आगरा: शारदीय नवरात्र शुरू होते ही हर घर में, मंदिर में फूलों की मांग बढ़ जाती है. नवरात्र के पहले दिन से लेकर दशहरा तक फूलों का अच्छा खासा कारोबार हो जाता है. लेकिन, आगरा फूल मंडी के व्यापारियों को इस साल काफी नुकसान उठाना पड़ा. बालूगंज स्थित फूल मंडी व्यापारी नवीन पाराशर ने बताया कि इन 10 दिन में सिर्फ 4 से 5 करोड़ का व्यापार हुआ है. क्योंकि इस साल बरसात की वजह से सारे फूल खराब होकर गए और फूलों को बाहर से मंगवाना पड़ा. जिस कारण काफी खर्चा हो गया.
आगरा फूल व्यापारी एसोसिएशन के अध्यक्ष नवीन पाराशर ने बताया कि हर साल शारदीय नवरात्रों से लेकर दशहरे तक फूलों की डिमांड बढ़ जाती है. हर साल गेंदे के फूल सबसे ज्यादा डिमांड पर रहते हैं. लेकिन, इस बार बरसात ने गेंदे के फूलों की खेती बर्बाद कर दी. इस वजह से इस साल अजमेर, पुष्कर, शिवपुरी और रतलाम से गेंदे के फूल मंगवाने पड़े. जोकि 80 से 150 रुपए किलो तक के भाव के आए. जिस कारण फूलों की बिक्री मंहगी नहीं हुई, सिर्फ 10 या 20 रुपए का ही फायदा हुआ. इससे इन 10 दिन में 4 से 5 करोड़ रुपए का ही व्यापार हुआ.(traders suffered losses due to rain )
नवीन पारस ने बताया कि वह आगरा के तोरा के रहने वाले हैं. जहां बेला की खेती मुगलकालीन से होती आ रही है. बेला के फूलों की खेती को देखते हुए उन्होंने फूल मंडी लगाने का विचार किया. सबसे पहले उन्होंने रावली पर फूल मंडी लगाई थी. जिसके बाद रकाबगंज और अब बालूगंज में फूल मंडी लगती है. इसी फूल मंडी से आगरा जनपद के पड़ोसी जिलों के लोग भी यहां फूल खरीदने के लिए आते हैं. फिरोजाबाद, शिकोहाबाद, मैनपुरी ,एटा ,कासगंज,, सिरसागंज, टूंडला, जलेसर ,सादाबाद, हाथरस, धौलपुर ,मुरैना ,करौली, भरतपुर से भी लोग यहां फूलों की खरीदारी करने के लिए आते हैं. आगरा की बालूगंज की फूल मंडी से 2000 से 3000 लोग जुड़े हुए हैं. उनको भी इस साल बरसात के कारण फूल के व्यापार में नुकसान हुआ.
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