प्रयागराज : उमेश पाल हत्याकांड में गुरुवार को प्रयागराज में फिर एक बड़ी कार्रवाई हुई. प्रयागराज विकास प्राधिकरण की टीम धूमनगंज थाना क्षेत्र के राजरूपपुर इलाके में पहुंची, जहां पर सफदर अली का आलीशान दो मंजिला मकान गिराया गया..सूत्रों के मुताबिक सफदर अली ने ही उमेश पाल हत्याकांड में असलहे और कारतूस उपलब्ध कराई थी.
सैय्यद सफदर अली असलहों के कारोबारी है. प्रयागराज के जॉनसेनगंज इलाके में उसकी असलहों और कारतूस की दुकान है. एसएसए गन हाउस के मालिक सफदर अली का शहर के धूमनगंज इलाके में आलीशान दो मंजिला मकान है. 250 वर्ग गज से अधिक जमीन पर बने इस मकान की कीमत 3 करोड़ से अधिक बतायी जा रही है. प्रयागराज विकास प्राधिकरण का कहना है कि इस मकान को पास किए गए नक्शे के हिसाब से नहीं बनाया गया है, इसलिए इसे ध्वस्त किया जा रहा है. ध्वस्तीकरण की इस कार्रवाई के दौरान सफदर के मकान के चारों तरफ पुलिस पीएसी का कड़ा पहरा लगाया गया है. इसके साथ ही उस सड़क से आम लोगों की आवाजाही पर भी रोक लगा दी गई है. कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच असलहों के दुकानदार सफदर के मकान को गिराया जा रहा है.
सफदर पर असलहे सप्लाई करने का आरोप : पुलिक को आशंका है कि उमेश पाल हत्याकांड में इस्तेमाल किए गए असलहे और कारतूस उसी की दुकान से सप्लाई हुई थी. पुलिस की जांच के दौरान यह सामने आया कि सफदर अली काफी लंबे समय से अतीक अहमद परिवार का करीबी है. उसके द्वारा ही उमेश पाल हत्याकांड में असलहे और कारतूस मुहैया कराए गए हैं. गुरुवार को ध्वस्तीकरण की कार्यवाई शुरू करने से पहले घर के अंदर रखा हुआ सारा सामान बाहर निकाला गया, फिर पीडीए का बुल्डोजर चला.
सफदर अली और उसके दो बेटों ने पुलिस प्रशासन की इस कार्यवाई को गलत बताया है. उनका कहना है कि अतीक अहमद के परिवार से उनका कोई वास्ता नहीं है. अतीक अहमद की पत्नी के नाम वाला असलहा उनकी दुकान में जमा है. यह हथियार भी हाईकोर्ट के आदेश पर जमा किया गया था, जिसकी पुलिस कई बार जांच पड़ताल कर चुकी है. उनके परिवार का उमेश मर्डर केस से कोई संबंध नहीं है
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