हैदराबाद : पीडीपी मुखिया महबूबा मुफ्ती ने अमित शाह के दौरे को लेकर कहा कि उनकी यात्रा से पहले 700 नागरिकों को हिरासत में लिया गया. पीएसए के तहत मामला दर्ज किया गया और कई लोगों को कश्मीर के बाहर की जेलों में स्थानांतरित कर दिया गया है.
महबूबा ने कहा कि इस तरह के दमनकारी कदम पहले से ही तनावपूर्ण माहौल को और बिगाड़ रहे हैं. सब कुछ सामान्य दिखाने की कलाबाजी पूरे जोरों पर है जबकि वास्तविकता को नकारा जा रहा है.
महबूबा मुफ्ती ने कहा कि गृह मंत्री का श्रीनगर से अंतरराष्ट्रीय उड़ानों का उद्घाटन और नए मेडिकल कॉलेजों की नींव रखना कोई नई बात नहीं है. यूपीए सरकार ने आधा दर्जन मेडिकल कॉलेज स्वीकृत किए थे और अब वे काम भी कर रहे हैं.
उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद से जम्मू-कश्मीर में अराजकता का महौल बन गया है. 2019 के बाद से जम्मू-कश्मीर की घेराबंदी को हटाने, कैदियों को रिहा करने, यहां के लोगों को दैनिक आधार पर होने वाले उत्पीड़न को समाप्त करने, अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने के लिए ठोस कदम उठाने जैसे काम नहीं किए गए.
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यह संकट भारत सरकार का बनाया हुआ है और उन्होंने ठोस नतीजे तक पहुंचने के बजाय कॉस्मेटिक कदमों का विकल्प चुना जो वास्तविक समस्या का समाधान नहीं करते हैं. आदर्श रूप से गृह मंत्री की यात्रा सर्वदलीय बैठक के बाद पीएम के आश्वासनों पर अमल करने से पहले होनी चाहिए थी.