लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार ने मेडिकल कॉलेजों में ऑक्सीजन पाइप लाइन, लांड्री समेत कई काम कर चुकीं आरक्यूब ग्रुप ऑफ कंपनीज की 10 कंपनियों को ब्लैक लिस्ट करने के निर्देश दिए हैं. सचिव रविन्द्र ने बताया कि महानिदेशक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, महानिदेशक परिवार कल्याण और मिशन निदेशक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन समेत तमाम विभागों को लिखे पत्र में इन फर्मों को ब्लैक लिस्ट कर उनकी जांच के आदेश दिए हैं. इन कंपनियों को अब सरकारी विभागों का काम नहीं दिया जाएगा.
मेडिकल कॉलेजों में ऑक्सीजन पाइप लाइन, लांड्री समेत कई काम आरक्यूब ग्रुप ऑफ कंपनीज को दिया गया था. इसके बाद कंपनी के प्रबंध निदेशक महेश श्रीवास्तव ने अलग-अलग 10 कंपनियां बना लीं और करोड़ों रुपए का ठेका हथिया लिया. उत्तर प्रदेश शासन के सचिव रविन्द्र की मानें तो महेश ने धोखाधड़ी कर कूटरचित दस्तावेज तैयार कर ठेका हासिल कर करोड़ों का गबन किया है. महेश श्रीवास्तव पर 5 करोड़ रुपए धन उगाही के लिए धमकी देने का भी आरोप है. इन गम्भीर आरोपों की जांच आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन (EOW) कर रही थी. जांच के बाद EOW ने आख्या शासन को भेजी, जिसमें आर क्यूब ग्रुप ऑफ कंपनीज की 10 कंपनियों को ब्लैक लिस्ट करने और कार्रवाई की गयी.
ये कम्पनियां की गयी हैं ब्लैक लिस्ट
- मेसर्स आर क्यूब इन्फ्राटेक प्रा.लि.
- मेसर्स आर क्यूब फायर प्रोटेक्शन सर्विसेज ओपीसी प्रा.लि.
- मेसर्स आर क्यूब हेल्थ केयर इन्डस्ट्रीज प्रा.लि.
- मेसर्स आर क्यूब आर्किटेक्ट एण्ड एसोसिएट
- मेसर्स रारू मेडिकल्स सिस्टम
- मेसर्स आरके इन्जीनियर्स सर्विसेज
- मेसर्स लैबको इण्डस्ट्रमेन्ट
- मेसर्स विजय फायर अलार्म एण्ड प्रोटेक्शन सिस्टम
- मेसर्स टाइगर इन्फाप्रोजेक्टस प्रा.लि
- मेसर्स तेजस इन्फावेन्चर्स