अयोध्या: अयोध्या में राम विवाह समारोह में देश के कोने-कोने से लोग शामिल हुए. राम नगरी स्थित कनक भवन, श्री राम वल्लभा कुंज, दशरथ महल, रंगमहल सहित कई मंदिरों से धूमधाम से निकली राम बारात लौटने के बाद यहां देर रात तक राम विवाह की धूम रही. इस दौरान अयोध्या का कोना-कोना श्रीराम के जयकारों से गूंज उठा. बारात लौटने पर मधुर गीतों के बीच सीता राम विवाहोत्सव के आनंद में अयोध्या डूबी रही. श्रीराम व सीता के स्वरूप को मधुर व्यंजन खिला मिथिलानियों ने मधुर गलियां देकर श्रीराम के प्रति अपना अनुराग अर्पित किया.
छाया रहा रामकलेवा का आनन्द
जानकी घाट स्थित प्रसिद्ध वैष्णव पीठ श्री राम वल्लभा कुंज में राम जानकी विवाह व रामकलेवा का आनंद छाया रहा. इस दौरान अयोध्या एडवर्ड तीर्थ विवेचना सभा के अध्यक्ष व दैनिक सरयू आरती के संरक्षक स्वामी राजकुमार दास, सिद्धपीठ नाका हनुमानगढ़ी के महंत रामदास, प्रेम मूर्ति आचार्य कथा वाचक प्रेम भूषण महाराज, महंत शशिकांत दास, राजेंद्र शास्त्री, शैलेंद्र शास्त्री, अवधेश तिवारी सहित संतों का समूह मौजूद रहा.
रामशंकर दास वेदांती ने खिलाया कलेवा
महंत राम शंकर दास वेदांती, अवधेश तिवारी ने कलेवा खिलाया. किशोरी जी को पुत्री के रूप में मानने वाले जानकी महल ट्रस्ट में प्रभु श्रीराम का द्वार पूजन व उसके बाद राम जानकी का भव्य विवाह महोत्सव मनाया गया.
कनक भवन में पहुंची बारात
ऐसी मान्यता है कि माता कौशल्या ने सीता जी को कनक भवन मुंह दिखाई में दिया था. राम बारात अयोध्या में नगर भ्रमण के बाद वापस कनक भवन पहुंची. दिव्य कला कुंज से महंत परमार्थ कला के नेतृत्व में राम जानकी का विवाह हुआ. चक्रवर्ती महाराज दशरथ के राजमहल से बैंड बाजे, हाथी, घोड़े के साथ दिव्य-भव्य, अलौकिक रथ पर निकली राम बारात वापस मंदिर पहुंची, जहां धूमधाम से विधि पूर्वक राम सीता का विवाह संपन्न हुआ.