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नेशनल वॉटर अवार्ड में अयोध्या को मिला प्रथम पुरस्कार, डीएम को मिली बधाई - सेकंड नेशनल वॉटर अवार्ड

जल शक्ति मंत्रालय द्वारा आयोजित सेकंड नेशनल वॉटर अवार्ड में अयोध्या को प्रथम पुरस्कार मिला है. एक बार फिर से सेकंड नेशनल वाटर अवार्ड में अयोध्या को पहला पुरस्कार मिलने पर जनपद के लोगों ने जिलाधिकारी को धन्यवाद ज्ञापित किया है और उन्हें बधाई दी है.

जिलाधिकारी अयोध्या.
जिलाधिकारी अयोध्या.
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Published : Nov 12, 2020, 12:48 AM IST

अयोध्या: जल शक्ति मंत्रालय द्वारा आयोजित सेकंड नेशनल वॉटर अवार्ड में अयोध्या को प्रथम पुरस्कार मिला है. बता दें कि यह अपने आप में अयोध्या के लिए और जिला अधिकारी अनुज कुमार झा के लिए बड़ी उपलब्धि है. इससे पहले भी बीते 28 अगस्त को नदियों के जीर्णोद्धार में तमसा नदी को जल शक्ति मंत्रालय से जुड़ी संस्था इलेट से प्रथम पुरस्कार मिला है.

जिलाधिकारी अयोध्या अनुज कुमार झा को जनपद की तमसा नदी के जीर्णोद्धार के लिए एक और बड़ा पुरस्कार मिला है. जल शक्ति मंत्रालय द्वारा आयोजित सेकंड नेशनल वाटर अवार्ड में अयोध्या को प्रथम पुरस्कार मिला है. यह अपने आप में अयोध्या के लिए और जिला अधिकारी अनुज कुमार झा के लिए यह बड़ी उपलब्धि है. इससे पहले भी बीते 28 अगस्त को नदियों के जीर्णोद्धार में तमसा नदी को जल शक्ति मंत्रालय से जुड़ी संस्था इलेट से प्रथम पुरस्कार मिला है. वहीं एक बार फिर से सेकंड नेशनल वाटर अवार्ड में अयोध्या को पहला पुरस्कार मिलने पर जनपद के लोगों ने जिलाधिकारी को धन्यवाद ज्ञापित किया है और उन्हें बधाई दी है.

अयोध्या में है पौराणिक तमसा नदी का उद्गम
पौराणिक तमसा नदी का उद्गम स्थल अयोध्या जनपद के अंतिम पश्चिम छोर पर स्थित विकासखंड मवई के लखनीपुर गांव पंचायत बसौधी के पास है. जहां से एक सरोवर से इस नदी का जन्म हुआ है. जिसके बाद यह नदी मवई रुदौली, अमानीगंज, सोहावल, मिल्कीपुर, मसौधा, बीकापुर, तारुन बाजार और मया बाजार होते हुए अयोध्या जनपद से अंबेडकर नगर की तरफ बहती है. तमसा नदी गोमती नदी एवं सरयू नदी के बीच क्षेत्र के जल निकासी का एक महत्वपूर्ण अंग है. जनपद अयोध्या में तमसा नदी की कुल लंबाई 151 किलोमीटर है. जिसमें लगभग 25 किलोमीटर के क्षेत्र में नदी सूखी थी और खेती हो रही थी, जिसका जीर्णोद्धार किया गया है.

बता दें कि तमसा नदी अयोध्या जनपद के कुल 10 विकास खंडों की 77 ग्राम पंचायतों को अभिसिंचित करते हुए प्रवाहित होती है. तमसा नदी के जीर्णोद्धार कार्य पर चल रही योजना में कुल 11.65 करोड रुपए खर्च हुए हैं. जिसमें मनरेगा योजना के माध्यम से लगभग 6.4 लाख मानव दिवस सृजित हो चुके हैं. इस योजना से जहां श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराया गया, वहीं एक स्थाई परिसंपत्ति का सृजन भी किया गया. तमसा नदी के जीर्णोद्धार में से सिंचाई की क्षमता में भी वृद्धि हुई है. इस उपलब्धि के लिए जिलाधिकारी अयोध्या को और जिले को प्रथम पुरस्कार से पुरस्कृत किया गया है.

अयोध्या: जल शक्ति मंत्रालय द्वारा आयोजित सेकंड नेशनल वॉटर अवार्ड में अयोध्या को प्रथम पुरस्कार मिला है. बता दें कि यह अपने आप में अयोध्या के लिए और जिला अधिकारी अनुज कुमार झा के लिए बड़ी उपलब्धि है. इससे पहले भी बीते 28 अगस्त को नदियों के जीर्णोद्धार में तमसा नदी को जल शक्ति मंत्रालय से जुड़ी संस्था इलेट से प्रथम पुरस्कार मिला है.

जिलाधिकारी अयोध्या अनुज कुमार झा को जनपद की तमसा नदी के जीर्णोद्धार के लिए एक और बड़ा पुरस्कार मिला है. जल शक्ति मंत्रालय द्वारा आयोजित सेकंड नेशनल वाटर अवार्ड में अयोध्या को प्रथम पुरस्कार मिला है. यह अपने आप में अयोध्या के लिए और जिला अधिकारी अनुज कुमार झा के लिए यह बड़ी उपलब्धि है. इससे पहले भी बीते 28 अगस्त को नदियों के जीर्णोद्धार में तमसा नदी को जल शक्ति मंत्रालय से जुड़ी संस्था इलेट से प्रथम पुरस्कार मिला है. वहीं एक बार फिर से सेकंड नेशनल वाटर अवार्ड में अयोध्या को पहला पुरस्कार मिलने पर जनपद के लोगों ने जिलाधिकारी को धन्यवाद ज्ञापित किया है और उन्हें बधाई दी है.

अयोध्या में है पौराणिक तमसा नदी का उद्गम
पौराणिक तमसा नदी का उद्गम स्थल अयोध्या जनपद के अंतिम पश्चिम छोर पर स्थित विकासखंड मवई के लखनीपुर गांव पंचायत बसौधी के पास है. जहां से एक सरोवर से इस नदी का जन्म हुआ है. जिसके बाद यह नदी मवई रुदौली, अमानीगंज, सोहावल, मिल्कीपुर, मसौधा, बीकापुर, तारुन बाजार और मया बाजार होते हुए अयोध्या जनपद से अंबेडकर नगर की तरफ बहती है. तमसा नदी गोमती नदी एवं सरयू नदी के बीच क्षेत्र के जल निकासी का एक महत्वपूर्ण अंग है. जनपद अयोध्या में तमसा नदी की कुल लंबाई 151 किलोमीटर है. जिसमें लगभग 25 किलोमीटर के क्षेत्र में नदी सूखी थी और खेती हो रही थी, जिसका जीर्णोद्धार किया गया है.

बता दें कि तमसा नदी अयोध्या जनपद के कुल 10 विकास खंडों की 77 ग्राम पंचायतों को अभिसिंचित करते हुए प्रवाहित होती है. तमसा नदी के जीर्णोद्धार कार्य पर चल रही योजना में कुल 11.65 करोड रुपए खर्च हुए हैं. जिसमें मनरेगा योजना के माध्यम से लगभग 6.4 लाख मानव दिवस सृजित हो चुके हैं. इस योजना से जहां श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराया गया, वहीं एक स्थाई परिसंपत्ति का सृजन भी किया गया. तमसा नदी के जीर्णोद्धार में से सिंचाई की क्षमता में भी वृद्धि हुई है. इस उपलब्धि के लिए जिलाधिकारी अयोध्या को और जिले को प्रथम पुरस्कार से पुरस्कृत किया गया है.

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