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अयोध्याः समाधि में भी परमहंस दास को इंतजार है सुप्रीम कोर्ट के फैसले का!

अयोध्या भूमि विवाद में सुप्रीम कोर्ट आज अपना फैसला सुनाने जा रहा है. परमहंस दास ने अपनी पूरी जिंदगी अयोध्या के लिये गुजार दी. आज उनकी समाधि को भी इस ऐतिहासिक दिन का इंतजार है जब सुप्रीम कोर्ट अयोध्या भूमि विवाद में अपना फैसला सुनाएगा.

परमहंस दास
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Published : Nov 9, 2019, 8:45 AM IST

अयोध्याः सुप्रीम कोर्ट आज अयोध्या भूमि विवाद पर अपना फैसला सुनाने जा रहा है. महंत परमहंस दास के समाधि स्थल पर मौजूद पुजारी सरयू दास जी महाराज कहते हैं कि श्री राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष स्वर्गीय परमहंस रामचंद्र दास की आत्मा को भी आज इस फैसले का बेसब्री से इंतजार होगा. पुजारी सरयू दास के मुताबिक इस वक्त महंत परमहंस दास अपने शारीरिक रूप में नहीं हैं, भौतिक रूप में नहीं हैं, लेकिन देह त्याग के बाद भी उन्हें निश्चित तौर पर फैसले का इंतजार होगा. वे पूरी जिंदगी कहते थे कि वो समाधि ले लेंगे फिर भी अयोध्या से बैकुंठ धाम को तभी जाएंगे जब भगवान श्रीराम का मंदिर देख लेंगे.

जानकारी देते संवाददाता.

समाधि स्थल पर मौजूद पुजारी सरयू दास जी महाराज से उनके बारे में जानकारी की सरयू दास जी महाराज ने कहा कि वह वैदेही थे. उन्हें अपनी चिंता नहीं थी, जैसे महाराजा दशरथ थे. महंत परमहंस दास का सिर्फ एक सपना था कि राम जन्मभूमि में मंदिर बने निर्माण हो और आज वह घड़ी आ गई है. जिसके लिए उन्होंने पूरी जिंदगी तपस्या की और समाधि ली. हम सभी को उसका इंतजार है

अयोध्याः सुप्रीम कोर्ट आज अयोध्या भूमि विवाद पर अपना फैसला सुनाने जा रहा है. महंत परमहंस दास के समाधि स्थल पर मौजूद पुजारी सरयू दास जी महाराज कहते हैं कि श्री राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष स्वर्गीय परमहंस रामचंद्र दास की आत्मा को भी आज इस फैसले का बेसब्री से इंतजार होगा. पुजारी सरयू दास के मुताबिक इस वक्त महंत परमहंस दास अपने शारीरिक रूप में नहीं हैं, भौतिक रूप में नहीं हैं, लेकिन देह त्याग के बाद भी उन्हें निश्चित तौर पर फैसले का इंतजार होगा. वे पूरी जिंदगी कहते थे कि वो समाधि ले लेंगे फिर भी अयोध्या से बैकुंठ धाम को तभी जाएंगे जब भगवान श्रीराम का मंदिर देख लेंगे.

जानकारी देते संवाददाता.

समाधि स्थल पर मौजूद पुजारी सरयू दास जी महाराज से उनके बारे में जानकारी की सरयू दास जी महाराज ने कहा कि वह वैदेही थे. उन्हें अपनी चिंता नहीं थी, जैसे महाराजा दशरथ थे. महंत परमहंस दास का सिर्फ एक सपना था कि राम जन्मभूमि में मंदिर बने निर्माण हो और आज वह घड़ी आ गई है. जिसके लिए उन्होंने पूरी जिंदगी तपस्या की और समाधि ली. हम सभी को उसका इंतजार है

Intro:अयोध्या. श्री राम जन्मभूमि मामले में सुप्रीम कोर्ट आज अपना फैसला सुनाने जा रहा है, ऐसे में उन करोड़ों आस्थावान भक्तों के अलावा आज उन आत्माओं को भी इंतजार है, उस फैसले का जिस राम मंदिर के लिए जिस श्री राम जन्म स्थली स्थल के लिए उन्होंने अपने पूरी जिंदगी तपस्या में गुजार दी, और उसके बाद भी उन्हें फैसला नहीं मिला। ऐसे ही एक परम भक्त श्री राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष स्वर्गीय परमहंस रामचंद्र दास को भी आज इस फैसले का बेसब्री से इंतजार होगा, इस वक्त वह अपने शारीरिक रूप में नहीं है, भौतिक रूप में नहीं है, लेकिन देह त्याग के बाद भी उन्हें निश्चित तौर पर फैसले का इंतजार होगा, क्योंकि पूरी जिंदगी को कहते रहे थे कि, मैं समाधि ले लूंगा फिर भी मैं अयोध्या से बैकुंठ धाम को तभी जाऊंगा, भगवान श्रीराम का मंदिर देख लूंगा।

Body:ईटीवी भारत की टीम के समाधि स्थल पहुंची और वहां मौजूद पुजारी सरयू दास जी महाराज से उनके बारे में जानकारी की सरयू दास जी महाराज ने कहा के वह वैदेही थे उन्हें अपनी चिंता नहीं थी जैसे महाराजा दशरथ थे उनका सपना सिर्फ एक था कि राम जन्मभूमि में मंदिर बने निर्माण हो और आज वह घड़ी आ गई है जिसके लिए उन्होंने पूरी जिंदगी तपस्या की और समाधि ली हम सभी को उनका इंतजार है Conclusion:अयोध्या के हर एक कोने से निकलती हुई आवाज में आज है राम भक्तों की है जिन्होंने अपनी जिंदगी गुजार दी इस फैसले को सुनने के लिए अयोध्या में आज एक नई सुबह हुई है जो निश्चित तौर पर आज एक नई दिशा देगी और निर्णय करेगी अयोध्या का आने वाला भविष्य क्या होगा
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