पेरिस : दक्षिणी फ्रांसीसी शहर नीस में एक चर्च के पास चाकूबाजी की घटना सामने आई है. इस घटना में तीन लोगों की मौत हो गई और कई अन्य लोग घायल हो गए हैं. वारदात के बाद भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, मैं फ्रांस में हाल ही में हुए आतंकवादी हमलों की कड़ी निंदा करता हूं.'
पीएम मोदी ने अपने ट्वीट में लिखा, 'एक चर्च के अंदर, नीस में हुए जघन्य हमले भी शामिल हैं. पीड़ितों और फ्रांस के लोगों के परिवारों के प्रति हमारी गहरी संवेदनाएं हैं. आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत फ्रांस के साथ खड़ा है.'
इससे पहले चाकूबाजी की घटना के संबंध में फ्रांस के एक पुलिस अधिकारी ने कहा कि हमलावर को हमले के बाद गिरफ्तार कर लिया गया है. गिरफ्तारी के दौरान घायल होने के बाद उसे नजदीकी अस्पताल ले जाया गया है. ऐसा माना जा रहा है कि इस हमले में उसके साथ कोई भी शामिल नहीं था.
यह हमला गुरुवार सुबह 9 बजे सिटी सेंटर के नोट्रे-डेम बेसिलिका के अंदर हुआ. यह पिछले दो महीनों में फ्रांस में इस तरह का तीसरा हमला है.
इस वारदात स्थल से एक किलोमीटर की दूरी पर वर्ष 2016 में बास्तील डे परेड के दौरान एक हमलावर ने ट्रक को भीड़ में घुसा दिया था, जिसमें दर्जनों लोगों की मौत हो गई थी.
नीस के मेयर क्रिश्चियन एस्ट्रोसी ने कहा कि पुलिस जब हमलावर को हथकड़ी लगा रही थी, उस समय वह 'अल्लाहु अकबर' का नारा लगा रहा था.
एस्त्रोसी ने बताया कि हमले में दो लोगों की मौत हुई है, दो की गिरिजाघर में जबकि बुरी तरह से घायल तीसरे व्यक्ति ने वहां से भागने के दौरान दम तोड़ा।
हमले का कारण स्पष्ट नहीं है. बता दें कि फ्रांस में आतंकवादी हमलों के चलते हाई अलर्ट है.
हमले की सूचना के बाद संसद में कोरोना वायरस प्रतिबंधों को लेकर हो रही बहस को स्थगित कर दिया और पीड़ितों के लिए मौन रखा गया.
पुलिस ने कहा कि इस घटना की जांच की जा रही है. घटना के आतंकी हमलों से संबंध होने की भी जांच की जा रही है. हमले का मकसद स्पष्ट नहीं हुआ है.
बता दें कि इस्लाम के रहनुमा पैगंबर मोहम्मद साहब के कार्टून विवाद के चलते और दो अन्य हालिया आतंकी हमलों के बाद से फैले तनाव के बीच फ्रांस ने आतंकवादी गतिविधियों को देखते हुए अलर्ट जारी किया है.
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मेयर ने आगे कहा, हमारे चर्च के अंदर दो लोगों को मार डाला गया और एक महिला को भी, जो चर्च के सामने एक बार में छिपी हुई थी. बस, बहुत हुआ! हमें इस इस्लामी-फासीवाद को अपने क्षेत्र से हटाना होगा.
गौरतलब है कि यह घटना 47 वर्षीय एक शिक्षक सैमुअल पैटी की खौफनाक हत्या के दो सप्ताह घटी है.
एस्ट्रोसी ने आगे कहा, इससे पहले उन्होंने एक स्कूल के प्रोफेसर को निशाना बनाया, इस बार इस्लामी-फासीवादी ने एक चर्च के अंदर हमला करने का विकल्प चुना। एक बार फिर, यह बहुत प्रतीकात्मक है.