन द्वारा बिना किसी पूर्व सूचना के ध्वस्तीकरण का आदेश से बुलडोजर चलाकर जमींदोज करना, निहत्थे निर्दोष दलितों पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज करने के संबंध में मानवाधिकार आयोग से शिकायत की थी.


एसकेडी अध्यक्ष रविकांत ने मानवाधिकार आयोग से मांग की थी कि बिना किसी आदेश के और पूर्व सूचना के बुलडोजर चलाने वाले अधिकारियों के विरुद्ध तत्काल प्रभाव से कड़ी कार्रवाई की मांग की थी. इसके अलावा दलितों पर लाठीचार्ज करने वाले पुलिस अधिकारियों कर्मचारियों पर तत्काल कार्रवाई हो. दलितों की तोड़ी गई निजी संपत्ति का मुआवजा मिले. तथा जेल में बंद सभी लोगों को रिहाकर मुकदमे वापस लिए जाएं. राज्य मानवाधिकार आयोग (State Human Rights Commission) के अध्यक्ष जस्टिस बाला कृष्णा नारायणा ने डीएम बागपत (DM Baghpat) को आदेश जारी कर कहा कि इस मामले में आयोग के आदेश के अनुपालन में समुचित कार्रवाई करते हुए कार्रवाई की रिपोर्ट 18 जनवरी तक उपलब्ध कराएं. वहीं, साथ ही चेतावनी दी है कि आदेश के अनुरूप कार्रवाई ना किए जाने की स्थिति में आयोग यथोचित आदेश पारित कर देगा.


बता दें कि 7 मई को बागपत जिला प्रशासन व पुलिस प्रशासन ने गांव भडल स्थित सैकड़ों चर्म शोधन की इकाइयों को बुलडोजर चलाकर जमींदोज कर दिया था. जिसकी चपेट में लोगों के मकान भी आए थे. 2 दिन बाद शोषित क्रांति दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष रविकांत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बागपत प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन पर दलित महिलाओं पर लाठीचार्ज करने और नाबालिक बच्चों को जेल भेजने जैसे गंभीर आरोप लगाए थे.

यह भी पढ़ें- केंद्रीय राज्यमंत्री ने दी युवाओं को आवाज, नए साल का आगाज नशा मुक्त हो अपना समाज

बागपतः मानवाधिकार आयोग (Human rights commission) ने डीएम बागपत राजकमल यादव (DM Rajkamal Yadav) को नोटिस जारी कर आदेश दिया है कि भडल प्रकरण (Bhadal case) में समुचित कार्रवाई करते हुए 18 जनवरी तक आयोग को रिपोर्ट भेजें. 17 जुलाई को मेरठ निवासी शोषित क्रांति दल (Shohit Kranti Dal) के राष्ट्रीय अध्यक्ष रविकांत ने गांव भडल में दलितों के पुश्तैनी कार्य चर्म शोधन की इकाइयों को बागपत प्रशासन द्वारा बिना किसी पूर्व सूचना के ध्वस्तीकरण का आदेश से बुलडोजर चलाकर जमींदोज करना, निहत्थे निर्दोष दलितों पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज करने के संबंध में मानवाधिकार आयोग से शिकायत की थी.


एसकेडी अध्यक्ष रविकांत ने मानवाधिकार आयोग से मांग की थी कि बिना किसी आदेश के और पूर्व सूचना के बुलडोजर चलाने वाले अधिकारियों के विरुद्ध तत्काल प्रभाव से कड़ी कार्रवाई की मांग की थी. इसके अलावा दलितों पर लाठीचार्ज करने वाले पुलिस अधिकारियों कर्मचारियों पर तत्काल कार्रवाई हो. दलितों की तोड़ी गई निजी संपत्ति का मुआवजा मिले. तथा जेल में बंद सभी लोगों को रिहाकर मुकदमे वापस लिए जाएं. राज्य मानवाधिकार आयोग (State Human Rights Commission) के अध्यक्ष जस्टिस बाला कृष्णा नारायणा ने डीएम बागपत (DM Baghpat) को आदेश जारी कर कहा कि इस मामले में आयोग के आदेश के अनुपालन में समुचित कार्रवाई करते हुए कार्रवाई की रिपोर्ट 18 जनवरी तक उपलब्ध कराएं. वहीं, साथ ही चेतावनी दी है कि आदेश के अनुरूप कार्रवाई ना किए जाने की स्थिति में आयोग यथोचित आदेश पारित कर देगा.


बता दें कि 7 मई को बागपत जिला प्रशासन व पुलिस प्रशासन ने गांव भडल स्थित सैकड़ों चर्म शोधन की इकाइयों को बुलडोजर चलाकर जमींदोज कर दिया था. जिसकी चपेट में लोगों के मकान भी आए थे. 2 दिन बाद शोषित क्रांति दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष रविकांत ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बागपत प्रशासन एवं पुलिस प्रशासन पर दलित महिलाओं पर लाठीचार्ज करने और नाबालिक बच्चों को जेल भेजने जैसे गंभीर आरोप लगाए थे.

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